मेरा ध्यान सिर्फ रन बनाने पर, बाकी सब चयनकर्ताओं पर निर्भर: पृथ्वी साव
पदार्पण टेस्ट में शतकीय पारी खेलने वाले साव के लिए राष्ट्रीय टीम में वापसी करना काफी मुश्किल होगा क्योंकि सालामी बल्लेबाज मयंक अग्रवाल और रोहित शर्मा शानदार लय में हैं। निलंबन के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि मैंने कभी नहीं सोचा था कि ऐसा कुछ होगा।
मुंबई। निलंबन की सजा पूरी कर सैयद मुश्ताक अली टी20 ट्रॉफी में शानदार पारी के साथ वापसी करने वाले मुंबई के युवा खिलाड़ी पृथ्वी साव ने कहा कि अब उनका पूरा ध्यान बल्लेबाजी पर है जिससे कि वह भारतीय टीम में वापसी कर सके। डोपिंग परीक्षण में नाकाम रहने के बाद बीसीसीआई ने जुलाई में साव पर आठ महीने का प्रतिबंध लगाया था जो 16 मार्च 2019 से 15 नवंबर 2019 तक प्रभावी रहा।
Welcome back! He is making a comeback today and @PrithviShaw makes it a memorable one with a fine-half century for Mumbai against Assam in @Paytm #MushtaqAliT20. pic.twitter.com/hiBfiElhed
— BCCI Domestic (@BCCIdomestic) November 17, 2019
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वापसी के बाद पहले मुकाबाले में 39 गेंद में 63 रन बनाने वाले साव ने कहा कि अब मेरा पूरा ध्यान अधिक से रन बनाने और टीम के लिए मैच जीतने पर रहेगा। साव ने आदित्य तारे (48 गेंद में 82 रन) के साथ पहले विकेट के लिए 13.4 ओवर में 138 रन की साझेदारी कर बड़े स्कोर की नींव रखी जिससे मुंबई ने असम को 83 रन से करारी शिकस्त दी। भारतीय टीम में वापसी के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि मेरा ध्यान सिर्फ रन बनाने पर रहेगा। इस बारे में सोचना चयनकर्ताओं का काम है। मेरा काम रन बनाना और टीम को जीत दिलाना है।
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पदार्पण टेस्ट में शतकीय पारी खेलने वाले साव के लिए राष्ट्रीय टीम में वापसी करना काफी मुश्किल होगा क्योंकि सालामी बल्लेबाज मयंक अग्रवाल और रोहित शर्मा शानदार लय में हैं। निलंबन के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि मैंने कभी नहीं सोचा था कि ऐसा कुछ होगा। जाहिर है मैं निराश था। प्रतिबंध के पहले 20-25 दिन मैं काफी परेशान था, मैं यह नहीं समझ पा रहा था कि ये कैसे हुआ। मेरे अभ्यास करने पर 15 सितंबर तक रोक लगी थी इसलिए मैं लंदन गया और खुद को मानसिक तौर पर मजबूत करने के लिए काम करना शुरू किया। उन्होंने कहा कि इस दौरान पूर्व भारतीय कप्तान राहुल द्रविड़ ने राष्ट्रीय क्रिकेट अकादमी में उनकी काफी मदद की। उन्होंने कहा कि मेरे दिमाग में कुछ भी नहीं था। प्रतिबंध के कारण कुछ नहीं कर सकता था। वहां मैंने कई फिटनेस टेस्ट दिये।
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