क्यों मुखर हो रही है बीजिंग 2022 ओलंपिक के Boycott की मांग, अमेरिका भी कर सकता है राजनयिक बहिष्कार

Beijing
अभिनय आकाश । Nov 18 2021 8:01PM

अमेरिका चीन के बीजिंग शहर में होने वाले ओलंपिक के राजनयिक बहिष्कार पर विचार कर रहा है। इससे पहले यूरोपियन संसद में बीजिंग ओलंपिक के बहिष्कार का ऐलान किया जा चुका है वहीं दूसरी तरफ कई खिलाड़ी भी मुखर होकर इसके बहिष्कार को लेकर आवाज उठा चुके हैं।

साल 2022 यानी अगले साल ही चीन के बीजिंग नें शीतकालीन ओलंपिक खेल होने हैं। ओलंपिक खेलों की शुरूआत में 100 दिन से भी कम समय बचा है और ऐसे में, एथलीट, राजनेता और मानवाधिकार कार्यकर्ता उन लोगों में शामिल हैं जो मानवाधिकार कारणों से खेलों को रद्द या इनका बहिष्कार देखना चाहते हैं। अब अमेरिका चीन के बीजिंग शहर में होने वाले ओलंपिक के राजनयिक बहिष्कार पर विचार कर रहा है। इससे पहले यूरोपियन संसद में बीजिंग ओलंपिक के बहिष्कार का ऐलान किया जा चुका है वहीं दूसरी तरफ कई खिलाड़ी भी मुखर होकर इसके बहिष्कार को लेकर आवाज उठा चुके हैं। 

अमेरिका करेगा राजनयिक बहिष्कार 

वाशिंगटन पोस्ट की रिपोर्ट के अनुसार अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन के जल्द ही अपने देश के अधिकारियों को खेलों में नहीं भेजने की सिफारिश को मंजूरी देनी की उम्मीद है। बता दें कि व्हाइट हाउस की तरफ से आमतौर पर ओलंपिक के उद्घाटन और समापन समारोह में एक प्रतिनिधिमंडल भेजता है। अमेरिका में शीर्ष सासंदों द्वारा राजनयिक बहिष्कार के आह्वान की गई है। 

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बहिष्कार का आह्वान

एनबीए बास्केटबॉल खिलाड़ी और मुखर मानवाधिकार अधिवक्ता एनेस कनेटर बहिष्कार का आह्वान करने वाली नवीनतम हाई-प्रोफाइल आवाजों में से एक हैं। उन्होंने ट्वीट किया कि आज इसे देखने वाले सभी स्वतंत्रता समर्थकों को मेरा संदेश है। हम एक साथ मजबूत हैं। हम सभी को #StandWithTaiwan करना चाहिए, इवान का समर्थन करें, और लोकतंत्र की रक्षा करें। हमें ताइवान को स्वतंत्र और सुरक्षित रखना चाहिए। ताइवान ताइवान के लोगों का है!

 यूरोपियन संसद ने किया बहिष्कार का ऐलान

इससे पहले यूरोपियन संसद में बीजिंग के शीतकालीन ओलंपिक के बहिष्कार का ऐलान किया था। मामले पर यूरोपीय संसद के सांसदों ने सहमति जताते हुए कहा कि हमें चीन के मानवाधिकारों के हनन के कारण बीजिंग 2022 शीतकालीन ओलंपिक में हिस्सा लेने वाले निमंत्रण को अस्वीकार करना चाहिए। इसके साथ ही ईयू सांसदों ने अपनी सरकारों से मांग करते हुए उईगर मुसलमानों को लेकर चीन के व्यवहार पर और अधिक प्रतिबंध लगाने की बात भी कही। 

इससे पहले कब हुआ ओलंपिक खेलों का बहिष्कार

इससे पहले छह ओलंपिक खेलों ने बहिष्कार और कम देशों की भागीदारी झेली है। 1956 (मेलबर्न), 1964 (टोक्यो), 1976 (मॉन्ट्रियल), 1980 (मॉस्को), 1984 (लॉस एंजिल्स) और 1988 (सियोल) में युद्ध, आक्रमण और रंगभेद जैसे कारणों से विभिन्न देशों ने ओलंपिक खेलों का बहिष्कार किया। 

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