चयन की संभावना पर विजय शंकर ने कहा, विश्व कप में अब भी काफी समय
तमिलनाडु के इस आलराउंडर ने दूसरे वनडे में भारत की आठ रन की जीत के बाद कहा, ‘‘ मैंने पहले भी कहा था कि मैं कभी चयन या विश्व कप जैसी चीजों के बारे में नहीं सोचता क्योंकि इसमें अब भी काफी समय बचा है।
नागपुर। आस्ट्रेलिया के खिलाफ दूसरे एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच में मंगलवार को मैच विजेता प्रदर्शन से आलराउंडर विजय शंकर की विश्व कप टीम में जगह बनाने की संभवना बढ़ गई है लेकिन उन्होंने जोर देकर कहा कि वह अपने चयन को लेकर अपनी नींद नहीं खो रहे हैं। आस्ट्रेलिया को दूसरे वनडे में जब अंतिम ओवर में जीत के लिए 11 रन और भारत को दो विकेट की दरकार थी तो कप्तान विराट कोहली ने गेंद विजय शंकर को थमाई। विजय शंकर ने इसके बाद तीन गेंद में मार्कस स्टोइनिस और एडम जंपा को आउट करके भारत को जीत दिलाई।
Men Of The Moment - Captain @imVkohli & ice cool @vijayshankar260 relive #TeamIndia's 500th ODI win in our latest episode of Chahal 📺 - by @28anand
— BCCI (@BCCI) March 6, 2019
P.S. Did Vijay continue the rest of his interview in Hindi with @yuzi_chahal? 😁😁
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तमिलनाडु के इस आलराउंडर ने दूसरे वनडे में भारत की आठ रन की जीत के बाद कहा, ‘‘ मैंने पहले भी कहा था कि मैं कभी चयन या विश्व कप जैसी चीजों के बारे में नहीं सोचता क्योंकि इसमें अब भी काफी समय बचा है। प्रत्येक मैच काफी महत्वपूर्ण है। मैं सिर्फ अपना सर्वश्रेष्ठ प्रयास करना चाहता हूं और टीम के लिए मैच जीतना चाहता हूं।’ विजय शंकर ने कहा कि पिछले साल श्रीलंका में निदाहस ट्राफी का कड़ा फाइनल उनके लिए सीखने के लिहाज से काफी महत्वपूर्ण था और इससे उन्हें मंगलवार को दबाव की स्थिति में मदद मिली। निदाहस ट्राफी के फाइनल में विजय शंकर को स्ट्राइक रोटेट करने में जूझना पड़ा था। इस आलराउंडर ने कहा, ‘‘ईमानदारी से कहूं तो निदाहस ट्राफी ने मुझे इतनी सारी चीजें सिखायी। मैंने इसके बाद सीखा कि तटस्थ कैसे रहा जाए। उतार हो या चढ़ाव, इससे कोई फर्क नहीं पड़ता। मुझे हमेशा धैर्य बरकरार रखना होगा और बेपरवाह रहना होगा।’’
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उन्होंने कहा, ‘‘ मैं चुनौती के लिए तैयार था क्योंकि मुझे पता था कि मुझे एक ओवर फेंकना होगा। और 43वें-44वें ओवर के बाद मैं स्वयं से कह रहा था कि मुझे किसी भी समय गेंदबाजी सौंपी जा सकती है। शायद अंतिम ओवर और मुझे 10 या 15 रन के स्कोर का बचाव करने के लिए तैयार रहना चाहिए। इसलिए मैं इसके लिए मानसिक रूप से तैयार था।" इस युवा आलराउंडर ने कहा कि अंतिम ओवर डालने से पहले अनुभवी जसप्रीत बुमराह ने भी उनका मार्गदर्शन किया। विजय शंकर ने मैच विजेता विकेट हासिल करने के बाद भी काफी अधिक प्रतिक्रिया नहीं दी लेकिन वह खुश हैं कि टीम की जीत में मदद कर सके। उन्होंने इससे पहले 41 गेंद में 46 रन की उम्दा पारी भी खेली थी लेकिन इसके बाद दुर्भाग्यपूर्ण तरीके से रन आउट हो गए।
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