By अभिनय आकाश | Sep 12, 2025
मीडिल ईस्ट एक बार फिर धधक रहा है। 7 अक्टूबर के हमास हमले के बाद से शुरू हुआ संघर्ष अब सीमाओं को लांघ चुका है। इजरायल ने अपने जवाबी हमलों का दायरा गाजा से आगे बढ़ा दिया है। बीते 72 घंटों में हालात बेहद चिंताजनक हो गए हैं। ऐसे में अब बात सिर्फ गाजा की नहीं रही। इजरायली फौज ने एक साथ छह मुस्लिम देशों पर भयानक हमले किए हैं। कतर से लेकर यमन और सीरिया से लेकर लेबनान तक और यहां तक की ट्यूनेशिया भी इस तेजी से फैलती जंग की लपटों में घिर गया है। जानकारी के मुताबिक इन हमलों में करीब 200 लोगों की जान चली गई और करीब एक हजार से ज्यादा लोग जख्मी हुए हैं। दरअसल, इजरायल ने पिछले 72 घंटों में छह मुस्लिम देशों पर हमले किए हैं। इसमें गाजा समेत, सीरिया, लेबनना, कतर, यमन और ट्यूनेशिया शामिल है।
यमन में हूती विद्रोहियों को निशाना बनाकर किए गए इजराइली हवाई हमलों में कम से कम 35 लोग मारे गए और 130 से अधिक लोग घायल हो गए। हूती विद्रोहियों द्वारा संचालित स्वास्थ्य मंत्रालय ने यह जानकारी दी। मंत्रालय ने बताया कि अधिकतर लोगों की मौत राजधानी सना में हुई है, जहां सैन्य मुख्यालय और एक ईंधन स्टेशन पर हमला किया गया है। इजराइली सेना के हमले से कुछ दिन पहले हूती विद्रोहियों ने एक इजराइली हवाई अड्डे पर ड्रोन से हमला किया था।
इजराइल ने इससे पहले लेबनान के उत्तर-पूर्वी इलाके में हवाई हमले किए, जिसमें पांच लोगों की मौत हो गई, जिनमें हिजबुल्ला के चार सदस्य शामिल हैं। अधिकारियों ने यह जानकारी दी है। यह हमला ऐसे समय हुआ है जब अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इस ईरान-समर्थित सशस्त्र संगठन ‘हिजबुल्ला’ को नि:शस्त्र करने का दबाव बढ़ रहा है। लेबनानी स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, हवाई हमले हर्मेल और बेका प्रांतों की सीमाओं पर किए गए, जो सीरिया की सीमा के पास स्थित हैं। यह क्षेत्र इजराइली हमलों से सामान्यतः अछूता रहता है। हमले में पांच लोग घायल भी हुए हैं।
इजराइल ने गाजा में संघर्ष विराम के अमेरिकी प्रस्ताव के बीच मंगलवार को कतर में हमास नेतृत्व को निशाना बनाकर हमला किया। इसके बाद हमास ने एक बयान जारी कर कहा कि इजराइली हमले में उसके सभी शीर्ष नेताओं की जान बच गई, लेकिन निचले दर्जे के पांच सदस्यों की मौत हुई है।
सीरिया में इजरायली वायुसेना ने कई ठिकानों पर बमबारी की है। रिपोर्टों में कहा गया है कि ये हमले ईरान समर्थित समूहों पर किए गए। हालांकि हताहतों की सटीक संख्या सामने नहीं आई है, लेकिन दमिश्क और अलेप्पो के पास धमाके सुने गए।
ट्यूनीशिया के तट के पास गाजा के लिए जा रही एक सहायता जहाज़ पर ड्रोन हमला किया गया। हालांकि इसमें कोई मौत नहीं हुई, लेकिन ट्यूनीशियाई सरकार ने इसे “खतरनाक मिसाल” बताते हुए अंतरराष्ट्रीय जांच की मांग की है।