शरद यादव राज्यसभा से अयोग्य करार दिये जाने के विरुद्ध पहुंचे उच्च न्यायालय

Sharad Yadav is against the disqualification of the Rajya Sabha, the High Court

जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के पूर्व अध्यक्ष शरद यादव ने राज्यसभा की सदस्यता से उन्हें अयोग्य करार दिये जाने के फैसले को उच्च न्यायालय में चुनौती दी।

नयी दिल्ली। जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के पूर्व अध्यक्ष शरद यादव ने राज्यसभा की सदस्यता से उन्हें अयोग्य करार दिये जाने के फैसले को उच्च न्यायालय में चुनौती दी। यादव ने अपनी याचिका में कहा है कि संबंधित प्राधिकार ने उनके विरुद्ध फैसला सुनाने से पहले उन्हें अपना पक्ष रखने का मौका नहीं दिया। यादव और एक अन्य सांसद अली अनवर को चार दिसंबर को राज्यसभा की सदस्यता से अयोग्य करार दिया गया था।

जदयू अध्यक्ष और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इस साल जुलाई में राजद एवं कांग्रेस के साथ महागठबंधन तोड़कर भाजपा के साथ गठजोड़ कर लिया था। उसके बाद यादव ने विपक्ष के साथ हाथ मिला लिया था। राज्यसभा के सभापित जदयू की इस दलील से सहमत थे कि इन दोनों वरिष्ठ सदस्यों ने पार्टी के निर्देशों की अवहेलना कर और विपक्षी दलों के कार्यक्रम में शामिल होकर स्वयं ही अपनी सदस्यता छोड़ दी।

जदयू ने इस आधार पर उन्हें राज्यसभा की सदस्यता से अयोग्य ठहराने का अनुरोध किया था कि दोनों सदस्य निर्देशों का उल्लंघन कर पटना में विपक्षी दलों की रैली में शामिल हुए थे। यादव पिछले ही साल उच्च सदन के लिए निर्वाचित हुए थे और उनका कार्यकाल 2022 तक था। अनवर का कार्यकाल अगले साल के प्रारंभ तक था।

यादव की तरफ से याचिका दायर करने वाले वकील निजाम पाशा कहा कि कौन सा गुट असली जनता दल यूनाइटेड है, यह प्रश्न अदालत के समक्ष विचाराधीन है और इसपर अंतिम फैसला अभी बाकी है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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