विकेटकीपर के रूप में धोनी से बेहतर दूसरा कोई नहीं: रवि शास्त्री

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शास्त्री ने कहा कि विरोधी टीम के दमदार होने और प्रारूप के कारण यह सबसे चुनौतीपूर्ण विश्व कप होगा। उन्होंने कहा कि यह बहुत चुनौतीपूर्ण होगा। अगर आप 2014 और अब 2019 पर गौर करो तो टीमों के बीच अंतर कम हुआ है।

मुंबई। भारतीय टीम के कोच रवि शास्त्री ने मंगलवार को यहां कहा कि भारत के विश्व कप अभियान में महेंद्र सिंह धानी की भूमिका बहुत बड़ी होगी और उनकी छोटे छोटे क्षणों को प्रभावित करने की क्षमता काफी मायने रखेगी। शास्त्री से पूछा गया कि आईसीसी के आगामी टूर्नामेंट में वह धोनी की भूमिका के बारे में क्या सोचते हैं, उन्होंने पत्रकारों से कहा कि हमेशा की तरह व्यापक होगी। उन्होंने कहा कि वह वहीं हैं, संवाद की उनकी क्षमता लाजवाब है। एक विकेटकीपर के रूप में उन्होंने वर्षों से दिखाया है कि इस प्रारूप में उनसे बेहतर कोई नहीं है। केवल कैच लेने ही नहीं बल्कि रन आउट और स्टंप करने की उनकी महारत, ये मैच में छोटे छोटे क्षण होते हैं जो पासा पलट सकते हैं और उनसे बेहतर कोई दूसरा नहीं है। 

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अपने चौथे विश्व कप में खेलने के लिये तैयार धोनी ने चेन्नई सुपरकिंग्स की तरफ से पिछले आईपीएल में 83.20 की औसत से 416 रन बनाये और शास्त्री ने कहा कि लीग में वह उनके फुटवर्क से काफी प्रभावित थे। शास्त्री ने टीम के रवाना होने से पूर्व संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘आईपीएल में उनका मूवमेंट देखना शानदार रहा। विशेषकर जब वह बल्लेबाजी कर रहे थे तब उनका फुटवर्क और जिस ताकत से वह शाट लगाते रहे वह लाजवाब रहा। वह इस विश्व कप में बहुत बड़े खिलाड़ी होंगे। शास्त्री ने कहा कि विरोधी टीम के दमदार होने और प्रारूप के कारण यह सबसे चुनौतीपूर्ण विश्व कप होगा। उन्होंने कहा कि यह बहुत चुनौतीपूर्ण होगा। अगर आप 2014 और अब 2019 पर गौर करो तो टीमों के बीच अंतर कम हुआ है। आप जानते हैं कि अफगानिस्तान और बांग्लादेश की 2014 में क्या स्थिति थी और अब वे कितनी मजबूत हो गयी है। इसलिए प्रतिस्पर्धा कड़ी है। वेस्टइंडीज भी कागजों पर किसी अन्य टीम की तरह मजबूत है।

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इंग्लैंड में पिछले कुछ वर्षों में पिचें सपाट बन गयी हैं तथा पाकिस्तान और मेजबान देश के बीच हाल की श्रृंखला में लगातार 350 के आसपास स्कोर बनता रहा। शास्त्री ने कहा कि उन्हें लचीलापन बनाये रखना होगा क्योंकि बादल घिरने पर चीजें एकदम से बदल सकती हैं। पूर्व भारतीय कप्तान ने कहा कि मुझे लगता है कि हमारा मंत्र परिस्थितियों के अनुसार खुद को ढालना होगा क्योंकि यह विश्व का एक ऐसा देश है जहां पिचें भले ही सपाट हों लेकिन अगर बादल घिरे हों तो फिर आपको उसके लिये तैयार रहना होगा। उन्होंने कहा कि किसी भी अन्य देश में बादल घिरना इतना महत्व नहीं रखता जितना की इंग्लैंड में। लंदन में भले ही यह अंतर नहीं हो सकता हो लेकिन अगर आप उत्तरी इंग्लैंड में जाओ तो आप देखोगे कि बादल घिरने पर क्या होगा। इसलिए हमें इसके लिये तैयार रहना होगा। 

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शास्त्री ने कहा कि भारत को कुछ भी अलग हटकर नहीं करना चाहिए और केवल अपनी क्षमता के अनुसार खेलना चाहिए। उन्होंने कहा कि यह टीम पिछले पांच वर्षों से अच्छी क्रिकेट खेल रही है। उन्होंने निरंतरता बनाये रखी है। यह विश्व कप है इसलिए उन्हें कुछ भी अलग करने की जरूरत है। उन्हें इसका लुत्फ उठाना होगा और अगर वे अपनी क्षमता से खेलते हैं तो कप हमारा हो सकता है।गेंदबाजी इकाई के बारे में शास्त्री ने कहा कि यह अनुभवी इकाई है। वे पिछले चार पांच साल से साथ में है। वे एक इकाई के रूप में गेंदबाजी करते हैं। वे एक दूसरे का हौसला बढ़ाते हैं और उन्हें पूरे 50 ओवर तक दबाव बनाये रखना होगा। 

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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