शीतकालीन सत्र के पहले सप्ताह में राज्यसभा का 52.30 प्रतिशत समय बर्बाद हुआ : सचिवालय

Indian Parliament
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राज्यसभा सचिवालय द्वारा जारी विज्ञप्ति में बताया गया कि सबसे बेहतर उत्पादकता शुक्रवार को रही जब सदन में निर्धारित समय के अनुसार 100 प्रतिशत कार्य हुआ जबकि इससे पहले दिन 95 प्रतिशत समय में कार्यावाही हुई थी जो सदन में सामन्य कार्यवाही बहाल होने का संकेत है।

नयी दिल्ली| संसद के मौजूदा शीतकालीन सत्र के पहले सप्ताह में उच्च सदन के लिए निर्धारित समय का 52.30 प्रतिशत हंगामे और मजबूरन कार्यवाही स्थगित करने की वजह से बर्बाद हो गया। यह जानकारी राज्यसभा सचिवालय ने दी है।

अधिकारियों ने बताया कि संसद के उच्च सदन की उत्पादकता पिछले सप्ताह कुल निर्धारित समय का मात्र 47.70 प्रतिशत रहा। उन्होंने बताया कि सदन में बृहस्पतिवार को निर्धारित समय से 33 मिनट अधिक कार्यवाही हुई और इसकी वजह से सत्र के पहले सप्ताह में पहली बार कुल उत्पादकता में सुधार हुआ और निर्धारित समय के 49.70 प्रतिशत हिस्से में कार्य हुआ।

राज्यसभा सचिवालय द्वारा जारी विज्ञप्ति में बताया गया कि सबसे बेहतर उत्पादकता शुक्रवार को रही जब सदन में निर्धारित समय के अनुसार 100 प्रतिशत कार्य हुआ जबकि इससे पहले दिन 95 प्रतिशत समय में कार्यावाही हुई थी जो सदन में सामन्य कार्यवाही बहाल होने का संकेत है।

विज्ञप्ति के मुताबिक शुक्रवार को निजी विधेयक पेश करने के लिए निर्धारित पूरे ढाई घंटे पूरा काम हुआ। यह उपलब्धि एक साल, नौ महीने और 24 दिनों बाद या 66 बैठकों के बाद हासिल हुई।

अधिकारियों ने बताया कि पिछली बार सात फरवरी 2020 को बजट सत्र के दौरान यह मुकाम हासिल हुआ था जो सदन का 251वां सत्र है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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