रक्षा मंत्री ने पाक को चेताया, कहा- अगर उकसाया तो घर में घुसकर मारेंगे

Defence Minister warns Pak, said -  if you will provoke,we will persecute in the house
[email protected] । Jun 5 2018 5:37PM

रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज कहा कि सीमा पार से होने वाले बिना उकसावे के हर हमले का जवाब दिया जाना चाहिए और रक्षा बलों को जवाबी कार्रवाई की पूरी छूट दी जा रही है।

नयी दिल्ली। रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज कहा कि सेना जम्मू-कश्मीर में रमजान के दौरान जारी संघर्षविराम का सम्मान करती रहेगी, लेकिन उन्होंने जोर देकर कहा कि सीमा पार से उकसाने वाली हर कार्रवाई का जवाब दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि रक्षा बलों को जवाबी कार्रवाई की पूरी छूट दी गयी है। राजग सरकार की चौथी वर्षगांठ के मौके पर एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए सीतारमण ने कहा कि सेना को सीमा पार से होने वाले किसी भी हमले या उकसावे वाली गोलीबारी का समुचित जवाब देने का अधिकार दिया गया है। भारत द्वारा रमजान के दौरान संघर्षविराम की घोषणा और दोनों देशों के बीच सैन्य अभियान महानिदेशक (डीजीएमओ) स्तर की बातचीत के बावजूद जम्मू - कश्मीर में नियंत्रण रेखा और अंतरराष्ट्रीय सीमा पर गोलीबारी की घटनाएं हो रही हैं। घाटी में एक हफ्ते में आतंकियों ने ग्रेनेड से लगभग 12 हमले किए हैं। 

सीतारमण ने कहा, ‘‘अपनी सीमाओं को सुरक्षित रखना हमारा कर्तव्य है। हमें सतर्क रहना चाहिए। हम यह सुनिश्चित करेंगे कि उकसाने वाली कार्रवाई का जवाब दिया जाए। भारत को सुरक्षित रखना रक्षा मंत्रालय और बलों का कर्तव्य है।’’ सीतारमण, युद्धविराम पर दोनों पक्षों की ओर से सहमति के बावजूद भारत-पाक सीमा पर जारी गोलीबारी से संबंधित सवालों के जवाब दे रही थीं। ।उन्होंने कहा कि संकटग्रस्त राज्य में संघर्षविराम की घोषणा से पहले सेना को भरोसे में लिया गया था। एक अन्य सवाल के जवाब में रक्षा मंत्री ने यह भी कहा कि यह तय करना उनके मंत्रालय का काम नहीं है कि जम्मू - कश्मीर में रमजान के दौरान जारी संघर्षविराम सफल रहा है या नहीं। उन्होंने कहा, ‘‘हम संघर्षविराम का सम्मान करते हैं। बेवजह हमला होने पर उसका जवाब देने के लिए हमें छूट दी गयी है। जम्मू - कश्मीर में संघर्ष विराम सफल रहा है या नहीं , यह आकलन करना रक्षा मंत्रालय का काम नहीं है।’’

संघर्षविराम की अवधि बढ़ाने से संबंधित सवाल के जवाब में उन्होंने कहा, ‘‘यह केवल रमजान के लिए है।’’ सरकार ने रमजान के दौरान, 17 मई से आतंकियों के खिलाफ अभियानों को निलंबित करने की घोषणा की थी। पाकिस्तान से बातचीत की संभावना के बारे में सीतारमण ने विदेश मंत्री सुषमा स्वराज की उसी टिप्पणी को दोहराया जिसमें उन्होंने कहा था कि आतंक और बातचीत साथ - साथ नहीं चल सकते।

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