By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Mar 24, 2020
नयी दिल्ली। निर्यातकों ने मंगलवार को कहा कि सरकार की घोषणाओं से करदाताओं की कर संबंधी कामकाज निपटाने से जुड़ी समस्याएं दूर होंगी। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष करों के मामलों तथा ऋण शोधन अक्षमता और दिवाला संहिता के मामलों के कुछ छूट देने की घोषणा की। निर्यातक संगठनों के शीर्ष निकाय (फियो) के अध्यक्ष शरद कुमार सर्राफ ने कहा कि वित्त मंत्री की घोषणाएं व्यवहारिक हैं और इससे परिचालन संबंधी समस्याएं दूर होंगी।
कर विवाद निपटान योजना की समयसीमा 30 जून तक बढ़ाये जाने के बारे में उन्होंने कहा कि इससे संबंधित करदाताओं को इसका लाभ उठाने का और समय मिलेगा। लॉकडाउन के कारण इस योजना का 31 मार्च तक अनुपालन करना मुश्किल होता। सर्राफ ने वाणिज्य विभाग की विभिन्न योजनाओं और प्रक्रियाओं के अनुपालन की समयसीमा बढ़ाने की मांग कीहै। उन्होंने कहा कि निर्यातकों और आयातकों की चुनौतियों को समझा जाना चाहिए तथा मांग में नरमी को देखते हुए निर्यात बाध्यताएं पूरी करने के लिये पर्याप्त समय दिया जाना चाहिए।
उन्होंने कहा कि आपूर्ति के लिये तय समयसीमय का पालन करने को देखते हुए निर्यात को जरूरी सेवाओं में रखा जा सकता है। इससे काराखानों को बंदी के करण न्यूनतम कार्यबल के साथ काम करने की अनुमति दी जानी चाहिए। भारतीय व्यापार संवर्धन परिषद के चेयरमैन मोहित सिंगला ने कहा कि इन घोषणाओं से उद्योग को राहत मिलेगी जो कठिन परिस्थिति में चुनौतियों का सामना कर रहा है।