UN महासचिव ने कश्मीर मुद्दे के शांतिपूर्ण समाधान की जताई उम्मीद, भारत ने दिया यह जवाब

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संयुक्त राष्ट्र महासचिव ने कश्मीर मुद्दे का भारत और पाक के बीच शांतिपूर्ण समाधान की उम्मीद जताई है।उल्लेखनीय है कि नयी दिल्ली ने कश्मीर मुद्दे पर भारत और पाकिस्तान के बीच किसी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता को सिरे से खारिज करते हुए कहा है कि दशकों से भारत का रुख स्पष्ट रहा है।

संयुक्त राष्ट्र। संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने उम्मीद जताई है कि भारत और पाकिस्तान के बीच कश्मीर मुद्दे का शांतिपूर्ण तरीके से समाधान हो सकता है। गुतारेस ने शुक्रवार को कहा, ‘‘संयुक्त राष्ट्र का रुख और (उक्त विषय पर) लिये गये संकल्प एक समान हैं। जैसा कि आप जानते हैं, हमारा वहां एक शांति रक्षक अभियान है। हम, बेशक प्रतिबद्ध हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘मैंने कई बार अपनी ओर से सहयोग की पेशकश की है और हमें उम्मीद है कि यह कुछ ऐसी चीज है, जिसका शांतिपूर्ण तरीके से समाधान किया जा सकता है और कश्मीर में ऐसी स्थिति है, जिसमें मानवाधिकारों का सम्मान किया जाता है तथा जिसमें लोग शांति एवं सुरक्षा के साथ रह सकते हैं। ’’ गुतारेस यहां संवाददाता सम्मेलन के दौरान कश्मीर मुद्दे पर एक पाकिस्तानी पत्रकार के सवाल का जवाब दे रहे थे।

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उल्लेखनीय है कि नयी दिल्ली ने कश्मीर मुद्दे पर भारत और पाकिस्तान के बीच किसी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता को सिरे से खारिज करते हुए कहा है कि दशकों से भारत का रुख स्पष्ट रहा है और दोनों देश मुद्दे पर द्विपक्षीय तरीके से चर्चा कर सकते हैं। गुतारेस ने अगस्त 2019 में एक बयान में, भारत और पाकिस्तान के बीच 1972 के द्विपक्षीय समझौते को याद किया था, जिसे शिमला समझौता के तौर पर जाना जाता है। इस समझौते पर तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी और पाकिस्तान के तत्कालीन राष्ट्रपति जुल्फिकार अली भुट्टो ने 1972 में हस्ताक्षर किया था तथा यह कश्मीर मुद्दे पर किसी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता को खारिज करता है। नयी दिल्ली ने इस्लामाबाद से बार-बार कहा है कि जम्मू कश्मीर भारत का ‘अभिन्न हिस्सा था, है और सदा रहेगा।’ भारत ने पाकिस्तान से यह भी कहा है कि वह आतंक, शत्रुता और हिंसा मुक्त माहौल में उसके साथ सामान्य पड़ोसी संबंध की आकांक्षा रखता है।

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