UP की बड़ी खबरें: राज्य में सामने आए 321 नए मामले, अबतक 1.81 लाख मीट्रिक टन से अधिक हुई गेहूं खरीद

COVID-19 Test
प्रतिरूप फोटो
ANI Image

अपर मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने आज बताया कि प्रदेश में कल एक दिन में कुल 1,08,245 सैम्पल की जांच की गयी। कोरोना संक्रमण के 321 नये मामले आये हैं। प्रदेश में अब तक कुल 11,18,94,635 सैम्पल की जांच की गयी हैं। उन्होंने बताया कि अब तक कुल 20,50,725 लोग कोविड-19 से ठीक हुए हैं।

लखनऊ। प्रदेश सरकार द्वारा रबी खरीद वर्ष 2022-23 के तहत प्रदेश में खोले गए विभिन्न क्रय केन्द्रों के माध्यम से अब तक 181051.07 मीट्रिक टन गेहूं की खरीद की गयी है। इसके एवज में किसानों को 302.339 करोड़ रूपये का भुगतान उनके खातों में किया गया है। खाद्य एवं रसद विभाग से प्राप्त रिपोर्ट के अनुसार आज 18105.07 मीट्रिक टन गेहूं की खरीद हुई है। किसान किसी भी सहायता के लिए टोल फ्री नम्बर 1800-1800-150 या सम्बन्धित जनपद के जिला खाद्य विपणन अधिकारी या ब्लॉक के विपणन निरीक्षक से सम्पर्क कर सकते हैं।

सम्पूर्ण उप्र खादी ग्रामोद्योग बोर्ड कर्मचारी यूनियन का कार्यकारिणी चुनाव सम्पूर्ण

उ0प्र0 खादी ग्रामोद्योग बोर्ड कर्मचारी यूनियन के कार्यकारिणी चुनाव में आज नामांकन वापसी के बाद अध्यक्ष पद पर ग्रामोद्योग अधिकारी कमलेश कुमार वर्मा, मंत्री पद पर सहायक विकास अधिकारी प्रतिभाष वास्तव, कोषाध्यक्ष पद पर सहायक विकास अधिकारी अंकिता सिंह तथा प्रचार मंत्री पद पर सहायक विकास अधिकारी अमित त्रिपाठी निर्विरोध चुने गये हैं। यह जानकारी महामंत्री/संयोजक चुनाव समिति, पी0सी0 वास्तव ने आज यहां दी। उन्होंने बताया कि सदस्य के सात पदों पर कमलाकान्त यादव, संदीप शाक्य, बालकृष्ण त्रिपाठी, अभिषेक अग्निहोत्री, रामानन्द वर्मा, राज कुमार एवं पारूल वास्तव भी निर्विरोध निर्वाचित हुई हैं। महामंत्री, उपाध्यक्ष तथा संगठन मंत्री पद हेतु चुनाव आगामी 15 मई को डालीबाग स्थित खादी एवं ग्रामोद्योग बोर्ड कार्यालय में सम्पन्न होगा। 

इसे भी पढ़ें: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अयोध्या की मलिन बस्ती में मनीराम के घर किया सह भोज 

कोरोना संक्रमण के 321 नये मामले आये

अपर मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने आज बताया कि प्रदेश में कल एक दिन में कुल 1,08,245 सैम्पल की जांच की गयी। कोरोना संक्रमण के 321 नये मामले आये हैं। प्रदेश में अब तक कुल 11,18,94,635 सैम्पल की जांच की गयी हैं। उन्होंने बताया कि विगत 24 घण्टों में 282 लोग तथा अब तक कुल 20,50,725 लोग कोविड-19 से ठीक हुए हैं। उन्होने बताया कि प्रदेश में कोरोना के कुल 1780 एक्टिव मामले है। प्रसाद ने बताया कि कोविड वैक्सीनेशन का कार्य निरन्तर किया जा रहा है। प्रदेश में कल 05 मई, 2022 को एक दिन में 4,13,429 वैक्सीन की डोज दी गयी है। उन्होने बताया कि प्रदेश में कल तक 18 वर्ष से अधिक लोंगों को कुल पहली डोज 15,30,21,953 तथा दूसरी डोज 13,15,42,805 दी गयी। उन्होंने बताया कि 15 से 17 वर्ष आयु वर्ग को कल तक कुल पहली डोज 1,33,94,153 तथा दूसरी डोज 95,75,239 दी गयी है। 12 से 14 वर्ष आयु वर्ग को कल तक कुल पहली डोज 56,49,209 तथा दूसरी डोज 5,86,649 दी गयी। कल तक 28,48,349 प्रीकॉशन डोज दी गयी है। उन्होंने बताया कि कल तक कुल मिलाकर 31,66,18,357 वैक्सीन की डोज दी गयी है।

सहकारिता विभाग द्वारा अब तक 29,304 किसानों से 1,14,529.301 मी0 टन गेहूँ की हुई खरीद

मूल्य समर्थन योजना के अंतर्गत इस वित्तीय वर्ष में प्रदेश के समस्त जिलों में सहकारिता विभाग द्वारा खोले गये क्रय केन्द्रों पर गेहूॅ क्रय किया जा रहा है। प्रदेश के सहकारिता मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) जयेन्द्र प्रताप सिंह राठौर ने बताया है कि प्रदेश में सहकारिता विभाग के खुले 4444 क्रय केन्द्रों पर केन्द्र प्रभारियों द्वारा गेहूँ खरीद की जा रही है। सभी केन्द्रों पर किसानों के बैठने के लिए छांव, पीने के लिए पानी, छनाई के लिए छलना, बोरे आदि समस्त व्यवस्थायें की गई हैं। किसी भी केन्द्र पर किसान भाईयों को कोई समस्या नहीं आने दी जा रही है। उन्होंने किसान भाईयों से अपील की है कि वे अपना गेहूँ क्रय केन्द्रों पर ही बेचें जिससे उन्हें उपज का सही मूल्य प्राप्त हो सके। उन्होंने केन्द्र प्रभारियों को निर्देश दिये हैं कि प्रदेश सरकार द्वारा दिये गये निर्देशों के क्रम में किसानों से गेहूँ क्रय करें। किसी भी केन्द्र से शिकायत मिली तो संबंधितों के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जायेगी। राठौर ने बताया कि प्रदेश में अब तक सहकारिता विभाग द्वारा 29,304 किसानों से 1,14,529.301 मी0 टन गेहूँ खरीदा गया, जिसमें रु0 18272.31 लाख का भुगतान किया जा चुका है।

ग्राम सचिवालय कार्यालय को हाईस्पीड विश्वसनीय इण्टरनेट कनेक्टिीविटी उपलब्ध करायी जाए

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की संकल्पना उत्तर प्रदेश के गांव को स्मार्ट बनाने की है। इसको दृष्टिगत रखते हुए प्रदेश के 58,189 ग्राम पंचायतों में ग्राम सचिवालय के स्थापना की कार्यवाही की जा रही है। ग्राम पंचायत कार्यालय को ग्राम सचिवालय के नाम से स्थापित किया जा रहा है। गांव की जनता को विभिन्न विभागों से जिन दस्तावेजों/अभिलेखों/कागजात की आवश्यकता पड़ती है, वे समस्त अभिलेख ग्राम सचिवालय में पंचायत सहायक/कॉमन सर्विस सेन्टर (सीएससी) के माध्यम से प्राप्त हो सके, इसकी व्यवस्था भी बनायी जा रही है। इस संबंध में अपर मुख्य सचिव पंचायती राज मनोज कुमार सिंह ने आवश्यक दिशा निर्देश निदेशक पंचायती राज को दिये हैं। जारी निर्देशों में कहा गया है कि ग्राम पंचायतों में निवासरत ग्रामीण जनता की क्षमता का पूर्ण विकास व नई आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए भरोसेमंद इण्टरनेट कनेक्टिविटी आवश्यक है। स्मार्ट ग्राम की इस परिकल्पना के दृष्टिगत शासन द्वारा यह निर्णय लिया गया है कि ग्राम पंचायत के ग्राम सचिवालय कार्यालय को हाईस्पीड विश्वसनीय इण्टरनेट कनेक्टिीविटी उपलब्ध करायी जाए, साथ ही ग्राम सचिवालय भवन के 50 मीटर के दायरे (रेडियस) में ग्रामीण जन के लिए फ्री वाई-फाई की सुविधा उपलब्ध करायी जाए।

एनआईपी पोर्टल

एनआईपी पोर्टल यह जानकारी नियोजन विभाग के विशेष सचिव आर0एन0एस0 यादव ने दी। उन्होंने बताया कि नेशनल इन्फ्रास्ट्रक्चर पाइपलाइन डैश बोर्ड का मुख्य उद्देश्य निवेशकों को निवेश के लिए प्लेटफार्म प्रदान करने के साथ ही निवेशकों को आवश्यक सहयोग प्रदान करना, अर्थव्यवस्था को तीव्र गति से बढ़ाने तथा अवस्थापना एवं अवसंरचना के क्षेत्र में आ रही नवीन परियोजनाओं के संबंध में निवेशकों को अवगत कराना है। एनआईपी पोर्टल पर से संबंधित परियोजनाओं को अपलोड किया जाता है तथा परियोजनाओं को समय से पूर्ण करने तथा उसके अनुश्रवण में भी मदद मिलेगी। 

इसे भी पढ़ें: मां का आशीर्वाद लेकर अवधपुरी पहुंचे योगी, किया रामलला का दर्शन-पूजन 

विभागीय कार्यों में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जायेगी

प्रदेश में राजस्व के द्ष्टिगत आबकारी विभाग बहुत महत्वपूर्ण है। चालू वित्तीय वर्ष के लिए निर्धारित लक्ष्य को हर हाल में पूरा करने के लिए अथक प्रयास करने की आवश्यकता है। आबकारी विभाग के समस्त अधिकारीगण अपने-अपने कार्य क्षेत्रों में कच्ची शराब के उत्पादन, अवैध मदिरा के व्यापार तथा अवैध मदिरा की अंतर्राज्यीय तस्करी के विरूरद्ध कठोर कार्यवाही करना सुनिश्चित करें। प्रदेश के आबकारी एवं मद्यनिषेध राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) नितिन अग्रवाल ने आज सर्किट हाउस, बरेली में आबकारी अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की। समीक्षा बैठक में आबकारी मंत्री ने कई आवश्यक पहलुओं पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी नियमित रूप से दुकानों का निरीक्षण करें, जिससे कि अवैध शराब व अन्य अवैध कार्यों पर तत्काल रोक लगायी जा सके। आबकारी मंत्री ने कहा कि गतवर्ष राजस्व प्राप्त लगभग 36,000 करोड़ रुपए के स्थान पर बढ़ाकर इस वित्तीय वर्ष में इसका लक्ष्य 42,000 करोड़ रूपये रखा गया है। जिसकी प्राप्ति में आप सभी की भूमिका अहम होगी। आप सभी को टारगेट बेस कार्य करना पड़ेगा। लक्ष्य प्राप्त करने में जो भी समस्या आ रही हो, शासन को उन परेशानियों से अवगत करायें और ईमानदारी से कार्य करें। साथ ही आबकारी मंत्री ने समीक्षा बैठक में एक्साइज ड्यूटी, इम्पोर्ट ड्यूटी, लाइसेंस संबंधित विभिन्न विषयों पर गंभीरता से चर्चा की। बैठक के दौरान विभागीय कार्यों की जानकारी लेते हुए आबकारी मंत्री नितिन अग्रवाल ने कहा कि विभागीय कार्यों में किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जायेगी। भ्रष्टाचार की शिकायतें बिलकुल बर्दास्त नहीं की जायेंगी। जो भी ऐसे कार्यों में लिप्त पाया गया, उस पर कठोर कार्यवाही की जायेगी। समीक्षा बैठक में जॉइंट कमिश्नर महेंद्र सिंह समेत अन्य अधिकारी मौजूद रहे।

उत्तर प्रदेश सिंधी अकादमी द्वारा अकादमी कार्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेन्स का आयोजन किया गया

उत्तर प्रदेश सिंधी अकादमी के उपाध्यक्ष नानक चन्द लखमानी की अध्यक्षता में आज यहां इन्दिरा भवन स्थित सिंधी अकादमी कार्यालय में प्रेसवार्ता का आयोजन किया गया। उन्होंने अकादमी द्वारा संचालित विभिन्न गतिविधियों, कार्यक्रमों तथा भावी योजनाओं की विस्तृत जानकारी दी। इस अवसर पर प्रेस प्रतिनिधियों से संबोधित करते हुए लखमानी ने बताया कि इस वर्ष अकादमी द्वारा संचालित की जाने वाली विभिन्न योजनाओं की जानकारी देते हुए कि आजादी के 75वें अमृत महोत्सव वर्ष के दौरान अकादमी द्वारा ऐसे साहित्यकार, जिन्होेंने 60 वर्ष की आयु पूर्ण कर ली हो एवं निरन्तर सिंधी साहित्य की सेवा की हो, ऐसे 10 लब्धप्रतिष्ठित साहित्यकारों/लेखकों को रू0 21000.00 धनराशि उसके जीवनकाल में एक बार प्रदान की जायेगी। इसके अलावा प्रदेश के सिंधी विषय से स्नातक तीन वर्षीय पाठ्यक्रम में प्रतिवर्ष उत्तीर्ण होने वाले छात्रों को रू0 6000.00 एवं दो परास्नातक पाठ्यक्रम में प्रतिवर्ष उत्तीर्ण होने पर रू0 7000.00 प्रोत्साहनवृत्ति प्रदान की जायेगी। इसके अलावा लेखकों द्वारा सिधीं भाषा में अनुवादित अथवा लिखित, पुस्तकों के प्रकाशनार्थ आर्थिक सहायता प्रदान की जायेगी। लखमानी ने बताया कि सिंधी भाषा, कला एवं संस्कृति के संरक्षण व संवर्द्धन हेतु आगामी 12 मई, 2022 को लखनऊ में तथा 31 मई, 2022 को गोरखपुर में सिंधी पारिवारिक फिल्म ‘‘घर गुरूअ जो दार‘‘ का मंचन कराया जायेगा। अकादमी द्वारा इस वित्तीय वर्ष सेें सिंधी सरल शिक्षण कार्यक्रम के अंतर्गत सिंधी देवनागरी लिपि सिखाने के लिए ऑनलाइन कक्षाओं का संचालन किया जायेगा। इसके अलावा सिंधी भाषा के प्रचार-प्रसार हेतु सिंधी भाषण गायन तथा, सिंधी निबन्ध प्रतियोगिताओं का आयोजन आगरा, मथुरा, लखनऊ में कराया जाना प्रस्तावित है। इन प्रतियोगिताओं में छात्रों को पुरस्कृत किये जाने के साथ ही सिंधी पढ़ाने वाले अध्यापकों को भी सम्मानित किये जाने की योजना है। अकादमी के उपाध्यक्ष ने बताया कि सिंधी भाषा के प्रचार-प्रसार हेतु आगामी 24-25 जून 2022 को लेह में एक विचार संगोष्ठी कराये जाने की योजना है।

उन्होंने यह भी बताया कि सिंधी अकादमी द्वारा संचालित विभिन्न कार्यक्रमों एवं आयोजनों के व्यापक प्रचार-प्रसार की भी योजना बनाई गई है। इसके अलावा उन्होंने वित्तीय वर्ष 2021-22 की उपलब्धियों की जानकारी देते हुए बताया कि ऑनलाईन सिंधी छात्र प्रतियोगिताओं का आयोजन कराया गया। कार्यक्रम में 300 से अधिक छात्रों ने प्रतिभाग किया, प्रतिभागी विजयी छात्रों को धनराशि रू0 3000, 2000, 1000 से पुरस्कृत किया गया। कक्षा 03 से 12 तक के छात्रों को धनराशि रू0 1200.00 से 5000.00 तक की प्रोत्साहनवृत्ति वितरित की गयी तथा हाईस्कूल एवं इण्टरमीडिएट सिंधी विषय में सर्वाधिक अंक प्राप्त करने वाले छात्रों को धनराशि रू0 11000.00 (रू0 ग्यारह हजार मात्र) प्रदान की गई। इस अवसर पर सिंधी अकादमी के निदेशक हरिबख्श सिंह ने बताया कि अकादमी द्वारा सिंधी शिक्षक मानदेय व्यवस्था के अन्तर्गत हाईस्कूल एवं इण्टरमीडिएट विषय से पढ़ाने वाले शिक्षको को प्रति छात्र रू0 5000 की दर से मानदेय प्रदान किया गया। इसके अतिरिक्त पुस्तकों का प्रकाशन, सिंधी भगति, संगोष्ठियों का आयोजन, पुस्तकों के प्रकाशन हेतु लेखकों को आर्थिक सहायता, सूफी कलाम आदि कार्यक्रमों का आयोजन किया गया। उन्होंने यह भी अवगत कराया कि 10 अप्रैल 1967 कोें सिध्ंाी भाषा को संविधान की आठवीं अनुसूची में सम्मिलित किया गया था। अकादमी द्वारा 10 अप्रैल को सिंधी भाषा दिवस के रूप में मनाया जाता है। इस अवसर पर प्रतिवर्ष विभिन्न कार्यक्रमों को आयोजन किया जाता है। विगत 11 अप्रैल, 2022 को अकादमी द्वारा सिध्ंाी भाषा दिवस के उपलक्ष्य मंे विचार संगोष्ठी का आयोजन किया गया। इसके साथ ही उपाध्यक्ष जी नानकचन्द्र लखमानी द्वारा यह भी अवगत कराया गया कि अमर शहीद हेमू कालाणी, राजा दाहिर सेन, भगवान झूलेलाल, अमर शहीद संत कंवरराम, बाबा आसूदाराम आदि महापुरूषों एवं स्वतन्त्रता सेनानियों की जीवन को पाठ्यक्रम में लागू कराये जाने, अकादमी के कार्यालय (सिंधु संस्कृति भवन हेतु) के लिए 5 एकड़ भूमि आवंटित किये जाने, इन्दिरा भवन में अकादमी सभागार हेतु कक्ष आवंटन के संबंध में शासन से पत्राचार किया गया है। 

इसे भी पढ़ें: प्रयागराज में स्कूल के प्रिंसिपल का तुगलकी फरमान, ईद की पोशाक पहनने के लिए हिंदू बच्चों को किया मजबूर

वित्तीय वर्ष/शैक्षिक सत्र 2022-23

प्रदेश में वित्तीय वर्ष/शैक्षिक सत्र 2022-23 में पूर्वदशम छात्रवृत्ति (कक्षा-9 एवं 10) की कक्षाओं से संबंधित पाठ्यक्रमों का मास्टर डाटाबेस तैयार करने, सत्यापन, लॉक करने एवं छात्रों को छात्रवृत्ति आवेदन से वितरण हेतु समय-सारणी निर्धारित की गई है। इस संबंध में विशेष सचिव, रजनीश चन्द्र ने जारी निर्देश के क्रम में कहा कि 10 मई, 2022 से 31 मई, 2022 तक प्रदेश में स्थित मान्यता प्राप्त विद्यालयों द्वारा मास्टर डाटाबेस में सम्मिलित होने के लिए ऑनलाइन आवेदन करने की कार्यवाही किया जाना, जिला विद्यालय निरीक्षक के समक्ष समस्त प्रपत्र प्रस्तुत करना, तदुपरान्त जिला समाज कल्याण अधिकारी से पासवर्ड प्राप्त करना (नवीन संस्थाएं) एवं मास्टर डाटा में सम्पूर्ण सूचनाएं भरकर/अपलोड करके प्रमाणित किया जायेगा। जारी शासनादेश में रजनीश चन्द्र ने कहा है कि 01 जून से 30 जून, 2022 तक संबंधित जिला विद्यालय निरीक्षक द्वारा उसकी अधिकारिता में आने वाले समस्त विद्यालयों की मान्यता एवं स्वीकृत सीटों की संख्या की प्रमाणिकता को शतप्रतिशत आनलाइन डिजिटल हस्ताक्षर से सत्यापित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि 18 मई, 2022 से 01 जुलाई, 2022 तक छात्र-छात्राओं द्वारा आनलाइन आवेदन किया जायेगा। छात्र द्वारा आनलाइन आवेदन पूर्ण करने तथा फाइनल प्रिंटआउट निकालने से पूर्व 03 कार्य दिवसों में छात्र-छात्राओं द्वारा किये गये आनलाइन आवेदन में हुई त्रुटियों को राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केन्द्र लखनऊ द्वारा छात्रवृत्ति के पोर्टल पर स्टूडेंट सेक्सन में प्रदर्शित किया जायेगा। उन्होंने कहा कि आवेदन पत्र भरने के 04 दिन के अन्दर, विलम्बतम 05 जुलाई, 2022 तक छात्र-छात्राओं द्वारा आनलाइन आवेदन पत्र की हार्डकॉपी समस्त वांछित संलग्नकों सहित विद्यालय में जमा किया जायेगा। 20 मई, 2022 से 07 जुलाई, 2022 तक छात्र-छात्राओं द्वारा आनलाइन आवेदन पत्र की हार्डकॉपी एवं संलग्न अभिलेखों से छात्र/छात्रा के समस्त विवरण का विद्यालय द्वारा मिलान किया जाना एवं आनलाइन आवेदन प्राप्त करना, अपात्र छात्रों का डाटा निरस्त करना तथा पात्र छात्रों का आवेदन आनलाइन सत्यापित एवं अग्रसारित किया जायेगा। उन्होंने बताया कि 10 मई, 2022 से 30 सितम्बर, 2022 तक छात्र द्वारा आवेदन पत्र नवीनीकरण न करने का कारण विद्यालय द्वारा आनलाइन छात्र के सम्मुख अंकित किया जाना एवं जिलाधिकारी, शिक्षा विभाग के अधिकारी एवं कल्याण विभाग के अधिकारियों द्वारा टीम बनाकर विद्यालयों एवं छात्रों का भौतिक सत्यापन किया जायेगा। 25 जुलाई, 2022 तक संबंधित जिला विद्यालय निरीक्षक (कक्षा-09-10 हेतु) द्वारा वर्गवार वास्तविक छात्र संख्या आदि की प्रमाणिकता को आनलाइन सत्यापित किया जायेगा। उन्होंने बताया कि 08 जुलाई, 2022 18 जुलाई, 2022 तक पी0एफ0एम0एस0 साफ्टवेयर से सत्यापन उपरान्त डाटा वापस प्राप्त किया जाना एवं एन0आई0सी0 के राज्य ईकाई में निर्धारित विभिन्न बिन्दुओं पर परीक्षण किया जायेगा। 09 अगस्त, 2022 तक जनपद स्तरीय विभागीय अधिकारी के डिजिटल सिग्नेचर से लॉक डाटा के आधार पर सही छात्रों का एन0आई0सी0 की राज्य इकाई से मांग सृजित किया जायेगा। 11 अगस्त, 2022 तक जनपद स्तरीय विभागीय अधिकारी के डिजिटल सिग्नेचर से लॉक डाटा के आधार पर सही डाटा वाले छात्रों को कोषागार के ई-पेमेंट के तहत पी0एफ0एम0एस0 प्रणाली के माध्यम से छात्र/छात्राओं के आधार लिंक बैंक खातों/बैंक खातों में सीधे धनराशि अंतरित की जायेगी।

विद्युत कार्मिकों के अथक प्रयास को ऊर्जा मंत्री ने प्रोत्साहित किया

प्रदेश के ऊर्जा एवं अतिरिक्त ऊर्जा स्रोत मंत्री ए.के. शर्मा ने आज अयोध्या प्रवास के दौरान हनुमानगढ़ी के श्रृंगार हाट स्थित 11 केवी विद्युत केन्द्र का विद्युत आपूर्ति की समीक्षा के लिए मौके पर जाकर निरीक्षण किया। उपभोक्ताओं की शिकायतों के निस्तारण हेतु स्थापित कम्प्लेन्ट बूथ, बिजली की सही आपूर्ति एवं लोड की स्थिति जानने के लिए केन्द्र में स्थापित 400 केवी एवं 600 केवी ट्रांसफार्मर का भी निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने केन्द्र के अधिकारियों/कर्मचारियों को आवश्यक निर्देश दिए। कहा कि अधिक से अधिक लाइन हानियों को कम किया जाय, जिससे कि बिजली की बचत की जा सके। भीषण गर्मी में जनता को बिजली आपूर्ति को लेकर किसी भी प्रकार की समस्या न हो व अनावश्यक बिजली कटौती न हो, इसके प्रयास किये जाएं। अनवरत विद्युत आपूर्ति में बाधा बन रही व्यवस्था की कमियों को चिन्हित कर इसके मेन्टिनेंस पर विशेष ध्यान दिया जाए। उन्होंने अधिभारित फीडरों व ट्रान्सफार्मर्स की शीघ्र ही क्षमता वृद्धि करने, ट्रांसफार्मर व बिजली के तारों के जलने तथा क्षतिग्रस्त उपकरणों को रिपेयर करने, ब्रेकडाउन को कम समय में ठीक करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि बेहतर आपूर्ति बनाए रखने के लिए उपकरणों के रखरखाव एवं जरूरी सामान की उपलब्धता पर भी विशेष ध्यान दिया जाय। ऊर्जा मंत्री ने केन्द्र की लॉगबुक, बिलिंग व्यवस्था, विद्युत आपूर्ति एवं लोड बैलेंसिंग का निरीक्षण किया तथा संबंधित कार्मिकों के मोबाइल नंम्बर डिस्प्ले बोर्ड पर दर्शाने के निर्देश दिए। ऊर्जा मंत्री ने कहा कि प्रदेश में बिजली की सुचारू व्यवस्था बनायी जायेगी। मुख्यमंत्री जी की भी मंशा है कि जनता को अधिक से अधिक सुविधाएं मिले, इसपर निरंतर कार्य किया जाए, जिसके लिए विद्युतकर्मी दिन-रात अथक परिश्रम कर रहे हैं, जिससे समस्याओं को दूर करने में सफलता मिल रही है। इसके लिए उन्होंने सभी विद्युत कार्मिकों को प्रोत्साहित किया और धन्यवाद भी दिया।

संत कबीर प्रकाटोत्सव के अवसर पर आगामी 14 जून को संत कबीर अकादमी मगहर के नवनिर्मित भवन/प्रेक्षागृह एवं छात्रावास की परियोजना का होगा

लोकार्पण जनपद संत कबीर नगर में संत शिरोमणि कबीर दास के प्रकाटोत्सव के अवसर पर आगामी 14 जून को संत कबीर अकादमी मगहर में नवनिर्मित भवन/प्रेक्षागृह एवं छात्रावास की परियोजना का लोकार्पण किया जायेगा। इस परियोजना को संस्कृति विभाग के अधीन 23.59 करोड़ रूपये की लागत से उ0प्र0 आवास एवं विकास परिषद द्वारा भव्य रूप दिया गया है। यह जानकारी प्रदेश के कैबिनेट मंत्री पर्यटन एवं संस्कृति जयवीर सिंह ने देते हुए बताया कि पर्यटन एवं संस्कृति विभाग के अन्तर्गत कई बड़ी परियोजनाएं लोकार्पण के लिए तैयार हैं। इनके लोकार्पण की तिथि शीघ्र ही निर्धारित की जायेगी। इसके अन्तर्गत माह जून में ही मथुरा, वृंदावन विकास प्राधिकरण द्वारा निर्मित बरसाना में रोप-वे का निर्माण कराया गया है, इसका भी लोकार्पण शीघ्र किया जायेगा। उन्होंने बताया कि जनपद अयोध्या में नये क्वीन-हो मेमोरियल पार्क की परियोजना 21.92 करोड़ रूपये की लागत से तैयार की गयी है, इसके लोकार्पण की तिथि कोरियन दूतावास के समन्वय से निर्धारित की जानी है। जयवीर सिंह ने बताया कि माह जून, 2022 में ही ट्रेवल राइटर्स, टेªवल ब्लागर्स एवं टूर ऑपरेटर्स का अन्तर्राष्ट्रीय कान्कलेव आयोजित किया जायेगा। इसके अलावा आगामी 19 अगस्त, 2022 को जनपद मथुरा में कृष्णोत्सव को भव्य रूप से मनाये जाने की कार्ययोजना बनायी जायेगी। 

इसे भी पढ़ें: योगी सरकार के खिलाफ ललितपुर-चंदौली बनेगा विपक्ष की नई ‘प्रयोगशाला’ 

प्रत्येक जनपद में दो हाईटेक नर्सरी बनाने का लक्ष्य किया गया है निर्धारित

उत्तर प्रदेश के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने ग्राम्य विकास विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि मनरेगा योजना के अंतर्गत प्रदेश के अंदर 150 हाईटेक नर्सरी की स्थापना का कार्य 100 दिन के अंदर अनिवार्य रूप से प्रारंभ कर दिया जाए। उन्होंने भी निर्देश दिए हैं कि प्रत्येक जनपद में फलों एवं चयनित सब्जियों को उगाने के लिए दो हाईटेक नर्सरी की स्थापना की जाए । प्रत्येक नर्सरी की लागत लगभग रू० 01 करोड़ होगी और एक नर्सरी में लगभग 15 लाख पौधे तैयार होंगे। ग्राम्य विकास विभाग से प्राप्त जानकारी के अनुसार हाइटेक नर्सरी का निर्माण उद्यान विभाग द्वारा निर्धारित मानकों के अनुरूप इजराइली तकनीक के अनुसार किया जायेगा।योजनान्तर्गत निर्मित हाइटेक नर्सरी का रख-रखाव राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के क्लस्टर लेविल फेडरेशन के माध्यम से किया जायेगा स महात्मा गाँधी नरेगा योजना एवं उद्यान विभाग के तकनीकी सहयोग व मार्ग-दर्शन में (उद्यान विभाग , प्रोजेक्ट इम्प्लीमेन्टेशन एजेंसी ) के रूप में) हाइटेक नर्सरी बनेगी। योजनान्तर्गत स्थानीय भौगोलिक परिस्थितियों एवं आस पास के क्षेत्रों में मांग के अनुसार फल जैसे- अनार, कटहल, नींबू, आम, अमरुद, आदि एवं सब्जी उगाने हेतु प्रत्येक जनपद में 2 नर्सरी का निर्माण किया जाना है। हाइटेक नर्सरी का निर्माण सामुदायिक एवं व्यक्तिगत भूमि पर किया जा सकता है मनरेगा योजना के अंतर्गत नर्सरी का निर्माण स्वयं सहायता समूह/ विलेज आर्गनाइजेशन/ कलस्टर लेवल फेडरेशन के सदस्यों के सामूहिक रूप से अवस्थित जमीन (विभाग द्वारा निर्धारित मानकों के अनुसार) पर किया जायेगा सनर्सरी केनिर्माण हेतु पौध तथा उन्नतशील बीज उद्यान विभाग द्वारा (उद्यान विभाग द्वारा निर्धारित/नामित वेन्डर्स के माध्यम से) उपलब्ध कराया जाएगा सहाइटेक नर्सरी के निर्माण हेतु उद्यान विभाग के प्राक्कलन के अनुसार 1 हेक्टेयर से 4 हेक्टेयर का क्षेत्रफल अनुमन्य/आवश्यक है सउद्यान विभाग के प्राक्कलन के अनुसार हाइटेक प्रत्येक नर्सरी की औसत लागत लगभग रूव 1.00 करोड़ आएगी सयोजनान्तर्गत निर्मित हाइटेक नर्सरी से प्रत्येक वर्ष 12 लाख से 16 लाख( औसतन 15 लाख) शाक -भाजी, फल, औषधीय आदि पौधों का उत्पादन किया जा सकेगा सनर्सरियों में प्रापर फेन्सिग, नेट हाउस, सिंचाई सुविधा, हाईटेक ग्रीन हाउस आदि अवस्थापना सुविधाए सृजित की जाएँगी सयोजनान्तर्गत निर्मित हाइटेक नर्सरी से उत्पादित पौधों का विक्रय स्थानीय स्तर पर इच्छुक कृषकों, क्षेत्रीय स्तर पर कृषक उत्पादन संगठनों (थ्च्व्) , राज्य स्तर पर अन्य प्राइवेट नर्सरियों, राष्ट्रीय स्तर पर विभिन्न राज्य सरकारों के वृक्षारोपण हेतु तथा अन्य राज्यों के इच्छुक कृषक व् कृषक संगठनों को किया जायेगा।

बीसी सखी (बैकिंग कॉरेस्पोंडेंट) से प्रदेश की महिलायें हो रही हैं

आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश सरकार ने महिलाओं को रोजगार देने के लिए सबसे बड़ी पहल की है। गांव-गांव तक बैकिंग सेवाओं को पहुंचाने के लिये 58,000 बीसी सखी (बैकिंग कॉरेस्पोंडेंट) बनाने का काम पूरा कर लिया है। सभी चयनित बीसी सखी का प्रशिक्षण पूरा हो चुका है सरकार की इस नीति से बैंकिंग सेवाएं लोगों के घरों तक पहुंच रही है। ग्रामीण इलाकों में रहने वाले लोगों को अपने बैंक खातों से धनराशि निकालने और उसमें पैसा जमा करने में बड़ी आसानी हुई हैं उनका बैंक शाखाओं तक जाने का समय व खर्चा बच रहा है और घर के करीब ही बैंक के रूप में बीसी सखी मिल जा रही है। प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आत्मनिर्भर उत्तर प्रदेश बनाने के लक्ष्य को पूरा करने के लिए मिशन रोजगार, मिशन शक्ति और मिशन कल्याण जैसी अनेक योजनाओं को शुरू किया है। इसके क्रियान्वयन हेतु तैयार किये गये कार्यक्रम के अनुसार सरकार के संबद्ध विभाग तेजी से आगे बढ़ा रहे हैं। इस क्रम में बैंक ऑफ बड़ौदा और यूको बैंक के सहयोग से यूपी इंडस्ट्रियल कंसलटेंट्स लि0 (यूपीकॉन) ने बीसी सखी (बैंकिंग कॉरेस्पोंडेंट) बना लिये हैं। बीसी सखी बनाने का लक्ष्य को पूरा करने में लगे हैं। गांव से लेकर शहरों में बीसी सखी 24 घंटे बैंकिंग सेवाएं दे रही हैं। उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य की सभी महिलाओं को लाभ पहुंचाने के लिए बीसी सखी योजना की शुरूआत की है। इस योजना के तहत उत्तर प्रदेश राज्य की सभी महिलाओं को रोजगार के नए अवसर मिले हैं। उ0प्र0 राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन की ओर से प्रदेश में बीसी सखी बनाने का कार्यक्रम बैंक ऑफ बड़ौदा के साथ मिलकर किया जा रहा है। यूपी इंडस्ट्रियल कंसलटंेट्स लि0 (यूपीकॉन) भी सहयोगी की भूमिका निभा रहा है। इससे पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने उत्तर प्रदेश अनुसूचित जाति, वित्त एवं विकास निगम लि0 के माध्यम से 500 अनुसूचित जाति के युवक-युवतियों को रोजगार के अवसर देते हुए बीसी बनाए थे। बीसी सखी बनाने के लिए पूर्व सैनिकों, पूर्व शिक्षकों, पूर्व बैंक कर्मियों और महिलाओं को प्राथमिकता दी गई है।

बीसी सखी बनने के लिए योग्यता में 12वीं कक्षा पास होना अनिवार्य किया गया है। अभ्यर्थी को कम्प्यूटर चलाना भी आना चाहिए, उस पर कोई वाद या पुलिस केस नहीं होना चाहिए। ऐसे अभ्यर्थी के चयन से पहले एक छोटी सी परीक्षा भी ली जाती है। इसमें उत्तीर्ण होेने वाला अभ्यर्थी बीसी सखी बन सकता है। बीसी सखी योजना से जुड़ने वाली महिलाओं को सम्मानजनक काम मिलने के साथ लोगों की सेवा करने का भी बड़ा अवसर मिल रहा है। लोगों को तत्काल बैंकिंग सेवा मिलने से उन्हें खुद को भी खुशी होती है। बीसी सखी बनने के बाद ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं के भविष्य सुरक्षित करने के लिए प्रत्येक माह एक निश्चित आमदनी का माध्यम बना है। उन्हें एक स्थायी रोजगार मिला है। बीसी सखी योजना के तहत बैंकिंग सेवाओं को घर-घर देना रोजी-रोटी का एक बेहतर साधन बना है। इससे सबसे अधिक फायदा बैंक के ग्राहकों को हुआ है। उनको बैंक में लाइन लगाने और समय लगाना बंद हो गया है और बैंक तक जाने का समय किराया भी उनका बचा है। छोटे स्तर पर बैंकिंग सेवाएं लोग बीसी सखी से ले रहे हैं। प्रदेश सरकार की इस योजना का लाभ सबसे अधिक बैंक ग्राहकों को मिल रही है। सरकार की ओर से बैंकिंग सेवाओं को बड़ी सौगात खासकर गांव के लोगों को दी जा रही है। ग्रामीण पहले बैंक से पैसा निकालने और जमा करने में आने-जाने में जो खर्चा करते थे उसकी भी बचत हो रही है। प्रदेश में 58185 जी0पी0 के सापेक्ष 56,000 बी0सी0 सखी का चयन पूर्ण कर लिया गया है। 41869 बीसी सखी को आरसेटी द्वारा प्रशिक्षण एवं आईआईबीएफ द्वारा प्रमाण पत्र दिया गया है। 36389 बीसी सखी को समय से धनराशि अंतरण 29561 बीसी सखी द्वारा माइक्रो एटीएम का क्रय का कार्य किया गया है। बीसी सखी द्वारा वर्ष 2020-21 में 154.40 करोड़ धनराशि का ट्रॉजेक्शन तथा 2021-22 में 2200 करोड़ रू0 का ट्रॉजेक्शन किया गया है। प्रदेश सरकार की इस नीति से ग्रामीण स्तर पर महिलायें आत्मनिर्भर हो रही हैं।

We're now on WhatsApp. Click to join.
All the updates here:

अन्य न्यूज़