उमर ने रक्षा मंत्रालय के कथित ‘नोट’ की खबर पर मांगा जवाब
लेख के मुताबिक फ्रांस सरकार के साथ बातचीत में प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) के दखल पर मंत्रालय ने कड़ी आपत्ति जताई थी। जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, “मैं यह देखना चाहता हूं कि भाजपा से संबद्ध लोग इस पर क्या सफाई देंगे।
श्रीनगर। नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला ने शुक्रवार को कहा कि वह यह देखना चाहेंगे कि भाजपा से जुड़े लोग उन खबरों पर कैसे सफाई देंगे कि राफेल सौदे पर अपनाई गई पीएमओ की प्रक्रिया का रक्षा मंत्रालय ने विरोध किया था। उन्होंने एक दस्तावेज टैग किया जो कथित तौर पर रक्षा मंत्रालय का था जो ‘द हिंदू’ अखबार की एक खबर के हिस्से के तौर पर प्रकाशित किया गया है।
How can he claim that “para 5 is an over-reaction” when he had no direct knowledge of the status or content of the negotiations? His act of passing the matter for the Def Sec to resolve with PMO clearly shows he had no grounds on which to base his “over-reaction” assessment.
— Omar Abdullah (@OmarAbdullah) February 8, 2019
लेख के मुताबिक फ्रांस सरकार के साथ बातचीत में प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) के दखल पर मंत्रालय ने कड़ी आपत्ति जताई थी। जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, “मैं यह देखना चाहता हूं कि भाजपा से संबद्ध लोग इस पर क्या सफाई देंगे।
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रक्षा मंत्री तक पहुंची मंत्रालय की फाइल के इस नोट के मुताबिक पीएमओ इंडिया, ने रक्षा मंत्रालय एवं भारत की वार्ता टीम के पक्ष को कमजोर किया, नेकां राजग की सहयोगी थी जब अटल बिहारी वाजपेयी प्रधानमंत्री थे लेकिन 2009 में उसने संप्रग-दो से हाथ मिला लिया था।
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