आत्मसमर्पण के बाद लालू प्रसाद को पहले जेल और फिर अस्पताल भेजा गया

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[email protected] । Aug 30 2018 6:23PM

लालू के वकीलों ने उन्हें इलाज के लिए रिम्स अस्पताल में भर्ती कराने का अनुरोध किया जिसके बाद अदालतों ने जेल प्रशासन को राजद अध्यक्ष के स्वास्थ्य का उचित ख्याल रखने के निर्देश दिये।

रांची। करोड़ों रुपये के चारा घोटाले में दोषी करार दिए जा चुके राजद अध्यक्ष एवं बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद ने अंतरिम जमानत पर विभिन्न बीमारियों का इलाज कराने के बाद झारखंड उच्च न्यायालय के आदेश के अनुसार आज केन्द्रीय जांच ब्यूरो की दो विशेष अदालतों के समक्ष यहां आत्मसमर्पण कर दिया। इसके बाद अदालतों के आदेश पर उन्हें अपनी सजा काटने के लिए वापस बिरसा मुंडा जेल भेज दिया गया जहां से कारागार के चिकित्सक ने उन्हें उचित इलाज के लिए रिम्स अस्पताल भेज दिया। आत्मसमर्पण के लिए लालू कल ही रांची पहुंच गये थे।

लालू प्रसाद आज सुबह लगभग दस बजे चारा घोटाले के मामलों की सुनवाई कर रहीसीबीआई की विशेष अदालतों में पहुंचे और उन्होंने बारी-बारी से चाईबासा कोषागार से गबन के मामले में आदेश देने वाली एसएस प्रसाद की अदालत और फिर देवघर एवं दुमका कोषागार से अवैध निकासी के मामलों में फैसला सुनाने वाली एमपी मिश्रा की अदालत में आत्मसमर्पण किया।दोनों अदालतों ने लालू को न्यायिक हिरासत में लेकर वापस बिरसा मुंडा जेलभेजने के आदेश दिये। लालू के वकीलों ने उन्हें इलाज के लिए रिम्स अस्पताल में भर्ती कराने का अनुरोध किया जिसके बाद अदालतों ने जेल प्रशासन को राजद अध्यक्ष के स्वास्थ्य का उचित ख्याल रखने के निर्देश दिये।

अदालत के आदेश के मद्देनजर लालू प्रसाद को जेल ले जाया गया जहां केचिकित्सक ने उनके स्वास्थ्य जांच एवं उचित इलाज के लिए रिम्स अस्पताल रेफरकर दिया। बाद में राजद नेता को रिम्स ले जाया गया जहां डॉ. उमेश प्रसाद की यूनिट में उनका प्राथमिक स्वास्थ्य जांच किया जा रहा है। इसके बाद न्यायिक हिरासत में उनकी चिकित्सा की जायेगी। पहले अदालत परिसर में ही लालू प्रसाद के अधिवक्ता प्रभात कुमार ने बतायाथा कि जेल के चिकित्सक लालू के स्वास्थ्य की जांच करेंगे और उनकी बीमारियों की जांच के लिए रिम्स के चिकित्सकों का बोर्ड बनाया जा सकता है और इस मेडिकल बोर्ड की अनुशंसा के आधार पर लालू प्रसाद को जल्द ही वापस रिम्स अस्पताल में भर्ती कराया जा सकता है।

मामले में झारखंड उच्च न्यायालय के आदेश और सीबीआई अदालत के आदेश कोदेखते हुए जेल के अधिकारियों ने तत्काल उन्हें रिम्स भेजना ही उचित समझा।झारखंड उच्च न्यायालय ने 24 अगस्त को लालू प्रसाद को विशेष सीबीआईअदालत के समक्ष आत्मसमर्पण करने के आदेश दिये थे। न्यायालय ने लालू कोआत्मसमर्पण करने के लिए 30 अगस्त तक की मोहलत दी थी। इससे पहले, उच्च न्यायालय ने पिछली सुनवाई के दौरान राष्ट्रीय जनता दल केप्रमुख लालू प्रसाद की चारा घोटाले के देवघर कोषागार समेत सभी तीनमामलों में स्वास्थ्य कारणों से दी गयी अंतरिम जमानत की अवधि को आगेबढ़ाने से इनकार कर दिया था।

न्यायालय ने कहा था कि आवश्यक होने पर अब लालू का यहां रिम्स अस्पताल मेंइलाज होगा।झारखंड उच्च न्यायालय में न्यायमूर्ति अपरेश कुमार सिंह की पीठ ने इस मामले की सुनवाई करते हुए लालू के अधिवक्ताओं की अंतरिम जमानत की अवधि बढ़ाने की दलील को 24 अगस्त को अस्वीकार कर दिया था। न्यायालय ने लालू को सीबीआई की विशेष अदालत के समक्ष आत्मसमर्पण करने के निर्देश दिये थे।

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