लोकतंत्र में जवाबदेही के लिए आंकड़े बेहद जरुरीः नीति आयोग उपाध्यक्ष

Suman Bery
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नीति आयोग के डेटा एंड एनालिटिक्स प्लेटफॉर्म (एनडीएपी) के उद्घाटन कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि इस मंच का उद्देश्य मुक्त सार्वजनिक उपयोग के लिए आंकड़ों को सुलभ, अंतर-संचालित और संवादात्मक बनाकर सरकारी आंकड़ों तक पहुंच का लोकतंत्रीकरण करना है।

नयी दिल्ली| नीति आयोग के उपाध्यक्ष सुमन बेरी ने शुक्रवार को लोकतंत्र में जवाबदेही के लिए आंकड़ों को बेहद जरूरी बताते हुए कहा कि भारत की ‘आंकड़ों के क्षेत्र में खासी महारत और समृद्ध इतिहास’ रहा है।

नीति आयोग के डेटा एंड एनालिटिक्स प्लेटफॉर्म (एनडीएपी) के उद्घाटन कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि इस मंच का उद्देश्य मुक्त सार्वजनिक उपयोग के लिए आंकड़ों को सुलभ, अंतर-संचालित और संवादात्मक बनाकर सरकारी आंकड़ों तक पहुंच का लोकतंत्रीकरण करना है।

बेरी ने कहा, ‘‘लोकतंत्र में जवाबदेही के लिए आंकड़े बहुत महत्वपूर्ण हैं। भारत के पास काफी विशेषज्ञता है और आंकड़ों का समृद्ध इतिहास बिल्कुल सच है। हालांकि, राष्ट्रीय नमूना सर्वेक्षण समेत पारदर्शिता के लिए संघर्ष की एक लंबी यात्रा रही है।’’

इस मौके पर मुख्य आर्थिक सलाहकार अनंत नागेश्वरन ने कहा कि आवधिक श्रम बल सर्वेक्षण (पीएलएफएस) में वास्तव में सुधार हो रहा है। वहीं नीति आयोग के मुख्य कार्यपालक अधिकारी अमिताभ कांत ने कहा कि सरकार को कोविड-19 महामारी के बाद की दुनिया में आंकड़ों की पहले से कहीं ज्यादा जरूरत है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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