गोखले के मुताबिक प्रधानमंत्री ने कहा कि खाड़ी से गुजरने वाले भारतीय पोतों की सुरक्षा के लिए भारत ने क्षेत्र में कुछ नौसैन्य जहाजों की तैनाती की है। विदेश सचिव के मुताबिक मोदी से बातचीत के दौरान राष्ट्रपति ट्रंप ने उम्मीद जतायी कि तेल की कीमतें स्थिर बनी रहेंगी।
ओसाका। भारत ने शुक्रवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एवं अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के बीच द्विपक्षीय बातचीत में रूस से एस-400 मिसाइल रक्षा प्रणाली की खरीद के भारत के फैसले पर चर्चा नहीं हुई। भारत के मुताबिक दोनों देशों ने सैन्य सहयोग को बढ़ाने के उपायों पर चर्चा की। एस-400 रूस की सबसे आधुनिक लंबी दूरी की सतह-से-हवा में मार करने वाली मिसाइल रक्षा प्रणाली है। रूस से 2014 में यह प्रणाली खरीदने वाला चीन सबसे पहला देश था। भारत और रूस ने पिछले साल अक्टूबर में पांच अरब डॉलर के एस-400 वायु रक्षा प्रणाली सौदे पर हस्ताक्षर किए थे।
जापान-अमेरिका-भारत की त्रिपक्षीय बैठक के तुरंत बाद मोदी ने ट्रंप के साथ द्विपक्षीय वार्ता की। भाजपा के हाल ही में संसदीय चुनाव में बड़ी जीत हासिल करने के बाद मोदी की ट्रंप से यह पहली मुलाकात है। मोदी-ट्रंप की बैठक इस लिहाज से भी महत्वपूर्ण है क्योंकि अमेरिकी उत्पादों पर अत्यधिक उच्च शुल्क लगाने के भारत के निर्णय की अमेरिकी राष्ट्रपति खुलकर आलोचना करते रहे हैं। विदेश सचिव विजय गोखले ने कहा कि दोनों नेताओं की बीच बातचीत में रूस से एस-400 मिसाइल रक्षा प्रणाली की खरीद के मुद्दे पर चर्चा नहीं हुई। उन्होंने कहा, यह बैठक बहुत ही सार्थक रही एवं विभिन्न मुद्दों पर खुलकर बात हुई। दोनों नेताओं ने काफी अच्छी चर्चा की। राष्ट्रपति ट्रंप ने प्रधानमंत्री मोदी को (चुनावी) जीत पर बधाई दी। प्रधानमंत्री मोदी ने ट्रंप द्वारा विदेश मंत्री (माइक) पोम्पिओ के जरिए उन्हें भेजे गए गर्मजोशी भरे पत्र का अमेरिकी राष्ट्रपति से खास तौर पर उल्लेख किया।
बकौल गोखले दोनों नेताओं की द्विपक्षीय बातचीत के दौरान चार प्रमुख मुद्दों पर बातचीत हुई। गोखले ने कहा, ये मुद्दे ईरान, 5जी, व्यापार और रक्षा संबंधों से संबंधित थे। उन्होंने कहा, ईरान के संदर्भ में प्रधानमंत्री ने हमारी ऊर्जा संबंधी चिंताओं के साथ-साथ क्षेत्र में शांति एवं स्थिरता से जुड़ी चिंताओं को रेखांकित किया। विदेश सचिव ने कहा, प्रधानमंत्री मोदी ने रेखांकित किया कि यद्यपि ईरान, भारतीय ऊर्जा के 11 प्रतिशत की आपूर्ति करता है, भारत ने ईरान से तेल के आयात को कम कर दिया है...जबकि भारतीय अर्थव्यवस्था इससे प्रभावित हो रही है। हम इस स्थिति को बनाये रखने में कामयाब रहे हैं। इस क्षेत्र में भी हमारे समुदाय के लोग हैं, इस क्षेत्र में भी ऊर्जा की जरूरत है, क्षेत्र में हमारे आर्थिक हित हैं, इसलिए भारत क्षेत्र में मुख्य रूप से शांति एवं स्थिरता बनाये रखने के पक्ष में है।
गोखले के मुताबिक प्रधानमंत्री ने कहा कि खाड़ी से गुजरने वाले भारतीय पोतों की सुरक्षा के लिए भारत ने क्षेत्र में कुछ नौसैन्य जहाजों की तैनाती की है। विदेश सचिव के मुताबिक मोदी से बातचीत के दौरान राष्ट्रपति ट्रंप ने उम्मीद जतायी कि तेल की कीमतें स्थिर बनी रहेंगी। उन्होंने बताया कि तेल की कीमतों को स्थिर बनाये रखने के लिए अमेरिका खाड़ी देशों में कौन से कदम उठा रहा है। गोखले के मुताबिक दोनों पक्ष इस बात पर सहमत हुए कि वे ईरान के मुद्दे एवं क्षेत्र में शांति एवं स्थिरता को सुनिश्चित रखने के लिए एक-दूसरे के संपर्क में रहेंगे। उल्लेखनीय है कि अमेरिका ने पूर्व में भारत को चेताया था कि रूस से आधुनिक मिसाइल प्रणाली खरीदने पर उसे भारत-अमेरिका रक्षा संबंधों को लेकर गंभीर परिणाम भुगतने होंगे।
Foreign Secretary Vijay Gokhale on informal BRICS meet: All the BRICS countries condemned terrorism in all its forms & manifestations, reiterated responsibility for preventing financing of terrorism, for using territories & Internet for terrorist purposes. #G20OsakaSummitpic.twitter.com/HHxbR0aZUl
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