ऐक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर फिल्म पर खेर ने कहा: मैं किसी के समर्थन के लिए क्यों फिल्म बनाऊंगा
अनुपम खेर कहा, ‘‘स्वतंत्र भारत में पहली बार, हमने असल नामों के असल लोगों पर एक क्रांतिकारी फिल्म बनायी... यह बायोपिक का युग है। पीएमओ में जो कुछ होता है, उस पर हम फिल्म क्यों नहीं बना सकते?’’
मुम्बई। ‘‘ऐक्सीडेंटल प्राइम मिनिस्टर’’ को अपने ‘जीवन का बेहतरीन प्रदर्शन’ करार देते हुए अभिनेता अनुपम खेर ने शुक्रवार को कहा कि इस फिल्म को सृजनात्मक प्रयास के तौर पर देखा जाना चाहिए न कि किसी राजनीतिक दल के समर्थन की कोशिश के तौर पर। अभिनेता ने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का किरदार निभाना उनके कॅरियर की सबसे बड़ी चुनौती है और शुरू में वह यह प्रोजेक्ट हाथ में लेने के अनिच्छुक थे क्योंकि उन्हें पता था कि यह फिल्म विवादों में घिरेगी। उन्होंने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘मुझे लगता है कि यह आधुनिक भारत के राजनीतिक दशक की जबर्दस्त गाथा है और मुझे बतौर अभिनेता उसका हिस्सा बनने का मौका मिल रहा है। मैं ऐसा हूं जिसने हमेशा अपने आप को एक अलग रुप में ढ़ाला है।’’ यह संवाददाता सम्मेलन तब बुलाया गया जब महाराष्ट्र युवा कांग्रेस ने इस फिल्म को रिलीज करने से पहले उसे दिखाने को कहा। बाद में युवा कांग्रेस ने अपनी मांग वापस ले ली।
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जब अनुपम खेर से कहा गया कि महाराष्ट्र युवा कांग्रेस ने अपनी मांग वापस ले ली है तब उन्होंने कहा, ‘‘यह अच्छा है कि उसने अपनी चिंतन प्रक्रिया बदल ली। यह शानदार है। यह परिपक्वता का बड़ा संकेत है।’’ उन्होंने इस बात को खारिज किया कि यह फिल्म भाजपा का समर्थन करने का उनका तरीका है। उन्होंने कहा, ‘‘मैंने 515 फिल्में की हैं और इतने राजनीतिक दल भी नहीं हैं। यदि मुझे किसी दल का समर्थन करना होगा तो मैं किसी अन्य मंच से कर सकता हूं। मैं उसके लिए फिल्म नहीं बनाऊंगा।’’ इससे पहले उन्होंने ट्वीट किया था, ‘‘मैं पीछे नहीं हटने जा रहा हूं। यह मेरे जीवन का शानदार काम है। डॉ. मनमोहन सिंह इस फिल्म को देखने के बाद सहमत होंगे कि यह शत प्रतिशत निरुपण है।’’ इस फिल्म का ट्रेलर बृहस्पतिवार को रिलीज किया गया। यह फिल्म 2004-2008 तक सिंह के मीडिया सलाहकार रहे संजय बारु की इसी नाम की पुस्तक पर आधारित है। उसमें सिंह को 2014 के लोकसभा चुनाव से पहले सिंह को कांग्रेस की अंदरुनी राजनीति के शिकार के रुप में दिखाया गया है।फिल्म के ट्रेलर पर कांग्रेस ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। उसने इसे ‘प्रोपेगैंडा फिल्म’ करार दिया है। लेकिन खेर ने कहा कि भारत में पहली बार बायोपिक के माध्यम से असली घटनाओं को देखने का यह साहसिक प्रयास है।
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उन्होंने कहा, ‘‘स्वतंत्र भारत में पहली बार, हमने असल नामों के असल लोगों पर एक क्रांतिकारी फिल्म बनायी... यह बायोपिक का युग है। पीएमओ में जो कुछ होता है, उस पर हम फिल्म क्यों नहीं बना सकते?’’ ऑस्कर विजेता अभिनेताओं बेन किंगस्ली, डेनियन डे- लेविस और मेरिल स्ट्रीप का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि उन्हें राजनीतिक हस्तियों का किरदार निभाने के लिए प्रशंसा मिली, ‘‘तब मेरे कार्य को कला के रुप में क्यों नहीं देखा जाता?... यह कॅरियर का सबसे कठिन किरदार है। मैंने इस भूमिका को करने से पहले सात महीने तक शोध किया।’’ खेर ने टेलीविजन चैनलों से कहा, ‘‘उन्हें तो खुश होना चाहिए कि उनके नेता पर फिल्म बनी है। उन्हें तो यह फिल्म देखने के वास्ते भीड़ लानी चाहिए क्योंकि उसमें ‘क्या मैं देश बेच दूंगा’ जैसे संवाद हैं?’ जो दर्शाता है कि मनमोहन सिंह कितने महान हैं।’’ खेर ने यह भी जिक्र किया कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने हाल ही में कहा था कि अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता मौलिक अधिकार है। राहुल गांधी ने नेटफ्लिक्स सीरीज ‘सेक्रेड गेम्स’ में अपने पिता दिवंगत प्रधानमंत्री राजीव गांधी की व्याख्या करने के लिए इस्तेमाल की गयी भाषा पर पार्टी के नेता द्वारा आपत्ति जताये जाने पर ऐसा कहा था। विजय रत्नाकर गुट्टे निर्देशित इस फिल्म में खेर मनमोहन सिंह और अक्षय खन्ना बारु के किरदार में हैं।
Anupam Kher, the lead actor in the upcoming movie 'The Accidental Prime Minister' cited freedom of expression to defend the film based on former PM Manmohan Singh, even as a controversy raged because of the Congress' objections.
— ANI Digital (@ani_digital) December 28, 2018
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