150 साल पुरानी इमारत को गिराने जा रहा महाराष्ट्र प्रशासन...

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[email protected] । Jun 4 2019 5:40PM

‘‘इमारत दक्षिण मुंबई में काला घोड़ा की व्यस्त सड़क पर स्थित है जहां गाड़ियों की बहुत आवाजाही रहती है। हमें बताइए कि आप (म्हाडा) क्या सब सावधानी बरतेंगे..इस बात को ध्यान में रखते हु कि शहर में मानसून का मौसम आने वाला है।’’

मुंबई। बंबई उच्च न्यायालय ने मंगलवार को महाराष्ट्र गृहनिर्माण व क्षेत्र विकास प्राधिकरण (म्हाडा) को दक्षिण मुंबई में स्थित 150 साल पुरानी एसप्लनेड इमारत को गिराते समय उन सावधानियों के बारे में बताने को कहा है जो वह इस दौरान बरतने जा रही है। उच्च न्यायालय के निर्देश पर म्हाडा ने जर्जर हो चुकी इमारत के सभी निवासियों को खाली कर देने का नोटिस जारी किया था। न्यायमूर्ति एस सी धर्माधिकारी और न्यायमूर्ति जी एस पटेल की पीठ को म्हाडा के वकील जी एस लाड ने मंगलवार को अवगत कराया कि 104 निवासी पहले ही खाली कर चुके हैं। हालांकि इमारत में चल रहे 64 कार्यालय बंद पड़े हैं और उनके मालिकों और किरायेदारों ने खाली करने के नोटिस के जवाब नहीं दिए हैं। 

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लाड ने कहा कि चूंकि खाली करने की तारीख बीत चुकी है इसलिए म्हाडा अब परिसर से तालों का हटाएगा और भीतर पड़ी चल सम्पति को बरामद कर उनकी सूचि बनाएगा और बाद में उनके मालिकों को सौंप देगा। पीठ ने जानना चाहा कि इमारत को गिराए जाने के दौरान अधिकारी किस तरह की सावधानी बरतेंगे ताकि कोई अप्रिय घटना नहीं हो।

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पीठ ने कहा, ‘‘इमारत दक्षिण मुंबई में काला घोड़ा की व्यस्त सड़क पर स्थित है जहां गाड़ियों की बहुत आवाजाही रहती है। हमें बताइए कि आप (म्हाडा) क्या सब सावधानी बरतेंगे..इस बात को ध्यान में रखते हु कि शहर में मानसून का मौसम आने वाला है।’’ पीठ मामले पर 21 जून को सुनवाई करेगी, जब म्हाडा उठाए जाने वाले कदम के बारे में हलफनामा दाखिल करेगा। पांच मंजिला एसप्लनेड भवन को पहले वॉटसन होटल के नाम से जाना जाता था। यह इंग्लैंड में ढाले गये कास्ट आइरन से बना है और इसे ‘‘विश्व के खतरे में पड़े 100 भवनों’’ में शामिल किया गया है। इसे यूनेस्कों ने विरासत ढांचे के रूप में मान्यता दी है।

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