By अंकित सिंह | Dec 18, 2025
केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी ने गुरुवार को बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के एक वायरल वीडियो पर प्रतिक्रिया व्यक्त की, जिसमें वे एक महिला का हिजाब हटाने की कोशिश करते दिख रहे हैं। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री की मंशा गलत नहीं थी और इस मामले को धार्मिक नजरिए से नहीं देखा जाना चाहिए। एएनआई से बात करते हुए मांझी ने कहा कि उनकी मंशा गलत नहीं थी। हमें इसे धार्मिक नजरिए से नहीं देखना चाहिए।
उनकी यह टिप्पणी पटना में एक सरकारी कार्यक्रम के उस वीडियो के बाद आई है, जो व्यापक रूप से प्रसारित हो रहा है। इस वीडियो में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एक महिला को प्रमाण पत्र देते समय उसका हिजाब खींचते हुए नजर आ रहे हैं। इस वीडियो ने देशभर में आक्रोश पैदा कर दिया है। वीडियो में घटना मुख्यमंत्री कार्यालय में आयोजित एक समारोह के दौरान घटी, जहां नव नियुक्त आयुष डॉक्टरों को नियुक्ति पत्र वितरित किए जा रहे थे। महिला के कुछ कहने से पहले ही कुमार ने हाथ बढ़ाकर उसका हिजाब नीचे कर दिया, जिससे महिला का मुंह और ठोड़ी दिख गई।
इस बीच, जम्मू और कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने बुधवार को वायरल वीडियो को लेकर बिहार के मुख्यमंत्री पर तीखा प्रहार करते हुए कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री को धर्मनिरपेक्ष नेता माना जाता था, लेकिन अब उनका असली चेहरा सामने आ रहा है। मुख्यमंत्री ने इस घटना को "दुर्भाग्यपूर्ण" बताया और कहा कि इस तरह की हरकतें अस्वीकार्य हैं। उन्होंने जम्मू और कश्मीर में पहले हुए चुनावों के दौरान हुई इसी तरह की एक घटना का जिक्र किया।
अब्दुल्ला ने पत्रकारों से कहा, "यहां भी, चुनावों के दौरान, महबूबा मुफ्ती ने मतदान केंद्र पर एक महिला मतदाता का बुर्का हटवा दिया था। वह भी दुर्भाग्यपूर्ण था, और यह भी दुर्भाग्यपूर्ण है। पहले नीतीश कुमार को धर्मनिरपेक्ष नेता माना जाता था। अब नीतीश कुमार का असली चेहरा सामने आ रहा है।" इससे पहले, वायरल हिजाब वीडियो को लेकर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री संजय निषाद के खिलाफ लखनऊ के कैसरबाग पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई गई है। इस वीडियो ने सभी दलों के नेताओं के बीच आक्रोश पैदा कर दिया है और नीतीश कुमार की इस हरकत की निंदा की गई है।