By अनन्या मिश्रा | May 16, 2025
डेंगू बीमारी एक मच्छर जनित वायरल इंफेक्शन है। आमतौर पर डेंगू को वेक्टर बोर्न डिजीज भी कहा जाता है। ऐसा इसलिए क्योंकि यह मच्छर अधिकतर बारिश के मौसम में होते हैं। डेंगू को भले ही लोग हल्के में लेते हैं, लेकिन यह एक गंभीर समस्या है। जो हर साल सैकड़ों लोगों की जान पर खतरा बनती है। इस बीमारी पर प्लेटलेट काउंट तेजी से घटती है, जो न सिर्फ शारीरक रूप से कमजोर बनाता है, बल्कि इससे व्यक्ति की मृत्यु तक हो सकती है। इसलिए हर साल 16 मई को राष्ट्रीय डेंगू दिवस मनाया जाता है। तो आइए जानते हैं इस दिन के इतिहास, महत्व, थीम और लक्षणों के बारे में...
राष्ट्रीय डेंगू दिवस
इस दिन को मानए जाने का मुख्य उद्देश्य देश-दुनिया से डेंगू को पूरी तरह से खत्म करना है। इसलिए हर साल 16 मई को दुनियाभर में डेंगू दिवस मनाया जाता है। जिससे कि मच्छरों से होने वाली बीमारी से राहत पाई जा सके। इसलिए हर साल डेंगू दिवस मनाया जाता है, जिससे कि डेंगू से होने वाली मौतों की संख्या को घटाया जा सके।
इस दिन लोगों को समझाया जाता है कि वह डेंगू को लेकर इतना जागरुक रहें कि वह इसको पहचानकर और समझकर उससे बच सकें। इस दिन को मनाए जाने का मुख्य उद्देश्य लोगों को जागरुक किया जाता है। जिससे के वह डेंगू में घटने वाली प्लेटलेट काउंट को बढ़ा सकें।
डेंगू के लक्षण
शरीर पर लाल चकत्ते होने के साथ ही नाक से खून आना
जोड़ों और मांसपेशियों में दर्द होना
उल्टी के साथ कमजोरी महसूस होना
सिरदर्द और थकान
ज्यादा पसीना आना
कम भूख लगना
महत्व
इस दिन को मनाए जाने का महत्व लोगों को डेंगू से बचाना है। इस दिन को मनाने के लिए जगह-जगह पर हेल्थ कैंप और चेकअप प्रोग्राम्स का भी आयोजन किया जाता है। वहीं डॉक्टर्स द्वारा डेंगू की रोकथाम के तरीकों और उसे मात देने के तरीकों के बारे में बताया जाता है। जिससे कि इस संक्रमण को फैलने से रोका जा सके।
थीम
राष्ट्रीय डेंगू दिवस की साल 2025 की थीम 'डेंगू की रोकथाम के लिए हमें जल्दी रिएक्ट करना चाहिए साथ ही वातावरण को साफ और हेल्दी रखना चाहिए' रखी गई है।