संरक्षित क्षेत्रों को ‘प्लास्टिक मुक्त जोन’ घोषित करना प्रतीकात्मक पहल: ग्रीनपीस

Government declaring all protected areas ''plastic free zones'' symbolic initiative, says Greenpeace
[email protected] । Apr 30 2018 8:38AM

पर्यावरण के क्षेत्र में काम करने वाली संस्था ग्रीनपीस इंडिया ने देश के सभी संरक्षित क्षेत्रों को ‘प्लास्टिक मुक्त जोन’ घोषित करने के पर्यावरण मंत्रालय के कदम को ‘प्रतीकात्मक पहल’ बताया है

नयी दिल्ली। पर्यावरण के क्षेत्र में काम करने वाली संस्था ग्रीनपीस इंडिया ने देश के सभी संरक्षित क्षेत्रों को ‘प्लास्टिक मुक्त जोन’ घोषित करने के पर्यावरण मंत्रालय के कदम को ‘प्रतीकात्मक पहल’ बताया है और कहा कि प्लास्टिक अपशिष्ट पर लगाम लगाने के लिए इसके उत्पादन पर रोक लगाई जानी चाहिए। पांच जून को विश्व पर्यावरण दिवस के पहले पर्यावरण मंत्रालय ने देशभर में संरक्षित क्षेत्रों में प्लास्टिक के इस्तेमाल पर रोक लगा दी है और एक प्रकार से उन्हें ‘प्लास्टिक मुक्त क्षेत्र’ घोषित किया है। साथ ही लोगों को इस बारे में जागरुक बनाने के लिए राज्यों तथा केन्द्र शासित क्षेत्रों को अभियान चलाने के निर्देश दिए हैं।

ग्रीनपीस इंडिया ने कहा कि संरक्षित क्षेत्रों में प्लास्टिक पर प्रतिबंध लगाना अच्छा कदम है और प्लास्टिक को बंद करना ही इसका हल है। ग्रीनपीस इंडिया के क्लाइमेट एंड एनर्जी केम्पेनर नंदिकेश शिवलिंगम ने कहा कि यह प्रतीकात्मक पहल है क्योंकि संरक्षित क्षेत्र भूमि का केवल पांच प्रतिशत हिस्सा ही कवर करते है। प्लास्टिक अपशिष्ट में वास्तव में कमी लाने के लिए प्लास्टिक के इस्तेमाल को घटाने इसके उत्पादन को नियंत्रित करने की आवश्यकता है।

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