टेलीफोन एक्सचेंज मामले में मारन बंधुओं पर आरोप होंगे तय
मद्रास उच्च न्यायालय ने कथित अवैध टेलीफोन एक्सचेंज मामले में मारन बंधुओं सहित सभी आरोपियों को आरोप मुक्त करने के निचली अदालत के आदेश को आज निरस्त कर दिया।
चेन्नई। मद्रास उच्च न्यायालय ने कथित अवैध टेलीफोन एक्सचेंज मामले में मारन बंधुओं सहित सभी आरोपियों को आरोप मुक्त करने के निचली अदालत के आदेश को आज निरस्त कर दिया। सीबीआई की याचिका पर सुनवाई करते हुए न्यायमूर्ति जी जयचंद्रन ने विशेष सीबीआई अदालत को आरोप तय करने और आदेश की प्रति मिलने की तारीख से 12 महीनों के भीतर मुकदमे की सुनवाई पूरी करने का निर्देश दिया। विशेष सीबीआई अदालत ने मार्च में मामले में दयानिधि मारन, उनके भाई कलानिधि और अन्य आरोपियों को आरोप मुक्त कर दिया था।
निचली अदालत ने मारन बंधुओं और अन्यों को आरोप मुक्त करने की मांग करने वाली याचिका मंजूर करते हुए कहा था कि उनके खिलाफ प्रथम दृष्टया कोई मामला नहीं बनता। सीबीआई ने आरोप लगाया था कि वर्ष 2004-06 के दौरान जब दयानिधि मारन दूरसंचार मंत्री थे तो उनके आवास पर एक गैरकानूनी निजी टेलीफोन एक्सचेंज स्थापित किया गया और इसका कलानिधि के सन नेटवर्क से जुड़े कारोबारी लेनदेन में इस्तेमाल किया गया। केंद्रीय एजेंसी ने आरोप लगाया कि दयानिधि मारन ने खजाने को 1.78 करोड़ रुपये का नुकसान पहुंचाया। मामले में जिन अन्य आरोपियों को बरी किया गया था उनमें बीएसएनएल के पूर्व महाप्रबंधक के ब्रह्मनाथन , पूर्व उप महाप्रबंधक एम पी वेलुसामी , दयानिधि मारन के निजी सचिव गौतमन और सन टीवी के कुछ अधिकारी शामिल हैं।
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