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दिल्ली में कोरोना के 357 नए मामले आए, 11 और मरीजों की मौत
- प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क
- जनवरी 14, 2021 08:33
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अधिकारियों ने बताया कि अब यहां इस संक्रमण के मामले 6.31 लाख के पार चले गए है जबकि इस बीमारी से 11 और मरीजों की मौत होने से मृतकों की संख्या 10,718 हो गई।
नयी दिल्ली। दिल्ली में बुधवार को कोविड-19 के 357 नए मरीज सामने आने के बाद महामारी के मामले 6.31 लाख के पार चले गये जबकि संक्रमण दर घटकर 0.50 फीसद हो गयी। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। यह जनवरी में दसवीं बार है जब दैनिक मामले 500 से कम आए हैं। अधिकारियों ने बताया कि अब यहां इस संक्रमण के मामले 6.31 लाख के पार चले गए है जबकि इस बीमारी से 11 और मरीजों की मौत होने से मृतकों की संख्या 10,718 हो गई।
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एक जनवरी को दिल्ली में कुल 585 मामले दर्ज किए गए, जबकि दो जनवरी को 494 नए, तीन जनवरी को 424, चार जनवरी को 384, पांच जनवरी को 442, छह जनवरी को 654, सात जनवरी को 486, आठ जनवरी को 444, नौ जनवरी को 519, 10 जनवरी को 399 , 11 जनवरी को306 और 12 जनवरी को 386 नए मामले सामने आए थे। दिल्ली में उपचाराधीन मरीजों की संख्या बुधवार को 2991 रही जबकि संक्रमण दर घटकर 0.50 फीसद दर्ज की गयी।
दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने कहा था कि पिछले सात दिनों में संक्रमण दर एक फीसद के नीचे है जो यहां इस महमारी की स्थिति में सुधार का संकेत है। दिल्ली स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी नवीनतम बुलेटिन के अनुसार, 37,812 आरटी-पीसीआर जांच और 32,933 रैपिड एंटीजन जांच सहित पिछले दिन की गईं70,745 जांचों के बाद ये 357 नए मामले सामने आए। बुलेटिन में कहा गया कि राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस मामलों की कुल संख्या बढ़कर 6,31,249 हो गई है।Delhi records 357 fresh cases of COVID-19; death toll 10,718 with 11 new fatalities: Authorities
— Press Trust of India (@PTI_News) January 13, 2021
किसान और कृषि दोनों के हितों के लिए प्रतिबद्ध है मोदी सरकार: नरेंद्र सिंह तोमर
- अंकित सिंह
- जनवरी 25, 2021 17:26
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किसानों के साथ 11वें दौर की वार्ता के बाद जब समाधान नहीं निकला तब मैंने किसान से कहा कि डेढ़ साल के लिए कानूनों के क्रियान्वयन को स्थगित कर देते हैं,SC ने स्थगित किया है तो हम उनसे अनुरोध करेंगे कि थोड़ा और समय दें ताकि उस समय में हम लोग बातचीत के जरिए हल निकाल सकें।
केंद्र द्वारा लाए गए तीन कृषि कानूनों को लेकर किसान लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं। किसान लगातार 60 दिनों से एक दिल्ली के बाहरी इलाकों में डटे हुए हैं। इन सबके बीच कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने बड़ा बयान दिया है। न्यूज़ एजेंसी एएनआई के मुताबिक कृषि मंत्री ने कहा है कि सरकार किसान और कृषि दोनों के हितों के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने आगे कहा कि PM नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में विगत 6 वर्षों में किसान की आमदनी बढ़ाने, खेती को नई तकनीक से जुड़ने के लिए अनेक प्रकार की योजनाएं और प्रयास किए गए हैं। MSP को डेढ़ गुना करने का काम भी PM के नेतृत्व में हुआ है।
नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि किसान को उसके उत्पादन का सही दाम मिल सके,किसान महंगी फसलों की ओर आकर्षित हो सके इसलिए जहां कानून बनाने की आवश्यकता थी वहां कानून बनाए गए और जहां कानून में बदलाव की आवश्यकता थी वहां कानून में बदलाव भी किए गए। इसके पीछे सरकार और प्रधानमंत्री की साफ नीयत हैं। भले ही सरकार और किसानों के बीच 11 दौर की बैठक हो चुकी है और सभी बैठक बेनतीजा रहे हैं। लेकिन कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर को उम्मीद है कि आने वाले समय में इसका समाधान निकल जाएगा। इस पर उन्होंने कहा कि किसानों के साथ 11वें दौर की वार्ता के बाद जब समाधान नहीं निकला तब मैंने किसान से कहा कि डेढ़ साल के लिए कानूनों के क्रियान्वयन को स्थगित कर देते हैं,SC ने स्थगित किया है तो हम उनसे अनुरोध करेंगे कि थोड़ा और समय दें ताकि उस समय में हम लोग बातचीत के जरिए हल निकाल सकें।सरकार किसान और कृषि दोनों के हितों के प्रति प्रतिबद्ध है,PM जी के नेतृत्व में विगत 6 वर्षों में किसान की आमदनी बढ़ाने,खेती को नई तकनीक से जुड़ने के लिए अनेक प्रकार की योजनाएं और प्रयास किए गए हैं। MSP को डेढ़ गुना करने का काम भी PM के नेतृत्व में हुआ:कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर pic.twitter.com/9TLGOkqibO
— ANI_HindiNews (@AHindinews) January 25, 2021
ममता बनर्जी का आरोप, भाजपा ने जय श्रीराम का नारा लगाकर नेताजी का अपमान किया
- प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क
- जनवरी 25, 2021 16:49
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पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधा और उस पर एक कार्यक्रम में जय श्रीराम का नारा लगाकर नेताजी सुभाष चंद्र बोस का अपमान करने का आरोप लगाया।
पुर्सुरा (पश्चिम बंगाल)। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधा और उस पर एक कार्यक्रम में जय श्रीराम का नारा लगाकर नेताजी सुभाष चंद्र बोस का अपमान करने का आरोप लगाया। यह कार्यक्रम बोस की 125वीं जयंती के मौके पर आयोजित किया गया था। भाजपा को बाहरी लोगों का समूह और भारत जलाओ पार्टी बताते हुए बनर्जी ने कहा कि भाजपा लगातार बंगाल की महान शख्सियतों का अपमान कर रही है और नेताजी भी ‘‘इस फहरिस्त में शामिल हो गए हैं।’’ तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख ने यहां एक रैली में कहा, ‘‘क्या आप किसी को अपने घर बुलाकर उसका अपमान करेंगे? क्या यह बंगाल या हमारे देश की संस्कृति है? अगर नेताजी के लिए नारे लगाए जाते तो मुझे कोई परेशानी नहीं होती।’’
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उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया। मेरा उपहास उड़ाने के लिए उन्होंने नारे लगाए जिनका कार्यक्रम से कोई संबंध नहीं था। देश के प्रधानमंत्री के सामने मेरा अपमान किया गया। यह उनकी (भाजपा) संस्कृति है।’’ सुभाष चंद्र बोस की 125वीं जयंती के मौके पर शनिवार को आयोजित एक सरकारी कार्यक्रम में जय श्रीराम के नारे लगाए जाने के बाद बनर्जी ने कार्यक्रम को संबोधित नहीं किया था। इस कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी शामिल थे।
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दल बदलुओं को विश्वासघाती बताते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि विधानसभा चुनाव से पहले तृणमूल कांग्रेस का साथ छोड़ने वाले नेताओं को फिर कभी पार्टी में वापस नहीं लिया जाएगा। बनर्जी ने कहा, ‘‘जो (पार्टी) छोड़कर गए हैं, उन्हें पता था कि उन्हें आगामी चुनाव में टिकट नहीं मिलने वाला है। यह अच्छा है कि वे चले गए अन्यथा हम उन्हें निकाल देते.... जो पार्टी छोड़ना चाहते हैं, उन्हें जल्द से जल्द पार्टी छोड़ देनी चाहिए।
किसानों के प्रदर्शन पर नाटक कर रहे हैं कुछ राजनीतिक दल: फडणवीस
- प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क
- जनवरी 25, 2021 16:45
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फडणवीस ने भाजपा के कई कार्यकर्ताओं के साथ भंडारा में विभिन्न मुद्दों को लेकर प्रदर्शन भी किया। प्रदर्शन से पहले उन्होंने पत्रकारों से कहा कि वह भंडारा के अस्पताल में पिछले महीने आग लगने से 10 बच्चों की मौत के मामले के संबंध में राज्य सरकार की ‘‘असंवेदनशील’’ रवैये के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं।
नागपुर (महाराष्ट्र)। भाजपा के वरिष्ठ नेता देवेन्द्र फडणवीस ने सोमवार को आरोप लगाया कि कुछ राजनीतिक पार्टियां केन्द्र के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों के प्रदर्शन को लेकर ‘‘नाटक’’ कर रही हैं और गलत जानकारियां फैला रही हैं। मुम्बई में किसानों द्वारा आयोजित की गई रैली का राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) और कांग्रेस द्वारा समर्थन करने के बाद उन्होंने यह बयान दिया है। महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता फडणवीस ने पत्रकारों से बात करते हुए दावा किया कि पूर्ववर्ती कांग्रेस-राकांपा सरकार ने ही अनुबंध कृषि और कृषि उत्पादों की सीधी खरीद की अनुमति दी थी। उन्होंने कहा कि कृषि कानून पारित हुए काफी समय हो गया है और महाराष्ट्र में भी तक ऐसा कोई प्रदर्शन नहीं हुआ।
राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया, ‘‘ कुछ राजनीतिक दल जानबूझकर अब नाटक कर रहे हैं और गलत जानकारियां फैला कर किसानों को गुमराह कर रहे हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ मेरे पास इन मोर्चों का समर्थन करने वाली पार्टियों के लिए एक सवाल है कि कांग्रेस ने अपने 2019 के चुनाव घोषणापत्र में यह क्यों कहा था कि अगर वह सत्ता में आई तो वह बाजार समितियों को निलंबित कर देगी।’’ फडणवीस ने पूछा, ‘‘ कांग्रेस और राकांपा को जवाब देने चाहिए कि उन्होंने 2006 में अनुबंध खेती अधिनियम को मंजूरी क्यों दी? उन्हें महाराष्ट्र में इस कानून से कोई दिक्कत नहीं है, लेकिन वे केन्द्र में इसे नहीं चाहते। यह ड्रामा क्यों?’’माजी मुख्यमंत्री आणि विधानसभेतील विरोधी पक्षनेते देवेंद्र फडणवीस हे मोर्चेकरांना संबोधित करीत आहेत.
राज्यातील हे सरकार म्हणजे भ्रष्टाचाराची गटारगंगा.
या सरकारने अनेक योजनांना स्थगिती दिली. केवळ एकच योजना सुरू आहे, ती म्हणजे भ्रष्टाचार: देवेंद्र फडणवीस @Dev_Fadnavis— @OfficeOfDevendra (@Devendra_Office) January 25, 2021
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उन्होंने यह भी दावा किया कि किसानों की उपज की सीधी खरीद के लिए पिछले कांग्रेस-राकांपा शासन ने 29 लाइसेंस जारी किए गए थे। इस बीच, फडणवीस ने भाजपा के कई कार्यकर्ताओं के साथ भंडारा में विभिन्न मुद्दों को लेकर प्रदर्शन भी किया। प्रदर्शन से पहले उन्होंने पत्रकारों से कहा कि वह भंडारा के अस्पताल में पिछले महीने आग लगने से 10 बच्चों की मौत के मामले के संबंध में राज्य सरकार की ‘‘असंवेदनशील’’ रवैये के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने भंडारा में धान की खरीद के दौरान ‘‘व्यापक भ्रष्टाचार’’ का भी आरोप लगाया।

