पूर्वोत्तर क्षेत्र को जल्द मिलेगी वृहद दूरसंचार विकास नीति

इसके साथ यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि उन्हें जन सुविधाएं आसानी से सुलभ हो सकें।’’ श्रीनिवास ने कहा कि हमारी इस पहल का लक्ष्य कृत्रिम मेधा (एआई), भारतीय उपक्रम ढांचे, इंटर आपरेबिलिटी ढांचे, ई-गवर्नेंस प्रणाली और डिजिटल सेवा मानक हैं।
नयी दिल्ली। पूर्वोत्तर क्षेत्र में ई-गवर्नेंस में सुधार और नागरिकों को सशक्त करने के लिए जल्द एक वृहद दूरसंचार विकास योजना का क्रियान्वयन किया जाएगा। एक शीर्ष सरकारी अधिकारी ने यह जानकारी देते हुए कहा कि हमारा लक्ष्य विशेष रूप से समाज के सीमान्त तबके को सशक्त करना है। प्रशासनिक सुधार एवं लोक शिकायत विभाग (डीएआरपीजी) के अतिरिक्त सचिव वी. श्रीनिवास ने कहा, ‘‘हमारा उद्देश्य प्रौद्योगिकी के इस्तेमाल के जरिये लोगों के जीवन में सुधार लाना है।
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इसके साथ यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि उन्हें जन सुविधाएं आसानी से सुलभ हो सकें।’’ श्रीनिवास ने कहा कि हमारी इस पहल का लक्ष्य कृत्रिम मेधा (एआई), भारतीय उपक्रम ढांचे, इंटर आपरेबिलिटी ढांचे, ई-गवर्नेंस प्रणाली और डिजिटल सेवा मानक हैं।
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राजस्थान कैडर के 1989 बैच के भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी श्रीनिवास ने पिछले महीने पूर्वोत्तर क्षेत्र के लिए प्रशासनिक सुधारों पर ई-गवर्नेंस सम्मेलन का शिलॉन्ग, मेघालय में सफलतापूर्वक आयोजन किया था। इस सम्मेलन की अगुवाई कार्मिक एवं पेंशन राज्यमंत्री जितेंद्र सिंह ने की थी। राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस सम्मेलन का आयोजन 19-20 अगस्त को किया गया। इसमें 28 राज्यों-संघ शासित प्रदेशों के 545 प्रतिनिधि शामिल हुए।
