किसानों को बदनाम करने का प्रयास कर रहा है केंद्र: सुखबीर बादल
चंडीगढ़ में शिरोमणि अकादली दल की कोर कमेटी की बैठक के बाद बादल ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को तीनों कानूनों को निरस्त करने के लिए संसद का विशेष सत्र आहूत करने से ‘‘परहेज’’ नहीं करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में अंतिम फैसला लोगों का होता है। बादल ने कहा, ‘‘लोगों ने नरेंद्र मोदी को प्रधानमंत्री बनाया है और लोगों की आवाज सुनना उनका कर्तव्य है।’’ बादल की पार्टी पहले कृषि कानूनों को लेकर राजग से अलग हो चुकी है। उन्होंने कहा कि ऐसा करने के बजाय, केंद्र ने पहले ‘‘आंदोलन को धर्म और अलगाववादियों से जोड़ा और अब भाई को भाई खिलाफ खड़ा कर रहा है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हमने हमेशा किसानों और दलितों के अधिकारों की लड़ाई लड़ी है। हम किसान आंदोलन में सहायता भी कर रहे हैं, लेकिन हमें इस बात की पीड़ा है कि केंद्र सरकार को किसानों की पीड़ा से कोई फर्क नहीं है।’’ उन्होंने केंद्र पर आढ़तियों को निशाना बनाने के लिए आयकर विभाग का ‘‘दुरुपयोग’’ करने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा, ‘‘मैं केंद्र को चेतावनी देता हूं कि वह जारी आंदोलन को जितना दबाने की कोशिश करेगा, वह उतना ही मजबूत होगा।’’SAD condemns the vindictive attitude of GOI towards Arhtiyas. Raids conducted on the President & office bearers of Punjab Arhtiya Association by central agencies are intolerable in a democratic set up. We will stand with them & never allow them to be victimized in any manner. pic.twitter.com/Hbm8gv7Etq
— Sukhbir Singh Badal (@officeofssbadal) December 21, 2020
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बाद में, चंडीगढ़ में शिरोमणि अकादली दल की कोर कमेटी की बैठक के बाद बादल ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को तीनों कानूनों को निरस्त करने के लिए संसद का विशेष सत्र आहूत करने से ‘‘परहेज’’ नहीं करना चाहिए। बैठक में, यह निर्णय लिया गया कि पार्टी की उप-समिति आने वाले दिनों में समान विचारधारा वाले दलों से मिलकर केंद्र को तीन कानूनों को रद्द करने के लिए मजबूर करेगी। इस उप समिति में पार्टी के वरिष्ठ नेता बलविंदर सिंह भुंदुर, प्रेम सिंह चंदूमाजरा और सिकंदर सिंह मलूका शामिल हैं।
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