By अनन्या मिश्रा | Dec 05, 2025
मशहूर पेंटर रहीं अमृता शेरगिल का आज ही के दिन यानी की 05 दिसंबर को निधन हो गया था। उनकी गिनती 20वीं सदी की भारत की अग्रणी चित्रकारों में होती थी। अपने छोटे जीवनकाल में उन्होंने नायाब कलाकृतियां रची हैं। जिनको अमृता शेरगिल की मौत के बाद भी हाथों-हाथ लिया जाता है। अमृता बला की खूबसूरत थीं और उनका विवादों से भी गहरा नाता था। उनकी पेंटिंग्स की पूरी दुनिया में हजारों मुरीद हैं। जिसके कारण उनकी कलाकृतियों की कीमत करोड़ों रुपयों में आंकी जाती हैं। तो आइए जानते हैं उनकी डेथ एनिवर्सरी के मौके पर अमृता शेरगिल के जीवन से जुड़ी कुछ रोचक बातों के बारे में...
हंगरी की राजधानी बुडापेस्ट में 30 जनवरी 1913 में अमृता शेरगिल का जन्म हुआ था। इनके पिता सिख थे, जबकि उनकी मां हंगेरियन मूल की थीं। अमृता में अच्छे कलाकार बनने के गुण बचपन से ही मौजूद थे। वह बचपन से ही कैनवाल पर हाथ आजमाने लगी थीं। शुरूआत में उनकी रुचि पेंटिंग में नहीं बल्कि संगीत में थी। अमृता को वायलिन और पियानों बजाने का शौक था। जब वह 8 साल की थीं, तो वह शिमला चली गई थीं।
वहीं 16 साल की उम्र में अमृता शेरगिल अपनी मां के साथ चित्रकारी सीखने के लिए पेरिस गईं। उन्होंने पेरिस में पिएरे वैलंट और लुसिए साइमन जैसे मशहूर कलाकारों और संस्थानों से चित्रकारी सीखी थी। उनकी शुरूआती पेंटिंग्स में यूरोपीय असर साफ दिखता था। साल 1934 में वह भारत लौटी और वतन लौटने के बाद अमृता का रुझान पहाड़ी और मुगल चित्रकारी के प्रति हुआ। अमृता शेरगिल अजंता की गुफाओं की चित्रकारी से काफी ज्यादा प्रभावित थीं।
साल 1938 में अमृता शेरगिल ने अपने ममेरे भाई डॉक्टर विक्टर एगन से विवाह किया था। शादी के बाद गोरखपुर के सराया स्थित अपने पैतृक स्थान पर रहने लगीं और पेंटिंग की। बला की खूबसूरत अमृता का विवादों से गहरा नाता रहा। माना जाता है कि उनका कई पुरुषों और महिलाओं से रिश्ता था। इनमें से बहुत सी महिलाओं की अमृता शेरगिल ने पेंटिंग्स भी बनाई थीं। उनकी एक फेमस पेंटिंग 'टू वीमेन' अमृता और उनकी प्रेमिका मारी लौइसे की पेंटिंग है। बताया जाता है कि विक्टर और अमृता ने अपनी शादी से पहले कुछ अजीब समझौते किए थे। जिनमें से पहला समझौता यह था कि वह बच्चे नहीं पैदा करेंगे। वहीं दूसरा समझौता यह था कि विवाह के बाद भी अमृता को दूसरे पुरुषों से संबंध बनाने की आजादी होगी। अमृता शेरगिल को स्वभाव से मुंहफट और मिजाज से गुस्सैल कहा जाता था।
साल 1941 में अमृता शेरगिल लाहौर चली गई थीं। वहां पर बीमार होने के बाद वह कोमा में चली गईं। वहीं 05 दिसंबर 1941 को कोमा में ही अमृता शेरगिल का निधन हो गया था। हालांकि उनकी मौत का सही कारण तो ज्ञात नहीं है, लेकिन माना जाता है कि उनके निधन का कारण असफल गर्भपात था। अमृता शेरगिल का सिर्फ 28 साल की उम्र में निधन हो गया था। इतने कम समय के बाद भी अमृता शेरगिल ने इतनी नायाब पेंटिंग्स दीं, जो अमृता को अपनी कला में महारत को दर्शाता है।