By अनुराग गुप्ता | Sep 18, 2020
लद्दाख। वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर भारत-चीन के बीच पनपे विवाद को लेकर भारतीय सेना ने अपनी तैयारियां पूरी कर ली हैं। बता दें कि कई दौर की सैन्य वार्ता होने के बाद भी पूर्वी लद्दाख इलाके से चीन की पीएलए पीछे नहीं हटी है। जिसके बाद भारतीय सेना ने 40 हजार अतिरिक्त सैनिकों के सर्दीभर रहने के पुख्ता इंतजाम कर लिए हैं। इसके लिए बड़े एवं छोटे दोनों तरह के शेल्टर मगाए गए हैं।
अंदर से गर्म रहेंगे शेल्टर
पूर्वी लद्दाख के इलाके में भारतीय सैनिकों को ठंड से बचाने के लिए बड़े और छोटे दोनों तरह के शेल्टर का इंतजाम किया गया है। बड़े शेल्टर में सेंट्रलाइज्ड हीटिंग फैसिलिटी होती है। जबकि छोटे शेल्टर में बुखारी का इस्तेमाल किया जाता है। बुखारी को आप एक तरह का छोटा हीटर भी समझ सकते हैं। शेल्टर्स के अलावा सैनिकों की सुरक्षा के लिए खास तरह के कपड़े और माइंटेनियरिंग इक्विपमेंट का उपलब्ध कराए गए हैं।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक देश की रक्षा के लिए 12 हजार फीट की ऊंचाई पर रहने वाले सैनिकों के लिए खास तरह के कपड़े और माइंटेनियरिंग इक्विपमेंट और शेल्टर का इंतजाम किया जाता है। शेल्टर या कहें टेंट इनमें खास तरह के कपड़े का इस्तेमाल किया जाता है ताकि यह टेंट अंदर से गर्म रहे।
फारवर्ड पोस्ट में तैनात सैनिक इन टेंट्स का इस्तेमाल करते हैं। वह सबसे पहले एक गड्ढा खोदते हैं और उसमें टेंट लगाते हैं और फिर टेंट के चारो तरह पत्थर की अस्थायी दीवार बना देते हैं, ताकि टेंट में हवा न लगे।
बीते दिनों रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने राज्यसभा को जानकारी दी थी कि मौजूदा स्थिति के अनुसार चीनी सेना ने एलएसी के अंदर बड़ी संख्या में जवानों और हथियारों को तैनात किया है और क्षेत्र में दोनों देशों के सैनिकों के बीच टकराव के अनेक बिंदु हैं। उन्होंने कहा था कि हमारी सेना ने भी जवाबी तैनातियां की हैं ताकि देश के सुरक्षा हितों का पूरी तरह ध्यान रखा जाए। हमारे सशस्त्र बल इस चुनौती का डटकर सामना करेंगे। हमें अपने सशस्त्र बलों पर गर्व है।
किए गए अतिरिक्त इंतजाम
चालबाज चीन की हरकतों को देखते हुए भारतीय सेना ने भी एलएसी पर अपनी तैनाती बढ़ा दी है। इसके साथ ही सर्दियों के लिए खास तरह के साजो-सामान का भी बंदोबस्त किया है। सेना के अधिकारियों ने बताया कि जो सैनिक वहां पर पहले से तैनात हैं उनके लिए तो पहले से ही सारी व्यवस्था थी लेकिन इस बार सैनिकों की संख्या में इजाफा हुआ है, इसलिए अतरिक्त इंतजाम किए गए हैं। उन्होंने आगे बताया कि गाड़ियों को रखने के लिए जिन शेड्स को बनाया गया है उनमें सैनिकों के रहने की भी व्यवस्था की जा सकती है।
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