क्या रूस का कोरोना टीका सच में हुआ कारगर साबित? WHO कर रही रूस से बातचीत

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विश्व स्वास्थ्य संगठन के यूरोप कार्यालय ने कहा कि वह कोविड-19 के टीके पर रूस के साथ चर्चा कर रही है। रूसी अधिकारियों का दावा है कि यह टीका कोविड-19 के लिए प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाएगा, लेकिन इस दावे के पक्ष में उन्होंने कोई प्रमाण नहीं दिए हैं।

लंदन। विश्व स्वास्थ्य संगठन के यूरोप कार्यालय ने कहा कि उसनेकोविड-19 के उस प्रायोगिक टीके बारे में और जानकारी हासिल करने के लिए रूस के साथ बातचीत शुरू की है जिसे हाल ही में मंजूरी दी गई है। पिछले सप्ताह रूस दुनिया का ऐसा पहला देश बन गया जिसने कोरोना वायरस के एक टीके को, राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन द्वारा मंजूरी की घोषणा किए जाने के बाद लाइसेंस दे दिया है। बहरहाल, टीके को लाइसेंस के पहले कारगर साबित करने के लिए आवश्यक परीक्षणों से अभी गुजरना है और इससे पहले लाइसेंस मिलने को वैज्ञानिक प्रोटोकॉल का उल्लंघन कहा जा रहा है। रूसी अधिकारियों का दावा है कि यह टीका कोविड-19 के लिए प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाएगा, लेकिन इस दावे के पक्ष में उन्होंने कोई प्रमाण नहीं दिए हैं।

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यूरोप में डब्ल्यूएचओ की वरिष्ठ आपात अधिकारी कैथरीन स्मालवुड ने कहा कि एंजसी ने रूस के साथ सीधा संवाद शुरू किया है। उन्होंने कहा कि डब्ल्यूएचओ के अधिकारी विभिन्न कदमों और जानकारियों को जुटा रहे हैं जिनकी इस संस्था को आकलन के लिए जरूरत है। डब्ल्यूएचओ की यूरोपीय निदेशक डाक्टर हंस क्लूज ने कहा कि एजेंस टीके के विकास के लिए उठाए गए सभी अग्रिम कदमों का स्वागत करती है, लेकिन प्रत्येक टीके की क्लीनिकल परी क्षणकी जानकारी प्रस्तुत करनी होगी। रूस के टीके का अभी तक कुछ दर्जन लोगों पर ही परीक्षण किया गया है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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