Google Layoffs: जारी हे गूगल में छटनी का दौरा, पूरी टीम को भेजा घर

By रितिका कमठान | Apr 30, 2024

दिग्गज आईटी कंपनी गूगल के कर्मचारी बीते कुछ समय से मुसीबत का शिकार हो रहे हैं। गूगल के कर्मचारियों पर छटनी की तलवार लटक रही है। गूगल के कई विभागों में लोगों को निकाला जा रहा है। 

 

कॉस्ट कटिंग जैसे कई कारणों के नाम पर गूगल से लोगों की छुट्टी की जा रही है। कई मीडिया रिपोर्ट्स में यह भी दावा किया गया है कि सुंदर पिचाई के नेतृत्व वाली अल्फाबेट ने पूरी पाइथन टीम की छुट्टी कर दी है। यानी पूरी पाइथन टीम को ही नौकरी से निकल गया है। इसके पीछे एक अहम कारण भी दिया गया है। पाइथन की टीम को सस्ता लेबर मिलने पर निकाल दिया गया है।

 

मीडिया रिपोर्ट की माने तो गूगल की पाइथन टीम को नौकरी से निकल गया है क्योंकि वह अधिक वेतन हासिल कर रहे थे। कंपनी कॉस्ट कटिंग के नाम पर ले ऑफ कर रही है। वहीं अब पायथन टीम की जगह अमेरिका के बाहर ही सस्ते दामों पर कर्मचारियों की नई टीम का निर्माण किया जाएगा। माना जा रहा है कि जर्मनी के म्यूनिख में यह नई टीम बनेगी। यहां गूगल को कर्मचारी कम वेतन पर मिल सकते हैं। वही गूगल पाइथन टीम के एक मेंबर ने बताया है कि वह दो दास को तक गूगल में काम करते रहे। गूगल में उनकी नौकरी बेस्ट नौकरी थी। गूगल से निकाले जाने पर वह निराश है। 

 

कई विभागों में लगातार हो रही है छंटनी 

मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो गूगल नहीं रियल एस्टेट और फाइनेंस विभागों में भी छंटनी की है। ईमेल के जरिए कर्मचारियों को यह सूचना दी जा रही है कि गूगल में रीस्ट्रक्चरिंग की जा रही है। ऐसे में कंपनी बेंगलुरु, मैक्सिको सिटी, डबलिन में विकास करने पर अपना पूरा फोकस रख रही है। गूगल इंजीनियरिंग हार्डवेयर और असिस्टेंट टीम्स से भी कई कर्मचारियों की छुट्टी कर चुकी है। गूगल ने छंटनी आर्टीफिशियल इंटेलीजेंस टेक्नोलॉजी पर निवेश को बढ़ाने के उद्देश्य से की थी।

प्रमुख खबरें

केजरीवाल जैसा यू-टर्न लेने वाला आदमी नहीं देखा, Delhi में बोले Amit Shah, भारत से ज्यादा राहुल के पाकिस्तान में समर्थक

इब्राहिम रईसी के निधन पर भारत ने किया 1 दिन के राजकीय शोक का ऐलान, जयशंकर ने कहा ईरान के साथ खड़ा है देश

New Delhi Lok Sabha Seat: बांसुरी स्वराज के लिए जेपी नड्डा ने किया रोडशो, केजरीवाल पर जमकर साधा निशाना

पंजाब-हरियाणा के शंभू बॉर्डर पर खत्म होगा रेल रोको आंदोलन, रेलवे ट्रैक को खाली करेंगे किसान