क्या टीम इंडिया की दूर हो गई है सबसे बड़ी टेंशन ?

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दीपक मिश्रा । Oct 4 2019 3:24PM

रोहित-मयंक ने पहले विकेट के लिए 317 रनों की साझेदारी की है। अगर देखे तो साल 2006 के बाद पहले विकेट के लिए भारत की तरफ से ये सबसे बड़ी साझेदारी है।

दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ विशाखापट्टनम टेस्ट मैच में भारतीय टीम के ओपनर्स ने शानदार प्रदर्शन किया है। पिछले काफी समय से सलामी बल्लेबाजी में भारतीय टीम को परेशानी हो रही थी। कभी शिखर धवन तो कभी केएल राहुल भारतीय टीम को हर तरफ निराशा हाथ लग रही थी। हालात ये थे कि ओपनिंग में भारत को कोई संतुलित जोड़ी नहीं मिल पा रही थी जो भारत के लिए टेस्ट मैचों में नई गेंद से एक मजबूत नींव रख सकें। जिसके बाद भारतीय टीम मैनेजमेंट ने रोहित शर्मा को सलामी बल्लेबाज के रूप में उतारने का फैसला किया। ऑस्ट्रेलिया दौरे में अच्छा प्रदर्शन करने वाले मयंक अग्रवाल को रोहित शर्मा को जोड़ीदार बनाकर मैदान में उतारा गया। जिसके बाद अफ्रीका के खिलाफ पहली पारी में टीम इंडिया ने रनों का पहाड़ कर के दिखाया। रनों का पहाड़ खड़ा करने में सबसे अहम रोल मयंक अग्रवाल और रोहित शर्मा ने अदा किया। मयंक अग्रवाल ने जहां दोहरा शतक जड़ते हुए नया किर्तिमान अपने नाम किया है वही रोहित शर्मा ने 176 रनों की शानदार पारी खेली। जाहिर है मयंक ने अपने प्रदर्शन से भारत के लिए टेस्ट क्रिकेट में 10 साल लंबा इंतजार खत्म कर दिया। 10 साल के बाद किसी भारतीय ओपनर बल्लेबाज ने टेस्ट क्रिकेट मैच में दोहरा शतक लगाया है। इसके साथ ही ओपनिंग पार्टनरशिप में रोहित शर्मा के साथ मिलकर जिस तरह से मयंक ने बल्लेबाजी की वो काबिल ए तारीफ थी। रोहित मयंक की इस जोड़ी ने जिस तरह से प्रदर्शन कर के दिखाया उससे ये लग रहा है कि यह भारत के लिए आने वाले समय में तमाम नए रिकार्ड स्थापित करेगी। 

रोहित-मयंक ने पहले विकेट के लिए 317 रनों की साझेदारी की है। अगर देखे तो साल 2006 के बाद पहले विकेट के लिए भारत की तरफ से ये सबसे बड़ी साझेदारी है। साल 2006 में राहुल द्रविड़ और वीरेंद्र सहवाग के बीच पहले विकेट के लिए 410 रनों की पार्टनशिप हुई थी और अब पहले विकेट के लिए सबसे मयंक और रोहित ने 317 रनों की पार्टनरशिप से तीसरी सबसे बड़ी साझेदारी का रिकॉर्ड अपने नाम किया है। भारत की तरफ से पहले विकेट के लिए पंकज रॉय और वीनू माकंड के बीच सबसे ज्यादा 413 रनों का रिकॉर्ड है। हालांकि मयंक दोहरे शतक के बाद अपनी पारी को ज्यादा आगे नहीं बढ़ा सकें और 215 रन बनाकर आउट हो गए। मयंक अग्रवाल ने अपने 215 रनों की पारी में 371 गेंदों का सामना किया और इस पारी में मयंक के बल्ले से 23 चौके के साथ 6 छक्के निकले। गौर करने वाली बात ये है कि 2009 के बाद पहली बार किसी भारतीय ओपनर ने अपने नाम दोहरा शतक किया है। इससे पहले साल 2009 में श्रीलंका के खिलाफ बतौर ओपनर वीरेंद्र सहवाग ने दोहरा शतक जड़ा था। जाहिर है 10 साल बाद टीम इंडिया के ओपनर मयंक अग्रवाल ने एक ऐसी पारी खेली है जिसे आने वाले समय में याद रखा जाएगा। अगर देखे तो मयंक के पास ज्यादा अनुभव नहीं है। 

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पिछले साल ऑस्ट्रेलिया दौरे पर मयंक अग्रवाल को डेब्यू करने का मौका मिला था और अपने टेस्ट करियर के पांचवें ही मैच में मयंक ने बड़ी पारी खेल कर ये दिखा दिया कि वो टीम इंडिया के लिए लंबी रेस का घोड़ा साबित हो सकते हैं। 28 साल के मयंक अग्रवाल में एक महान बल्लेबाज के गुण दिखाई दे रहा है। उम्मीद है कि आने वाले समय में मयंक ओपनिंग में ऐसी ही विस्फोटक पारी खेलते रहेंगे और हर किसी की उम्मीद पर खरे उतरेंगे। इसके साथ ही 2013 में टेस्ट क्रिकेट में डेब्यू करने वाले रोहित शर्मा ने जिस तरह से टेस्ट क्रिकेट में मिले ओपनिंग के मौके को भुनाया है वो भी काफी शानदार है। रोहित वनडे में तमाम तरह के रिकार्ड बना चुके है और इस समय वो दुनिया के बेस्ट बल्लेबाजों में शुमार है। जिसके बाद टेस्ट क्रिकेट में मिडिल आर्डर में वो फ्लॉप रहे और टीम मैनेजमेंट ने रोहित पर दांव लगाने की ठानी। रोहित ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ इस मौके को बड़े शानदार तरीके से भुनाया और शानदार शतक जड़ा। हालांकि सवाल यह है कि क्या रोहित शर्मा न जिस तरीके से भारतीय सरजमी पर प्रदर्शन किया है उसे वह आगे भी बरकरार रख पाएंगे। सवाल यह है कि क्या रोहित शर्मा विदेशी सरजमीं पर नए गेंद से ऐसा ही प्रदर्शन कर पाएंगे। सवाल काफी है लेकिन रोहित के बल्लेबाजी को लेकर यह जरूर उम्मीद आती है कि अगर इस बल्लेबाज ने टेस्ट में भी वनडे जैसे गियर पकड़ लिया इसे रोकना मुश्किल ही नहीं नामुम्मकिन हो जाएगा।

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