सेनाओं को लेकर फैली गलत धारणाओं को दूर करें पूर्व सैनिक: नौसेना प्रमुख

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[email protected] । Jan 15 2020 9:30AM

नौसेना प्रमुख एडमिरल करमबीर सिंह ने मंगलवार को पूर्व कर्मियों से कहा कि वे समाज में अपनी प्रतिष्ठा का इस्तेमाल सोशल मीडिया पर सशस्त्र बलों को लेकर फैली गलत धारणाओं को दूर करने के लिए करें। वह चौथे ‘आर्म्ड फोर्सज वेटरंस डे’ पर आयोजित एक समारोह को संबोधित कर रहे थे।

नयी दिल्ली। नौसेना प्रमुख एडमिरल करमबीर सिंह ने मंगलवार को पूर्व कर्मियों से कहा कि वे समाज में अपनी प्रतिष्ठा का इस्तेमाल सोशल मीडिया पर सशस्त्र बलों को लेकर फैली गलत धारणाओं को दूर करने के लिए करें। वह चौथे ‘आर्म्ड फोर्सज वेटरंस डे’ पर आयोजित एक समारोह को संबोधित कर रहे थे। सिंह ने कहा, ‘‘मौजूदा कर्मियों और पूर्व कर्मियों के बीच संबंध अमिट और शाश्वत हैं। आप सुझावों, अनुरोधों, सिफारिशों और सुधार किसी के भी संबंध में सेना से सम्पर्क करने से ना कतराएं।’’

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उन्होंने पूर्व कर्मियों से अपील की कि वे समाज में अपनी प्रतिष्ठा का इस्तेमाल सोशल मीडिया पर सेनाओं को लेकर फैली गलत धारणाओं को दूर करने के लिए करें। उन्होंने कहा, ‘‘ यह सूचना का युग है। जहां कई अच्छी जानकारी साझा किए जाने के साथ ही सेनाओं के बारे में कई मिथक और गलत धारणाएं भी सोशल मीडिया पर फैलाईं जाती हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ मैं सभी से अनुरोध करना चाहूंगा कि समाज में अपनी प्रतिष्ठा का इस्तेमाल करें। अगर कभी कोई गलतफहमी फैलाई जाए तो, कृपया यह सुनिश्चित करें कि आप मीडिया पर सेना की सकारात्मक छवि पेश करें।’’

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थल सेना प्रमुख जनरल एम एम नरवणे ने अपने संबोधन में कहा कि पूर्व सैनिकों द्वारा तय किए मानक देश के युवाओं को प्रेरित करते हैं। उन्होंने कहा कि इस सम्मान के कारण देश के लोगों ने पिछले साल एक राष्ट्रीय युद्ध स्मारक समर्पित किया जो सशस्त्र बलों के बलिदान को सलाम करता है। उन्होंने कहा कि बहुत विचार करने के बाद सेना मुख्यालय ने पूर्व सैनिकों के कल्याण के लिए रक्षा मंत्रालय को कुछ प्रस्ताव दिए हैं। उन्होंने कहा कि 1965 और 1971 के युद्ध में भाग लेने वाले इमर्जेंसी कमीशंड तथा शार्ट सर्विस कमीशंड अधिकारियों को स्वंतत्र सैनिक सम्मान पेंशन योजना के तहत पेंशन मिलनी चाहिए।

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