प्रियंका ने अमेठी और रायबरेली तक अपनी भूमिका सीमित की
प्रियंका गांधी वड्रा की भविष्य की भूमिका पर स्थिति स्पष्ट करते हुए कांग्रेस ने कहा कि उन्होंने अपनी राजनीतिक भूमिका अपनी मर्जी से फिलहाल रायबरेली और अमेठी तक के लिए सीमित की है।
पणजी। उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन कराने में अहम भूमिका निभाने वाली प्रियंका गांधी वड्रा की भविष्य की भूमिका पर स्थिति स्पष्ट करते हुए कांग्रेस ने आज कहा कि उन्होंने अपनी राजनीतिक भूमिका अपनी मर्जी से फिलहाल रायबरेली और अमेठी तक के लिए सीमित की है। कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने यहां एक साक्षात्कार में कहा, ‘‘प्रियंका जी ने हमेशा ही अपनी खुद की राजनीतिक भूमिका तय की है और उन्होंने खुद की मर्जी से इसे दो लोकसभा क्षेत्रों- राय बरेली और अमेठी के लिए सीमित किया है, जिनका प्रतिनिधत्व क्रमश: उनकी मां और भाई करते हैं।’’
सुरजेवाला चार फरवरी के विधानसभा चुनाव के सिलसिले में गोवा में हैं। उन्होंने बताया, ‘‘कांग्रेस के कई कार्यकर्ताओं ने मांग की है कि प्रियंका एक सक्रिय भूमिका निभाएं। हमने हमेशा ही उनकी निजता और फैसले का सम्मान किया है। अपनी भूमिका तय करने के बारे में उन्हें फैसला करना है, जैसा राहुल जी ने कहा।’’ उन्होंने कहा कि प्रियंका को अपनी राजनीतिक भूमिका के बारे में खुद ही फैसला लेना है। सुरजेवाला ने कहा कि उन्होंने खुद को इस वक्त दो संसदीय क्षेत्रों तक सीमित किया है। पार्टी प्रवक्ता ने कहा, ‘‘राहुल जी ने कई बार कहा है कि यदि प्रियंका कहीं अधिक रचनात्मक भूमिका निभाती है तो उन्हें खुशी होगी, लेकिन यह फैसला उन्हें ही करना है।’’
स्वास्थ्य कारणों को लेकर पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी के कम सक्रिय भूमिका निभाने के मद्देनजर राहुल के आगे बढ़ कर नेतृत्व करने के बीच राजनीति में प्रियंका की सक्रिय भागीदारी की अटकलें जोर पकड़ रही हैं। दरअसल, उन्होंने कांग्रेस-सपा के बीच उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव को लेकर गठबंधन कराने में एक अहम भूमिका निभाई थी। पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव से पहले नवजोत सिंह सिद्धू और कुछ अन्य नेताओं को पार्टी में शामिल कराने में प्रियंका ने अहम भूमिका निभाई थी। गौरतलब है कि कांग्रेस ने उत्तर प्रदेश के लिए 40 स्टार प्रचारकों में उनका नाम भी शामिल किया है। बहरहाल, ना तो प्रियंका, ना ही सोनिया ने गोवा में कांग्रेस के लिए चुनाव प्रचार किया है, जबकि राहुल ने अब तक इस तटीय राज्य में दो जन सभाओं को संबोधित किया है।
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