RBI ने एमएसएफ के तहत कर्ज लेने की बढ़ी सीमा को 30 सितंबर तक का विस्तार दिया

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रिजर्व बैंक ने एमएसएफ के तहत कर्ज लेने की बढ़ी सीमा को 30 सितंबर तक का विस्तार विस्तार देने का निर्णय लिया है। रिजर्व बैंक ने अस्थायी उपाय के रूप में सीमांत स्थायी सुविधा (मार्जिनल स्टैंडिंग फैसिलिटीके तहत अधिसूचित बैंकों के लिये कर्ज लेने की सीमा को बढ़ा दिया था। यह उपाय 27 मार्च 2020 से अमल में आया है।

मुंबई। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने कोरोना वायरस महामारी के कारण उत्पन्न प्रतिकूल आर्थिक स्थितियों के मद्देनजर बैंकों की नकदी की दिक्कतों को दूर करने के लिये कर्ज की बढ़ी सीमा की सुविधा को 30 सितंबर तक का विस्तार देने का निर्णय लिया है। रिजर्व बैंक ने अस्थायी उपाय के रूप में सीमांत स्थायी सुविधा (मार्जिनल स्टैंडिंग फैसिलिटी / एमएसएफ) के तहत अधिसूचित बैंकों के लिये कर्ज लेने की सीमा को बढ़ा दिया था। यह उपाय 27 मार्च 2020 से अमल में आया है।

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इसके तहत बैंक रिजर्व बैंक से अपनी शुद्ध मांग व समय देयता (एनडीटीएल) के दो प्रतिशत के बजाय तीन प्रतिशत के बराबर कर्ज उठा सकते हैं। एमएसएफ के तहत बैंक केंद्रीय बैंक से वैधानिक तरलता अनुपात (एसएलआर) प्रतिभूतियों में निवेश कम कर एक दिन की परिपक्वता वाला कोष उधार ले सकते हैं। रिजर्व बैंक ने अधिसूचित बैंकों को यह छूट पहले 30 जून 2020 तक के लिये दी थी। अब इसे 30 सितंबर 2020 तक बढ़ा दिया गया है। रिजर्व बैंक ने एक परिपत्र में कहा, ‘‘एक समीक्षा के आधार पर अब इस बढ़ी हुई सीमा को 30 सितंबर 2020 तक का विस्तार देने का निर्णय लिया गया है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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