राहुल के इस्तीफे की खबर पर बोले लालू, भाजपा के बिछाए जाल में ना फंसें
सांप्रदायिक और फासीवादी ताकतों को हटाने में लगे सभी विपक्षी दलों को इसे अपनी सामूहिक विफलता और गलत होने पर आत्मनिरीक्षण के रूप में स्वीकार करना चाहिए।
लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की हार के कारण राहुल गांधी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा देने पर अड़े रहने के फैसले पर लालू यादव ने अपनी बड़ी राय दी है। लालू ने राहुल का बचाव करते हुए कहा है कि उनका यह कदम कांग्रेस के लिए आत्मघाती हो सकता है। उन्होंने कहा कि अगर राहुल गांधी अध्यक्ष पद छोड़ते हैं तो इसका प्रभाव ना सिर्फ उनकी पार्टी बल्कि उन सभी सामाजिक और राजनैतिक ताकतों पर भी पड़ेगा जो RSS के खिलाफ लड़ाई लड़ रहे हैं।
Rahul’s offer to resign suicidal. Opposition parties had the common goal to dislodge BJP but failed to build a national narrative. The result in a particular election can never alter the reality in as diverse and plural a country as India. Read more..https://t.co/DkeXAygrFw
— Lalu Prasad Yadav (@laluprasadrjd) May 28, 2019
बिहार के पूर्व सीएम ने कहा कि राहुल का इस्तीफा देना भाजपा के जाल में फंस जाना होगा। उन्होंने कहा कि जिस क्षण गांधी-नेहरू परिवार से परे किसी और ने राहुल की जगह ली, नरेंद्र मोदी-अमित शाह ब्रिगेड नए नेता को राहुल और सोनिया गांधी द्वारा "कठपुतली" के रूप में रिमोट से चित्रित करेंगे। यह अगले आम चुनाव तक उस पर खेलेंगे। राहुल को अपने राजनीतिक विरोधियों को ऐसा मौका नहीं देना चाहिए।
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उन्होंने कहा कि यह सही है कि मोदी के नेतृत्व वाली भाजपा के खिलाफ विपक्ष चुनाव हार गया है। सांप्रदायिक और फासीवादी ताकतों को हटाने में लगे सभी विपक्षी दलों को इसे अपनी सामूहिक विफलता और गलत होने पर आत्मनिरीक्षण के रूप में स्वीकार करना चाहिए।
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