1984 दंगा मामले में मेरे खिलाफ कोई मामला नहीं, ना ही कोई आरोपपत्र: कमलनाथ
1984 में सिख विरोधी दंगा मामले में भाजपा के कथित आरोपों पर कमलनाथ ने कहा कि मैंने आज शपथ ली है। मैंने 1991 में भी शपथ ली थी, तब किसी ने कुछ कहा। मैंने उसके बाद कई दफा शपथ ली, किसी ने कुछ नहीं कहा। कोई केस मेरे खिलाफ नहीं है, कोई एफआईआर मेरे खिलाफ नहीं है, कोई चार्जशीट मेरे खिलाफ नहीं है।
भोपाल। दिल्ली में 1984 में सिख विरोधी दंगों में अपना नाम उठाये जाने पर मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने सोमवार को कहा कि उनके खिलाफ इस मामले में कोई केस, कोई चार्जशीट नहीं है और राजनीति के चलते लोग अब उनका नाम इसमें ले रहे हैं। सोमवार दोपहर को मध्यप्रदेश के 18वें मुख्यमंत्री पद का शपथ लेने के बाद संवाददाताओं से बात करते हुए कमलनाथ ने दिल्ली में 1984 में सिख विरोधी दंगों में उनके शामिल होने के भाजपा के आरोप पर कहा, ‘मैंने आज शपथ ली है। मैंने 1991 में भी शपथ ली थी, तब किसी ने कुछ कहा। मैंने उसके बाद कई दफा शपथ ली, किसी ने कुछ नहीं कहा। कोई केस मेरे खिलाफ नहीं है, कोई एफआईआर मेरे खिलाफ नहीं है, कोई चार्जशीट मेरे खिलाफ नहीं है। मैं दिल्ली का प्रभारी रहा। जब मैं महामंत्री रहा कांग्रेस का, किसी ने कोई बात नहीं उठाई। क्यों आज ये बात उठाई गई। मुझे पता है, इसमें क्या राजनीति है।’
Kamal Nath on 1984 Anti-Sikh riots: I took oath in 1991 & several times after that, no one said anything. There is no case,FIR,or chargesheet against me. Today they are raking up this matter. You can understand politics behind this. Did eyewitness tell you(about his involvement)? pic.twitter.com/506LqcBD4I
— ANI (@ANI) December 17, 2018
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गौरतलब है कि सिख विरोधी दंगों के 34 वर्ष बाद दिल्ली उच्च न्यायालय ने सोमवार को कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सज्जन कुमार को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। अदालत ने कहा कि इसका षड्यंत्र उन लोगों ने रचा जिन्हें राजनीतिक संरक्षण प्राप्त था। भाजपा नेता अरुण जेटली ने कांग्रेस नेता सज्जन कुमार को 1984 के सिख विरोधी दंगा मामले में सजा मिलने का स्वागत किया और कमलनाथ को मध्यप्रदेश का मुख्यमंत्री चुनने के लिए विपक्षी दल कांग्रेस पर प्रहार किया। उन्होंने दावा किया कि सिख उन्हें समुदाय के खिलाफ हिंसा में ‘दोषी’ मानते हैं।
Congratulations to the new CM of MP, Shri @OfficeOfKNath#IndiaTrustsCongress pic.twitter.com/jqhWBN2Hfw
— Congress (@INCIndia) December 17, 2018
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