Mark Carney के नेतृत्व में कैसे होंगे कनाडा के साथ भारत के रिश्ते? ट्रूडो का फैलाया रायता करना होगा साफ

By अभिनय आकाश | Mar 10, 2025

खालिस्तानी समर्थक और एंटी इंडिया जस्टिन ट्रूडो अब कनाडा के प्रधानमंत्री नहीं हैं। बैंक ऑफ कनाडा और बैंक ऑफ इंग्लैंड के गवर्नर मार्क कोर्नी अब नए प्रधानमंत्री के तौर पर कनाडा की बागडोर संभालेंगे। दरअसल, अब कनाडा के प्रधानमंत्री के तौर पर मार्क कार्नी अब कनाडा को आगे लेकर जाएंगे। ऐसे समय पर जब अमेरिका से कनाडा को भरपूर चुनौती मिल रही है। कई अन्य देशों के साथ कनाडा का तनाव बढ़ता जा रहा है। ऐसे समय में मार्क कोर्नी के कंधों पर बड़ी जिम्मेदारी सामने आई है, जिम्मेदारी कनाडा को आगे ले जाने की। वैसे तो मार्क कार्नी का राजनीति से कोई सीधा नाता नहीं है। कनाडा के इतिहास में भी ये पहली बार है कि जब कोई गैर राजनीतिक व्यक्ति बतौर प्रधानमंत्री कनाडा को संभालेगा। मार्क कार्नी को सत्तारूढ़ लिबरल पार्टी का नया नेता चुन लिया गया है। इसी के साथ वो देश के अगले प्रधानमंत्री बनने वाले हैं। वो जस्टिन ट्रूडो की जगह लेंगे, जिन्होंने इसी साल की शुरुआत में अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। बड़ी बात ये है कि मार्क कोर्नी को 86 प्रतिशत समर्थन हासिल हुआ है जो अपने आप में ऐतिहासिक है। 

इसे भी पढ़ें: Donald Trump कान खोलकर सुन लो...कनाडा के नए PM ने आते ही दिखाए ऐसे तेवर, देखने लायक होगा अमेरिकी राष्ट्रपति का रिएक्शन

कार्नी ने हाल ही में कहा था कि अगर वह प्रधानमंत्री बनते हैं तो भारत के साथ व्यापारिक संबंधों को मजबूत करेंगे। अब ऐसे में संदेश साफ है कि कनाडा में सत्ता बदलने के बाद भारत के साथ उसके रिश्ते सामान्य होंगे और बेहतरी की तरफ बढ़ेंगे। इसके साथ ही भारत के साथ संबंधों को पुनः मजबूत करने के अवसर मौजूद हैं। उन्होंने कहा कि कॉमर्शियल संबंधों के इर्द-गिर्द मूल्यों की साझा भावना होनी चाहिए और अगर मैं प्रधानमंत्री हूं, तो मैं इसे बनाने के अवसर की प्रतीक्षा करूंगा। पिछले साल सितंबर में खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंटों का 'संभावित' हाथ होने का आरोप तत्कालीन प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने लगाया था। 

इसे भी पढ़ें: ड्रैगन और हाथी की जोड़ी...भारत का नाम लेकर चीन ने अमेरिका को तगड़ा धो दिया

भारत की अर्थव्यवस्था से कार्नी का अच्छी तरह से परिचित होना उनके पक्ष में काम कर सकता है। इस साल जनवरी तक, कार्नी ब्रुकफील्ड एसेट मैनेजमेंट के बोर्ड के अध्यक्ष थे, जो एक ऐसी फर्म है जिसने भारत में रियल एस्टेट, इंफ्रास्ट्रक्चर और अक्षय ऊर्जा जैसे क्षेत्रों में लगभग 30 बिलियन डॉलर का निवेश किया है। अब ऐसे में कार्नी अच्छे से जानते हैं कि अर्थव्यवस्था के मामले में भारत तेजी से आगे बढ़ रहा है और व्यावसायिक संबंधों को मजबूत करना दोनों देशों के हित में है।

 Stay updated with International News in Hindi on Prabhasakshi 

प्रमुख खबरें

PM से कोई नहीं पूछता कि वह कहां घूम रहे हैं? राहुल गांधी की जर्मनी यात्रा का इमरान मसूद ने किया बचाव

Sansad Diary: लोकसभा में VB-G Ram G बिल पर चर्चा, परमाणु ऊर्जा बिल पास

Shaurya Path: Prithviraj Chavan ने Operation Sindoor की सफलता पर सवाल उठाकर सीधे-सीधे Indian Armed Forces का अपमान किया है

भारत में मैन्युफैक्चरिंग घट रही है, इसे मजबूत करने...जर्मनी में BMW बाइक की सवारी करते हुए राहुल ने क्या कहा?