- |
- |
UPSC के परीक्षा न देने वालों को नहीं मिलेगा एक और मौका, केंद्र ने SC को बताया
- प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क
- जनवरी 22, 2021 13:01
- Like

केंद्र सरकार कोविड-19 के कारण यूपीएससी परीक्षा से वंचित छात्रों को एक और मौका देने के पक्ष में नहीं है।इससे पहले, सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने पीठ को बताया था कि सिविल सर्विसेज के ऐसे उम्मीदवारों को सरकार एक और मौका देने पर विचार कर रही है।
नयी दिल्ली। केंद्र ने शुक्रवार को उच्चतम न्यायालय को बताया कि वह पिछले साल महामारी के कारण संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) द्वारा आयोजित परीक्षा में शामिल नहीं होने से अपना आखिरी मौका गंवा देने वाले अभ्यर्थियों को एक और अवसर देने के पक्ष में नहीं है। न्यायमूर्ति ए एम खानविलकर के नेतृत्व वाली पीठ ने कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग (डीओपीटी) की तरफ से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एस वी राजू के निवेदन का संज्ञान लिया कि सरकार कोविड-19 महामारी के कारण 2020 में सिविल सेवा अभ्यर्थियों को एक और अवसर देने को तैयार नहीं है।
इसे भी पढ़ें: सोनिया गांधी ने अर्नब गोस्वामी मामले पर कहा- राष्ट्रवाद का प्रमाण पत्र बांटने वाले पूरी तरह बेनकाब हो गए
अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल ने पीठ से कहा, ‘‘हम एक और अवसर देने को तैयार नहीं है। मुझे हलफनामा दाखिल करने का समय दीजिए...कल (बृहस्पतिवार) रात मुझे निर्देश मिला है कि हम इस पर तैयार नहीं हैं।’’ पीठ में न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति कृष्ण मुरारी भी थे। पीठ ने सिविल सेवा की अभ्यर्थी रचना की याचिका को 25 जनवरी के लिए सूचीबद्ध किया है और केंद्र से एक हलफनामा दाखिल करने को कहा है। इससे पहले, सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने पीठ को बताया था कि सिविल सर्विसेज के ऐसे उम्मीदवारों को सरकार एक और मौका देने पर विचार कर रही है।
भाजपा विधायक को दिनभर के लिए सदन से बाहर किए जाने पर विपक्ष का बहिर्गमन
- प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क
- मार्च 1, 2021 20:57
- Like

विधानसभा अध्यक्ष सी पी जोशी संसदीय परंपराओं को हवाला देते हुए नेता प्रतिपक्ष गुलाब चंद कटारिया से हस्तक्षेप की अपेक्षा की। इस पर भी देवनानी शांत नहीं हुए तो अध्यक्ष जोशी ने संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल से देवनानी को दिन भर के लिए कार्यवाही से बाहर करने का प्रस्ताव लाने को कहा।
जयपुर। राजस्थान विधानसभा में सोमवार को भाजपा विधायक वासुदेव देवनानी को दिन भर के लिए सदन की कार्यवाही से बाहर किए जाने के विरोध में विपक्ष ने सदन से बहिर्गमन किया। इस मुद्दे को लेकर विधानसभा अध्यक्ष सी पी जोशी भाजपा सदस्यों से खासे नाराज नजर आए। दरअसल शून्य काल की शुरुआत होते ही जब अध्यक्ष जोशी अपनी व्यवस्था दे रहे थे तो देवनानी ने एक मुद्दा उठाने की कोशिश की। अध्यक्ष ने इसकी अनुमति नहीं दी लेकिन देवनानी ने अपनी बात जारी रखी। इस पर जोशी खासे नाराज हो गए और संसदीय परंपराओं को हवाला देते हुए नेता प्रतिपक्ष गुलाब चंद कटारिया से हस्तक्षेप की अपेक्षा की। इस पर भी देवनानी शांत नहीं हुए तो अध्यक्ष जोशी ने संसदीय कार्य मंत्री शांति धारीवाल से देवनानी को दिन भर के लिए कार्यवाही से बाहर करने का प्रस्ताव लाने को कहा।
इसे भी पढ़ें: पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनावः कांग्रेस ने 28 पर्यवेक्षकों की नियुक्ति की
कटारिया ने इस पर कहा कि यह प्रकरण इतना बड़ा नहीं कि देवनानी को दिन भर के लिए बाहर करने का प्रस्ताव लाया जाए। अगर आप यह निर्णय लेना चाहते हैं हम सब लोग बाहर जाएंगे। विधानसभा अध्यक्ष ने इस पर कहा कि उन्हें कटारिया से अपेक्षा थी वह अपने विधायक के व्यवहार पर खेद प्रकट करेंगे लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया। उन्होंने विधायक के व्यवहार के बारे में एक भी शब्द नहीं बोला।
धारीवाल ने अपने प्रस्ताव में कहा कि जिस तरह का व्यवहार देवनानी ने किया है उसके लिए उन्हें आज के लिए सदन की कार्यवाही से बाहर किया जाए तथा कल भी इनकी प्रवेश माफी मांगने के बाद ही होगी। इस प्रस्ताव को ध्वनि मत से पारित से पारित कर दिया गया। इस पर भाजपा ने सदन से बहिर्गमन किया। दरअसल देवनानी जयपुर में एक धरने के दौरान अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ताओं की कथित तौर पर पिटाई से जुड़ा मुद्दा उठाने की कोशिश कर रहे थे।
इसे भी पढ़ें: किसान आंदोलन का समाधान दो मिनट में संभव, लेकिन जिद पर अड़ी है केंद्र सरकार: गहलोत
अध्यक्ष ने व्यवस्थाओं का हवाला देते हुए इसकी अनुमति नहीं दी। इसके बाद सदन में बजट 2021-22 पर चर्चा जारी रही है। वहीं सदन ने राजस्थान विनियोग(संख्या-1) विधेयक 2021 को ध्वनिमत से पारित कर दिया। संसदीय कार्यमंत्री शांति कुमार धारीवाल ने विधेयक को सदन में रखते हुए बताया कि यह विधेयक वित्तीय वर्ष 2020-21 की सेवाओं के लिए राज्य की समेकित निधि में से कतिपय और राशियों के संदाय और विनियोजन को प्राधिकृत करने के लिए लाया गया है।
क्या कोरोना के चलते कश्मीर में बनी रही शांति ? जानिए शीर्ष सैन्य कमांडर ने क्या कुछ कहा
- प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क
- मार्च 1, 2021 20:49
- Like

श्रीनगर स्थिति पंद्रहवीं कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल बी एस राजू ने कहा, ‘‘ वर्ष 2020 कश्मीर में सबसे शांतिपूर्ण दौर मेंएक रहा। घाटी में स्थिति बहुत सामान्य रही। हिंसा के सभी मानक, चाहे पथराव हो या प्रदर्शन या बंद, में गिरावट आयी है।’’
श्रीनगर। सेना के एक शीर्ष कमांडर ने सोमवार को कहा कि पिछला वर्ष कश्मीर में सबसे शांतिपूर्ण रहा तथा हिंसा के सभी मानकों में गिरावट आयी क्योंकि लोग ऐसा चाहते हैं। उन्होंने इस बात को खारिज कर दिया कि कोविड-19 महामारी के चलते ‘शांति’ बनी रही। श्रीनगर स्थिति पंद्रहवीं कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल बी एस राजू ने यह भी कहा कि पाकिस्तान के साथ नियंत्रण रेखा पर संघर्ष विराम समझौता दोनों देशों का विवेकपूर्ण फैसला है और अब उसे सफल बनाने की जिम्मेदारी है।
इसे भी पढ़ें: 'चिपकाने वाले बम' की बरामदगी से J&K में आतंकवाद के नए चरण के मिले संकेत, सुरक्षाकर्मी सतर्क
लेफ्टिनेंट जनरल राजू ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘ वर्ष 2020 कश्मीर में सबसे शांतिपूर्ण दौर मेंएक रहा। घाटी में स्थिति बहुत सामान्य रही। हिंसा के सभी मानक, चाहे पथराव हो या प्रदर्शन या बंद, में गिरावट आयी है।’’ नये सैन्य अभियान महानिदेशक का पदभार ग्रहण करने जा रहे राजू ने कहा कि कई लोग यह यह मानकर चलते हैं कि कोविड-19 के चलते घाटी में स्थिति ‘शांत’ है ‘ लेकिन ऐसा नहीं है।’ उन्होंने कहा, ‘‘ शांति इसलिए है क्योंकि लोग शांति चाहते हैं। यदि कुछ अच्छा हो रहा है, तो इसकी वजह है कि लोग ही ऐसा चाहते हैं।’’ हालांकि उन्होंने माना कि छिटपुट घटनाएं होती रहीं क्योंकि ऐसे तत्व हैं जो हिंसा पैदा करना चाहते हैं।
लेफ्टिनेंट जनरल राजू ने कहा, ‘‘ उन्हें हमले के लिए यहां और (नियंत्रण रेखा के) पार से निर्देश मिलते हैं। हाल ही में कृष्णा ढाबा हमला हुआ था। यह यात्रा पर आ रहे यूरोपीय संघ के प्रतिनिधिमंडल को बस यह संदेश देने के लिए किया गया था कि स्थिति शांतिपूर्ण नहीं है और चीजें सामान्य नहीं है। यह पारंपरिक तरीके का आतंकवाद था।’’ सैन्य अधिकारी उच्च सुरक्षा वाले क्षेत्र दुर्गांग में लोकप्रिय ‘कृष्णा ढाबा’ के मालिक के बेटे आकाश मेहरा पर 17 फरवरी को हुए हमले का जिक्र कर रहे थे। उसी दिन यूरोपीय संघ का 24 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल दो दिन की यात्रा पर जम्मू कश्मीर पहुंचा था। रविवार को मेहरा की अस्पताल में मौत हो गयी।
इसे भी पढ़ें: कांग्रेस नेताओं ने आजाद की प्रशंसा की, बोले- आने वाले महीनों में उनकी प्रमुख भूमिका होगी
लेफ्टिनेंट जनरल राजू ने कहा ,‘‘(भारत और पाकिस्तान के बीच) संघर्ष विराम एक सकारात्मक कदम और दोनों देशों का विवेकपूर्ण निर्णय है। अब उसे सफल बनाने की जिम्मेदारी है। ’’ हालांकि उन्होंने कहा,‘‘(नियंत्रण रेखा के पार से आतंकवादियों की) घुसपैठ अब भी एक चुनौती है लेकिन हम भी तैयार बैठे हैं। हम चीजें नियंत्रण में रखेंगे और लोगों को सुरक्षित रखेंगे। हम आशा करते हैं कि सीमा पर स्थिति शांतिपूर्ण हो।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ जब संघर्ष विराम होता है तो घुसपैठ नियंत्रित करने की हमारी क्षमता बढ़ जाती है।’’
जब लेफ्टिनेंट जनरल राजू से सवाल किया गया कि पाकिस्तान की ओर से संघर्ष विराम का उल्लंघन होने की स्थिति से सेना कैसे निपटेगी तो उन्होंने कहा, ‘‘ हमारे पास, स्थानीय और दिल्ली, दोनों ही स्तरों पर स्थापित प्रणाली है।’’ उन्हेांने कहा, ‘‘ निश्चित ही हम यथासंभव प्रयास करेंगे। हम गोलाबारी करके प्रसन्न नहीं होंगे। यदि कोई समस्या आती है या कोई घटना होती है तो हम दूसरे पक्ष से कहेंगे, हम उससे बात करेंगे। ’’ उन्होंने कहा कि संघर्षविराम से घुसपैठ पर रोक लगाने में मदद के अलावा अंदरूनी क्षेत्र में कोई बड़ा प्रभाव नहीं होगा।
With better outreach programs by Army, civil administration & Police, we have been able to establish greater trust and connect with public. I believe this will manifest into lower (terrorist) recruitment: Lt Gen BS Raju, GOC, Chinar Corps pic.twitter.com/hFPHwJfId7
— ANI (@ANI) March 1, 2021
दिल्ली आबकारी विभाग का क्लब, बार और रेस्तरां को आदेश, गूगल मैप पर अपनी लोकेशन करें साझा
- प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क
- मार्च 1, 2021 20:40
- Like

एक अधिकारी ने कहा कि किसी क्षेत्र में क्लब, होटल और रेस्तरां की लोकेशन डिजिटल माध्यम से मालूम करना आसान है।
नयी दिल्ली। दिल्ली आबकारी विभाग ने क्लब, रेस्तरां और होटलों के मालिकों को अपने प्रतिष्ठान की ‘लोकेशन’ गूगल मैप पर साझा करने का निर्देश दिया है जिससे एक डिजिटल डेटाबेस तैयार किया जा सके। अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी। विभाग ने कहा कि निर्देश का पालन न करने पर गंभीर परिणाम भुगतने होंगे। राष्ट्रीय राजधानी में एक हजार से अधिक होटल, क्लब और रेस्त्रा बार हैं जिनके पास ग्राहकों को शराब बेचने का लाइसेंस है। आबकारी विभाग की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि प्रतिष्ठानों को अपनी ‘लोकेशन’ संबंधी जानकारी अक्षांश और देशांतर के जरिये देनी होगी।
इसे भी पढ़ें: संस्कृत और कम्प्यूटर विषयक ववेबिनार में बोले डॉ सुभाष चंद्र, संस्कृत से प्रोग्रामिंग सीखना आसान
एक अधिकारी ने कहा कि इस निर्णय से किसी क्षेत्र में इस प्रकार के प्रतिष्ठानों की भौगोलिक स्थिति जानने में सहायता मिलेगी। अधिकारी ने पीटीआई-से कहा कि यह निर्णय आबकारी विभाग में सुधार के तहत लिए गए हैं। उन्होंने कहा कि किसी क्षेत्र में क्लब, होटल और रेस्तरां की लोकेशन डिजिटल माध्यम से मालूम करना आसान है। अगर हमारे पास डिजिटल डेटाबेस है तो हम उसके अनुसार निर्णय ले सकते हैं। आने वाले महीनों में इस प्रकार के डेटाबेस को आबकारी नीति के लिए उपयोग किया जा सकता है।

