NICL के पूर्व अधिकारी को चार साल कैद और 26 लाख रुपये जुर्माने की सजा

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सीबीआई द्वारा जारी बयान के अनुसार, अनुसंधान के बाद एनआईसीएल की जयपुर शाखा में तैनात आरोपी सहदेव कुमार बुटोलिया के खिलाफ अलग-अलग 13 आरोपपत्र दाखिल किए गए।

केन्द्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की एक विशेष अदालत ने नेशनल इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड (एनआईसीएल) के एक पूर्व प्रशासनिक अधिकारी को एक मामले में चार साल के सश्रम कारावास और 26 लाख रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई है। यह मामला कंपनी को 27.40 लाख रुपये का नुकसान पहुंचाने से जुड़ा है। सीबीआई द्वारा जारी बयान के अनुसार, अनुसंधान के बाद एनआईसीएल की जयपुर शाखा में तैनात आरोपी सहदेव कुमार बुटोलिया के खिलाफ अलग-अलग 13 आरोपपत्र दाखिल किए गए।

बयान के अनुसार, सीबीआई ने 24 जून, 2015 को आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया था कि एनआईसीएल, जयपुर शाखा ने एसबीबीजे (अब एसबीआई), मोमासर से उनके ग्राहकों को बीमा पॉलिसी जारी करने के लिए तीन चेक प्राप्त किए थे लेकिन चेक का उपयोग अन्य व्यक्तियों के लिये किया गया। एनआईसीएल के तत्कालीन प्रशासनिक अधिकारी बुटोलिया ने एनआईसीएल में चेक जमा किये लेकिन एसबीबीजे, मोमासर ग्राहकों के नाम पर पॉलिसी जारी करने के स्थान पर, उन्होंने अन्य व्यक्तियों के लिए बीमा पॉलिसी जारी करने के लिए राशि का उपयोग किया, जिनका ग्राहकों से कोई संबंध नहीं था।

बयान के अनुसार, अदालत ने कथित तौर पर रुपये के नुकसान होना पाया। एनआईसीएल को 3,75,571 रुपये का नुकसान हुआ। मामले की जांच के दौरान और भी कई मामले सामने आए जिसमें कुल मिलाकर एनआईसीएल को 27.40 लाख रुपये का नुकसान हुआ। अदालत ने आरोपी को मामले में दोषी करार देते हुए सजा सुनाई।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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