मुसलमानों को ऐसी खतरनाक सजा दे रहा चीन! जानकर कांप जाएगी दुनिया

By अभिनय आकाश | Dec 30, 2025

चीन अपने ही स्तर पर कट्टरपंथियों और उईगर मुसलमानों को दौड़ा-दौड़ा कर पीट रहा है। एक ताजा रिपोर्ट के मुताबिक चीन कई देशों में रहने वाले उईगर मुसलमानों को दबोच रहा है ताकि उन्हें सजा दी जा सके। यह होश उड़ा देने वाली खबर भारत के वामपंथियों और कट्टरपंथियों को भी हिला देगी। क्योंकि चीन एक तरफा सेकुलरिज्म के जाल में नहीं फंसा। मुसलमानों पर एक ऐसा नया ऐलान सामने आया है जिसने पूरी दुनिया में जबरदस्त तहलका मचा दिया है। करीब सवा5 करोड़ मुस्लिम पर बहुत बड़ी मुश्किल आ गई है। जिसके बाद मुसलमानों पर खतरा और भी ज्यादा तेज हो गया है। दरअसल चीन ने उईगर मुसलमानों को सजा देने के लिए एक नई घोषणा की है और प्लान तैयार किया है। जिसने कई देशों को हिला कर रख दिया।

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खासकर मुस्लिम देश चीन ने अब उइगर मुसलमानों पर नया एक्शन लेते हुए जो प्लान तैयार किया है उसने पूरी दुनिया को चौंका दिया। चीन से भागे उईगर मुसलमानों को पकड़ने के लिए, उन्हें सजा देने के लिए अब उन्हें विदेशों से खदेड़ कर वापस चीन में लाया जा रहा है। चीन में हो रहे इस मुसलमानों के अत्याचार पर सभी मुस्लिम देश चुप होकर बैठे हैं। अपने मुंह को सिले बैठे हैं। ना कोई सवाल, ना कोई एक्शन, ना कोई भी किसी भी तरीके की कोई भी प्रतिक्रिया। चीन में करीब बता दें कि सवा5 करोड़ मुस्लिम रहते हैं और यह पूरी दुनिया जानती है कि चीन में मुसलमानों को धार्मिक रीति-रिवाज का पालन करने की छूट कभी नहीं दी गई। दाढ़ी बुर्के तक के लिए चीन की नीतियां वहां पर मुसलमान मानते हैं। 

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मस्जिदों के डिजाइन तक यह लोग पारंपरिक तरीके से चीन में नहीं बना सकते। इसमें भी शिनजियांग में रहने वाले उईगरों पर खास पाबंदी है। चीनी संस्कृति सिखाने के नाम पर साल 2017 से लेकर साल 2019 के दौरान 2 साल में चीन ने करीब 10 लाख उगरों को डिटेंशन कैंप में डाला। इनमें से बहुतों से उन्होंने जबरन मजदूरी भी करवाई।  चीनी निगरानी के बावजूद कई सारे उगर मुसलमान जो है वह विदेशों में भागने में कामयाब रहे और अमेरिका और यूरोप जैसे जो तमाम देश हैं वहां पर उन्हें शरण भी मिली। हालांकि अब चीन इनकी वापसी का दबाव बना रहा है। 

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चीन नहीं चाहता कि यह जो मुसलमान हैं, वह बाहर जाकर विदेशों में जाकर चीन के बारे में कोई भी गलत बात कहे या चीन के खिलाफ एक नरेटिव भी सेट कर पाए। इस्लामिक देश का खलीफा मानने वाला तुर्की भी चीन के इस एक्शन पर एकदम चुप है। रिपोर्ट में दावा किया गया कि तुर्की में उईगरों के जबरन चीन वापसी के लिए फॉर्म भरवाया जा रहा है। जबरन उन्हें चीन भेजा जा रहा है। इस लिस्ट में और भी देश शामिल है जैसे कि थाईलैंड, यूरोप और अमेरिका। रिपोर्ट में खुलासा हुआ कि फरवरी में थाईलैंड ने भी 40 उगरों को चीन वापस भेजा था जबरन। अमेरिका और यूरोप की नई प्रवासी नीतियों के चलते भी उइगरों को शरण मिलना अब मुश्किल हो गया है। 

तुर्की के राष्ट्रपति एर्दोगन खुद को इस्लामिक देशों का खलीफा बनाना चाहते हैं। पाकिस्तान तो तुर्की को इस्लाम का सबसे मजबूत रखवाला बोलता है। लेकिन यही तुर्की जान बचाकर भागे उईगर मुसलमानों को वापस मौत के मुंह में धकेल रहा है। आरोप है कि तुर्की में उईगर मुसलमानों से जबरन चीन वापसी के फॉर्म भरवाए जा रहे हैं। 

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