अमित शाह नागरिकता के मुद्दे पर मतुआ समुदाय को गुमराह कर रहे हैं: अभिषेक बनर्जी
मतुआ मूल रूप से पूर्वी पाकिस्तान (अब बांग्लादेश) के कमजोर तबके के हिंदू हैं जो बंटवारे और बांग्लादेश के निर्माण के बाद भारत आ गए थे। उनमें से कई को भारतीय नागरिकता मिल गई है लेकिन बड़ी आबादी को अभी तक नागरिकता नहीं मिली है।
कुलपी (पश्चिम बंगाल)। तृणमूल कांग्रेस के नेता अभिषेक बनर्जी ने कोविड-19 टीकाकरण प्रक्रिया के देश में पूरा होने में 10 साल लगने का दावा करते हुए शनिवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर नागरिकता प्रदान करने के मुद्दे को लेकर मतुआ समुदाय के लोगों को गुमराह करने का आरोप लगाया।। गौरतलब है कि शाह ने पश्चिम बंगाल में बृहस्पतिवार को जनसभाओं को संबोधित करते हुए नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) का विरोध करने के लिए ममता बनर्जी सरकार पर हमला किया था और यह दावा किया था कि कोरोना वायरस टीकाकरण कार्यक्रम के पूरा होने के बाद नागरिकता कानून लागू किया जाएगा। दक्षिण 24 परगना जिले के कुलपी में एक जनसभा को संबोधित करते हुए, बनर्जी ने कहा, शाह ने कहा कि देश में कोविड टीकाकरण का काम पूरा होते ही सीएए को लागू कर दिया जाएगा। पूरे देश में टीकाकरण की प्रक्रिया को पूरा होने में 10 साल लगेंगे। वह मतुआ को गुमराह कर रहे हैं। शाह ने मतुआ समुदाय के गढ़ में एक रैली को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘जैसे ही कोविड-19 के टीकाकरण की प्रक्रिया खत्म होती है, सीएए के तहत नागरिकता देने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। आप सभी इस देश के सम्मानित नागरिक होंगे।’’
मतुआ मूल रूप से पूर्वी पाकिस्तान (अब बांग्लादेश) के कमजोर तबके के हिंदू हैं जो बंटवारे और बांग्लादेश के निर्माण के बाद भारत आ गए थे। उनमें से कई को भारतीय नागरिकता मिल गई है लेकिन बड़ी आबादी को अभी तक नागरिकता नहीं मिली है। राज्य में इस समुदाय की आबादी लगभग 30 लाख है जिसका चार लोकसभा निर्वाचन क्षेत्रों और नदिया, और उत्तरी एवं दक्षिणी 24 परगना जिलों में 30 से अधिक विधानसभा सीटों पर प्रभाव है। यह समुदाय पहले तृणमूल कांग्रेस के साथ था, लेकिन 2019 के लोकसभा चुनाव में इसने भाजपा का समर्थन किया। अब विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा और टीएमसी दोनों मतुआ लोगों को लुभा रहे हैं। जनसभा को संबोधित करते हुए बनर्जी ने यह भी दावा किया कि टीएमसी 250 से अधिक सीटें जीतेगी, जबकि भाजपा के लिए दोहरे अंक का आंकड़ा पार करना भी मुश्किल होगा। बनर्जी ने 200 से अधिक सीटें जीतकर राज्य की सत्ता में आने के भाजपा के दावे के जवाब में यह बात कही। अप्रैल-मई में बंगाल के 294 सदस्यीय विधानसभा के चुनाव होने हैं। बनर्जी पार्टी की युवा शाखा के अध्यक्ष और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे हैं। बनर्जी ने कहा कि पश्चिम बंगाल में दोहरे इंजन वाली सरकार (केंद्र के साथ-साथ राज्य में भी एक ही पार्टी की सरकार) चलाने का भगवा पार्टी का दावा ममता बनर्जी की एकल इंजन वाली सरकार की शक्ति के आगे औंधे मुँह गिर जाएगा। उन्होंने कहा कि टीएमसी लगातार तीसरी बार सरकार बनाने जा रही है और पार्टी 50 साल तक सत्ता में रहेगी।They (BJP) are thinking that they can buy votes. I want to say that you take money from them but vote for the 'joda phool' (TMC's symbol). This is a fight to eradicate the outsiders who are trying to impose their culture on us: TMC leader Abhishek Banerjee in South Kolkata pic.twitter.com/hyWgzajFO0
— ANI (@ANI) February 13, 2021
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डायमंड हार्बर के सांसद ने कहा, पश्चिम बंगाल ममता बनर्जी को तीसरी बार मुख्यमंत्री चुनेगा। टीएमसी सदस्य के रूप में दिनेश त्रिवेदी के शुक्रवार को राज्यसभा से इस्तीफे का जिक्र करते हुए बनर्जी ने कहा कि त्रिवेदी कह रहे थे कि उनका दम घुट रहा है। उन्हें जाने दीजिए और भाजपा के आईसीयू में भर्ती हो जाने दीजिए। उन्होंने कहा कि जय श्री राम का नारा भाजपा का एक चुनावी पैंतरा है और उसका कोई विकास का एजेंडा नहीं है। टीएमसी नेता ने आरोप लगाया कि भगवा पार्टी महिलाओं को सम्मान देना नहीं जानती है। उन्होंने कहा, वे जय श्री राम कहते हैं न कि जय सिया राम। ऐसा इसलिए है क्योंकि वे महिलाओं को सम्मान देना नहीं जानते हैं। बनर्जी ने यह भी आरोप लगाया कि गुजरात और उत्तर प्रदेश जैसे भाजपा शासित राज्यों में महिलाओं पर अत्याचार किया जाता है। उन्होंने दावा किया कि भाजपा नेता बाहरी लोगों का एक झुंड हैं जो बंगाल की संस्कृति से अवगत नहीं हैं और लोगों को भ्रमित करने के लिए फर्जी खबरें फैला रहे हैं।
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