मराठा आरक्षण आंदोलन में हिंसा: मुंबई में 400 से अधिक लोग को हिरासत में
मराठा समुदाय के लिए आरक्षण की मांग को लेकर प्रदर्शनकारी सड़कों पर उतरे। इस दौरान हिंसा हुई। प्रदर्शनकारियों ने बसों पर हमला किया , लोकल ट्रेन पर पथराव किया तथा आगजनी की।
मुंबई। मराठा समुदाय के लिए आरक्षण की मांग को लेकर प्रदर्शनकारी सड़कों पर उतरे। इस दौरान हिंसा हुई। प्रदर्शनकारियों ने बसों पर हमला किया , लोकल ट्रेन पर पथराव किया तथा आगजनी की। पुलिस ने करीब 447 लोगों को हिरासत में लिया है। पुलिस प्रवक्ता ने कहा, ‘हमने 447 लोगों को हिरासत में लिया है और उनके खिलाफ मामला दर्ज करने की प्रक्रिया जारी है।’
मराठा संगठनों ने आज मुंबई और आसपास के इलाकों में बंद का आह्वान किया था। प्रवक्ता ने कहा कि प्रदर्शनकारियों को शहर में 45 स्थानों से गिरफ्तार किया गया। आंदोलन के दौरान कुछ स्थानों पर प्रदर्शनकारियों ने बसों पर पत्थरबाजी की, रास्तों को बाधित किया और सार्वजनिक संपत्ति को नकुसान पहुंचाया गया। पड़ोस के ठाणे शहर में पुलिस ने सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने पर 20 लोगों को हिरासत में लिया।
इस बीच, कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता ने आरोप लगाया कि भाजपानीत महाराष्ट्र सरकार ने आरक्षण आंदोलन के दौरान मराठा समुदाय के राजस्व एवं पुलिसकर्मियों को बंदोबस्त ड्यूटी से जानबूझकर अलग रखा। विश्वसनीय सूत्रों का हवाला देते हुए विधानसभा में विपक्ष के नेता राधाकृष्ण विखे पाटिल ने कहा कि मराठा आरक्षण आंदोलन शुरू होने से पहले पुलिस और राजस्व अधिकारियों की जाति के बारे में जानकारी ली गई। पाटिल ने एक बयान में कहा, ‘मराठा समुदाय के सदस्यों को बंदोबस्त ड्यूटी से अलग रखा गया जो शर्मनाक कृत्य है।’
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