राहुल गांधी की आपत्ति के बाद भी कमलनाथ बोले माफी क्यों मांगू

By दिनेश शुक्ल | Oct 20, 2020

भोपाल। शिवराज सरकार में मंत्री इमरती देवी को आइटम कहकर टिप्पड़ी करने वाले कमलनाथ के बयान पर कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने अपत्ति जताई है। राहुल गांधी ने करीब 45 घंटे बाद मंगलवार को तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि कमलनाथ भले ही मेरी पार्टी के हैं, वे चाहे जो भी हों, लेकिन जिस भाषा का उन्होंने इस्तेमाल किया है, मैं निजी तौर पर उसे पसंद नहीं करता। लेकिन राहुल गांधी के बयान के बाद पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ का एक और बयान आया जिसमें उन्होनें कहा कि वो राहुलजी की राय है, उनको जो समझाया गया कि किस संदर्भ में मैंने कहा था। मैंने तो साफ कर दिया कि किस संदर्भ में मैंने कहा था, इसमें और कहने की आवश्यकता नहीं है। मैं क्यों माफी मांगूंगा, मैंने तो कह दिया कि मेरा लक्ष्य किसी का अपमान करना नहीं था। अगर कोई अपमानित महसूस करता है, तो मुझे खेद है और ये कल मैंने कह दिया। शिवराज सिंह जनता के बीच जाएं और माफी मांगें। मैंने तो खेद जाहिर कर दिया है।

 

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कमलनाथ ने रविवार को डबरा में एक चुनावी सभा के दौरान शिवराज कैबिनेट की मंत्री इमरती देवी को आइटम कहा था। नाथ के इस बयान पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और भाजपा नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया समेत कई नेताओं ने मौन उपवास कर धरना दिया था। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखकर कमलनाथ को पार्टी के सभी पदों से हटाने की माँग भी की थी। तो दूसरी ओर मंत्री तथा डबरा से भाजपा प्रत्याशी इमरती देवी ने जवाब में कहा- वो (कमलनाथ) बंगाल का आदमी है, वो महिला का सम्मान क्या जाने। कुर्सी जाने से पागल हो गए हैं। उन्होंने कमलनाथ और पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह पर हरिजन एक्ट लगाने की मांग भी की थी। वही कमलनाथ की टिप्पणी पर राष्ट्रीय महिला आयोग की अध्यक्ष रेखा शर्मा ने कहा है कि कमलनाथ माफी मांगने की बजाय बेतुकी सफाई दे रहे हैं। यह उनके लिए शर्मनाक है। ऐसे बयानों से व्यक्ति के चरित्र का पता चलता है। उनकी पार्टी को सख्त कार्रवाई करनी चाहिए।  वही मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कमलनाथ द्वारा सोमवार को लिखे गए उनके पत्र का जबाब देते हुए मंगलवार को उनको पत्र लिखा। पत्र में शिवराज सिंह चौहान ने लिखा कि आपने जिन शब्दों का इस्तेमाल एक महिला के लिए किया, वह मध्य प्रदेश की परंपरा के बिल्कुल विपरीत है। 

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