By एकता | Sep 21, 2025
केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने पूर्व विदेश सचिव कंवल सिब्बल के बयानों का हवाला देते हुए विपक्षी दल कांग्रेस पर पलटवार किया है। रिजिजू ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के उस आरोप पर तीखी प्रतिक्रिया दी, जिसमें उन्होंने H-1B वीजा पर अमेरिकी सख्ती के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जिम्मेदार ठहराया था। रिजिजू ने कहा कि राजनीति के लिए पर्याप्त समय और स्थान है, लेकिन जब बात राष्ट्रीय हितों की आती है, तो सभी को मिलकर भारत के लिए बोलना चाहिए।
खड़गे का आरोप, 'खोखले नारे' विदेश नीति नहीं होते
मल्लिकार्जुन खड़गे ने H-1B वीजा पर ट्रंप प्रशासन के कड़े रुख का जिक्र करते हुए कहा था कि पीएम मोदी को ट्रंप से जन्मदिन के फोन कॉल के बाद 'उपहार' के रूप में यह मिला है। उन्होंने मोदी और ट्रंप की 'पुरानी दोस्ती' पर कटाक्ष करते हुए कहा कि 'गले मिलना' और 'खोखले नारे' विदेश नीति नहीं होते। खड़गे के अनुसार, विदेश नीति का मतलब राष्ट्रीय हितों की रक्षा करना और समझदारी व संतुलन के साथ दोस्ती निभाना है।
पूर्व विदेश सचिव का जवाब, डोनाल्ड ट्रंप को मोदी के खिलाफ हथियार न बनाएं
कांग्रेस अध्यक्ष के आरोपों का जवाब देते हुए पूर्व विदेश सचिव कंवल सिब्बल ने एक एक्स पोस्ट में कहा कि विदेशी धमकियों के खिलाफ एकजुट होने के बजाय, पीएम मोदी को दोष देना भारत के प्रतिरोध को कमजोर करता है। उन्होंने यह भी कहा कि ट्रंप अपने सहयोगियों सहित सभी के साथ घिनौना व्यवहार कर रहे हैं। सिब्बल ने सवाल उठाया, 'क्या विपक्ष अमेरिका द्वारा हमारी विदेश नीति के विकल्पों पर निर्देशित होने से इनकार कर रहा है?' उन्होंने यह भी कहा कि भारत ने पाकिस्तान की तरह ट्रंप की सद्भावना हासिल करने के लिए व्यापारिक सौदे नहीं किए।
सिब्बल ने आगे कहा कि अगर ट्रंप अपने समर्थकों को खुश करने के लिए अमेरिका की उपलब्धियों को रद्द करना चाहते हैं, तो यह सिर्फ भारत की समस्या नहीं है। उन्होंने विपक्ष से कहा कि घरेलू राजनीति के लिए एक गंभीर बाहरी चुनौती का फायदा उठाने की कोशिश करना उचित नहीं है। उन्होंने कहा, 'विदेशी दबाव के खिलाफ आंतरिक एकजुटता, उपहास के बजाय, राष्ट्रीय स्तर पर मददगार होगी।'
किरेन रिजिजू ने सिब्बल की पोस्ट को साझा करते हुए उन्हें एक 'अत्यधिक बौद्धिक और विद्वान राजनयिक' बताया, जिनके विचार तीखे और प्रासंगिक होते हैं। रिजिजू ने कहा कि वह सिब्बल के दर्द को समझ सकते हैं, जिसने उन्हें कांग्रेस अध्यक्ष को ऐसी 'बेहतरीन सलाह' देने के लिए मजबूर किया।
H-1B वीजा के नए नियम में भारी शुल्क वृद्धि शामिल है, जिससे बड़ी संख्या में भारतीय तकनीकी विशेषज्ञों पर असर पड़ेगा। केंद्र सरकार ने इस कदम को 'मानवीय परिणाम' और 'परिवारों के लिए व्यवधान' पैदा करने वाला बताया है और उम्मीद जताई है कि अमेरिकी अधिकारी इन मुद्दों का उचित समाधान करेंगे।