जम्मू-कश्मीर में लोकतांत्रिक मूल्यों की अहवेलना करना चाहती है सरकार: चिदंबरम
पिछले दिनों सरकार ने पर्यटकों, अमरनाथ यात्रियों की घाटी में रहने की अवधि में कटौती करने का परामर्श जारी किया था और अतिरिक्त सुरक्षा बलों की तैनाती की थी।
नयी दिल्ली। जम्मू-कश्मीर में मुख्यधारा के कई नेताओं को नजरबंद किये जाने की निंदा करते हुए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व गृह मंत्री पी चिदंबरम ने सोमवार को कहा कि यह इस बात का संकेत है कि नरेंद्र मोदी सरकार अपने मकसद को हासिल करने के लिए सभी लोकतांत्रिक मूल्यों की अहवेलना करना चाहती है।
Before the day is over we will know if there will be a major crisis in J&K. Keeping my fingers crossed.
— P. Chidambaram (@PChidambaram_IN) August 5, 2019
चिदंबरम ने ट्वीट किया है, जम्मू-कश्मीर के नेताओं को घर में नजरबंद किया जाना इस बात का संकेत है कि सरकार अपने मकसद को हासिल करने के लिए सभी लोकतांत्रिक मूल्यों और सिद्धांतों की अहवेलना करेगी। मैं उनकी नजरबंदी की आलोचना करता हूं। उन्होंने कहा, मैंने जम्मू-कश्मीर में किसी भी दुस्साहस को लेकर चेतावनी दी थी। लेकिन लगता है कि सरकार ऐसा करने को आमादा है।
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गौरतलब है कि कश्मीर में अभूतपूर्व सुरक्षा और हलचल के बीच मुख्यधारा के कई बड़े नेताओं को नजरबंद किए जाने की सूचना है। पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती, उमर अब्दुल्ला और पीपल्स कॉन्फ्रेंस नेता सज्जाद लोन को भी नजरबंद किए जाने की सूचना है। पिछले दिनों सरकार ने पर्यटकों, अमरनाथ यात्रियों की घाटी में रहने की अवधि में कटौती करने का परामर्श जारी किया था और अतिरिक्त सुरक्षा बलों की तैनाती की थी।
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