पद्मावती फिल्म का नाम बदलेगा, घूमर गाना बदलेगा, भंसारी शर्तें मानने को तैयार

Padmavati film related controversy ended

केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड (सीबीएफसी) ने संजय लीला भंसाली की फिल्म ‘पद्मावती’ को ‘यूए’ सर्टिफिकेट देने का फैसला किया है और फिल्म के निर्देशक को इसका नाम बदलकर ‘पद्मावत’ करने का सुझाव दिया है।

मुंबई। केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड (सीबीएफसी) ने संजय लीला भंसाली की फिल्म ‘पद्मावती’ को ‘यूए’ सर्टिफिकेट देने का फैसला किया है और फिल्म के निर्देशक को इसका नाम बदलकर ‘पद्मावत’ करने का सुझाव दिया है। सीबीएफसी द्वारा जारी एक विज्ञप्ति के अनुसार बोर्ड ने 28 दिसंबर को अपनी जांच समिति के साथ बैठक की थी और ‘‘कुछ बदलावों के साथ फिल्म को यूए सर्टिफिकेट’’ देने का फैसला किया तथा संबद्ध सामग्री/रचनात्मक स्रोत के आधार पर फिल्म का नाम बदलने का सुझाव दिया।

संसदीय पैनल के समक्ष भी पेश हो चुके भंसाली ने बताया कि ऐतिहासिक पृष्ठभूमि पर आधारित करीब 150 करोड़ रुपये की लागत से बनी उनकी फिल्म मलिक मोहम्मद जायसी रचित 16वीं सदी के ऐतिहासिक काव्य ‘‘पद्मावत’’ पर आधारित है। फिल्म में दीपिका पादुकोण, शाहिद कपूर और रणवीर सिंह ने अभिनय किया है। विज्ञप्ति के अनुसार बोर्ड ने आधिकारिक घोषणा में कुछ बदलाव करने का सुझाव देते हुए इसमें यह जोड़ने को कहा कि यह फिल्म ‘‘जौहर प्रथा’’ का महिमामंडन नहीं करती। साथ ही फिल्म के गीत ‘‘घूमर’’ में चरित्र के अनुकूल कुछ बदलाव करने का भी सुझाव दिया गया।

यह बैठक सीबीएफसी अध्यक्ष प्रसून जोशी की मौजूदगी में हुई और इसमें सेंसर बोर्ड के अधिकारियों सहित जांच समिति के नियमित सदस्यों ने भी हिस्सा लिया था। बयान के अनुसार फिल्मकारों एवं समाज दोनों के हितों को ध्यान में रखते हुए फिल्म को देखा गया। फिल्म को लेकर जटिलताओं एवं चिंताओं पर विचार करते हुए सीबीएफसी ने सेंसर बोर्ड का एक ‘‘विशेष पैनल’’ बनाया था, जिसे सेंसर बोर्ड की आधिकारिक समिति के अंतिम फैसले में अपना विचार जोड़ना था। विशेष पैनल में उदयपुर से अरविंद सिंह, डॉ. चंद्रमणि सिंह और जयपुर विश्वविद्यालय से प्रोफेसर केके सिंह शामिल थे।

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