गोपालदास नीरज के निधन पर राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और अन्य नेताओं ने दी श्रद्धांजलि

Veteran poet and lyricist Gopal Das Neeraj passes away
[email protected] । Jul 20 2018 10:07AM

सांसों की डोर के आखिरी मोड़ तक बेहतहरीन नगमे लिखने के ख्वाहिशमंद मशहूर गीतकार और पद्मभूषण पुरस्कार से सम्मानित कवि गोपालदास सक्सेना ''नीरज'' का गुरुवार को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान अस्पताल (एम्स) में निधन हो गया।

सांसों की डोर के आखिरी मोड़ तक बेहतहरीन नगमे लिखने के ख्वाहिशमंद मशहूर गीतकार और पद्मभूषण पुरस्कार से सम्मानित कवि गोपालदास सक्सेना 'नीरज' का गुरुवार को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान अस्पताल (एम्स) में निधन हो गया। वह 93 वर्ष के थे। महफिलों और मंचों की शमां रोशन करने वाले नीरज को कभी शोहरत की हसरत नहीं रही। उनकी ख्वाहिश थी तो बस इतनी कि जब जिंदगी दामन छुड़ाए तो उनके लबों पर कोई नया नगमा हो, कोई नयी कविता हो। दिल्ली स्थित एम्स में इस फनकार ने गुरुवार शाम 7.35 बजे अंतिम सांस ली। नीरज ने एक बार किसी साक्षात्कार में कहा था, ‘‘अगर दुनिया से रुखसती के वक्त आपके गीत और कविताएं लोगों की जबान और दिल में हों तो यही आपकी सबसे बड़ी पहचान होगी। इसकी ख्वाहिश हर फनकार को होती है।''

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने ट्वीट कर कहा, 'जाने-माने कवि और गीतकार गोपाल दास नीरज के निधन के बारे में जानकर दुख हुआ। "प्रेम पुजारी" से लेकर "च च च" तक उनकी धुनों और गीतों को आज भी याद किया और सुना जाता है। उनके गीत अब भी दिल को झंकृत कर जाते हैं। उनके परिवार-जनों और प्रशंसकों के प्रति मेरी शोक-संवेदनाएं।'

गोपालदास नीरज के निधन पर साहित्य से लेकर राजनीति जगत के तमाम लोगों ने शोक जताया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी ट्वीट कर शोक जताते हुए लिखा- 'प्रसिद्ध कवि और गीतकार गोपालदास 'नीरज' के निधन की खबर सुनकर स्तब्ध हूं। श्री 'नीरज' की अनूठी शैली की वजह से वह सभी पीढ़ियों के बीच प्रसिद्ध थे। उनके कार्य अविस्मरणीय हैं।

उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पद्म भूषण से सम्मानित हिन्दी के विख्यात कवि एवं गीतकार गोपाल दास ‘नीरज’ के निधन पर दुःख व्यक्त किया है। राज्यपाल ने गुरुवार रात जारी अपने शोक संदेश में कहा है कि उत्तर प्रदेश में जन्में गोपाल दास नीरज अत्यन्त लोकप्रिय कवि एवं गीतकार थे जिन्होंने पाँच दशक से अधिक वर्षों तक मंच पर काव्य पाठ किया। गोपाल दास ‘नीरज’ जी से वह व्यक्तिगत रूप से परिचित थे तथा अनेक अवसरों पर उनको सुनने का अवसर प्राप्त हुआ था। वह बहुत ही व्यवहार कुशल एवं अपने क्षेत्र में अद्वितीय थे। उन्हें भारत के सर्वोच्च नागरिक सम्मान ‘पद्म श्री’ से 1991 में तथा ‘पद्म भूषण’ से 2007 में सम्मानित किया गया था। गोपाल दास ‘नीरज’ का निधन हिन्दी साहित्य की अपूरणीय क्षति है। उन्होंने कहा कि गोपाल दास ‘नीरज’ के निधन से हिन्दी साहित्य के एक युग का अवसान हो गया है।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी प्रख्यात कवि गोपाल दास ‘नीरज’ के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है। योगी ने गुरुवार रात जारी एक शोक संदेश में कहा कि नीरज जी ने अपनी काव्य रचनाओं से हिन्दी साहित्य को समृद्ध किया। उन्हें भावनाओं और अनुभूतियों को व्यक्त करने में दक्षता हासिल थी। हिन्दी फिल्मों के लिए नीरज जी द्वारा लिखे गए गीत आज भी लोकप्रिय हैं। गोपाल दास ‘नीरज’ के निधन से साहित्य जगत को जो हानि हुई है, उसकी भरपाई होना कठिन है। मुख्यमंत्री ने दिवंगत आत्मा की शांति की कामना करते हुए शोक संतप्त परिजनों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त की है।

गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट करते हुए लिखा कि प्रख्यात कवि एवं गीतकार गोपाल दास नीरज जी के निधन से आज हिंदी भाषा ने अपना एक अनुपम आभूषण खो दिया है।

उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी गोपालदास ‘नीरज’ के निधन पर शोक जताया है।

We're now on WhatsApp. Click to join.
All the updates here:

अन्य न्यूज़