योगी आदित्यनाथ पर पाबंदी लगाने के निर्णय पर पुनर्विचार करे चुनाव आयोग: भाजपा

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[email protected] । Apr 15 2019 8:38PM

भाजपा की उत्तर प्रदेश इकाई के अध्यक्ष महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने कहा कि भाजपा निर्वाचन आयोग के हर निर्णय का सम्मान करती है, लेकिन मुख्यमंत्री योगी ने ना तो धार्मिक भावनाओं को भड़काया है और ना ही धार्मिक उन्माद फैलाने वाला बयान दिया है, बल्कि सिर्फ अपने आराध्य का नाम लिया है।

लखनऊ। भाजपा की उत्तर प्रदेश इकाई के अध्यक्ष महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने चुनाव आयोग से अली-बजरंग बली वाली टिप्पणी को लेकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर 72 घंटे तक चुनाव प्रचार करने पर पाबंदी लगाने के अपने निर्णय पर पुनर्विचार का आग्रह किया है। पाण्डेय ने सोमवार को कहा कि भाजपा निर्वाचन आयोग के हर निर्णय का सम्मान करती है, लेकिन मुख्यमंत्री योगी ने ना तो धार्मिक भावनाओं को भड़काया है और ना ही धार्मिक उन्माद फैलाने वाला बयान दिया है, बल्कि सिर्फ अपने आराध्य का नाम लिया है। उन्होंने निर्वाचन आयोग से अपील की कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर 72 घंटे का प्रतिबंध लगाये जाने के अपने निर्णय पर पुनर्विचार करते हुए प्रतिबंध को समाप्त किया जाए।

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मालूम हो कि चुनाव आयोग ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और बसपा प्रमुख मायावती को सांप्रदायिक बयान देने के कारण अलग अलग अवधि के लिये चुनाव प्रचार करने से प्रतिबंधित कर दिया है। आयोग ने कई चुनावी रैलियों में  अली-बजरंग बली वाली टिप्पणी कर चुके योगी को सोमवार को आदेश जारी कर 16 अप्रैल को सुबह छह बजे से अगले 72 घंटे तक के लिये किसी भी प्रकार के चुनाव प्रचार अभियान में हिस्सा लेने से रोक दिया है। बसपा प्रमुख मायावती पर भी 48 घंटे तक ऐसी पाबंदी लगायी गयी है। मायावती को उत्तर प्रदेश के देवबंद में एक जनसभा के दौरान मुस्लिम मतदाताओं से एक पार्टी को वोट नहीं देने की अपील करने पर आयोग ने चुनाव आचार संहिता का दोषी पाया था।

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पाण्डेय ने कहा कि बसपा प्रमुख मायावती और सपा नेता आजम खान ने धार्मिक आधार पर वोट मांगा और धार्मिक उन्माद भी फैलाने का प्रयास किया। उन्होंने कहा कि खान ने तो हद पार करते हुए अभद्र और अमर्यादित भाषा का उपयोग किया। भाजपा नेता ने कहा कि कार्रवाई तो ऐसे लोगों के खिलाफ होनी चाहिए, ना कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के खिलाफ। 

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