By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Dec 01, 2025
भाजपा अध्यक्ष जे पी नड्डा ने शनिवार को आरोप लगाया कि कांग्रेस ने सरदार पटेल को इतिहास से मिटाने का बहुत प्रयास किया और यहां तक कि पार्टी ने नरेन्द्र मोदी सरकार द्वारा सरदार पटेल के स्मारक के रूप में निर्मित ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ की लागत और आवश्यकता पर भी सवाल उठाया।
नड्डा ने यहां अटलदरा गांव में ‘सरदार एट द रेट ऑफ150 यूनिटी मार्च’ के दौरान एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि कांग्रेस नहीं चाहती थी कि सरदार पटेल को याद किया जाए। उन्होंने यह भी कहा कि देश के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने अपनी नीतियों से कश्मीर मुद्दे को बिगड़ने दिया, जबकि सरदार पटेल ने आजादी के बाद 562 रियासतों का सफलतापूर्वक देश में विलय किया।
नड्डा ने आरोप लगाया, ‘‘कांग्रेस ने एक षड्यंत्र के तहत जानबूझकर सरदार पटेल को इतिहास से मिटाने की बहुत कोशिश की। वे चाहते थे कि उनका नाम गायब हो जाए ताकि उन्हें याद न रखा जाए। लंबे समय तक, कांग्रेस ने यह सुनिश्चित करने के लिए काम किया कि भारत के लौह पुरुष का नाम इतिहास के पन्नों में दर्ज न हो।’’
नड्डा ने कहा कि सरदार पटेल का निधन 1950 में हुआ था, लेकिन उन्हें 1991 में ‘भारत रत्न’ से सम्मानित किया गया। उन्होंने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री मोदी ने सरदार पटेल को सच्चे अर्थों में याद किया और उन्हें श्रद्धांजलि दी। लेकिन, जब मोदी ने पटेल को श्रद्धांजलि स्वरूप गुजरात के नर्मदा जिले में दुनिया की सबसे ऊंची ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ बनाने का फैसला किया, तो कांग्रेस ने इसकी लागत पर सवाल उठाए।’’
नड्डा ने कहा, ‘‘कांग्रेस ने पूछा कि इतना पैसा क्यों खर्च किया जा रहा है। और जब सरदार पटेल की 182 मीटर ऊंची प्रतिमा स्थापित की गई, तो कांग्रेस के सदस्यों ने सवाल उठाया कि इससे क्या हासिल होगा।’’
भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि सरदार पटेल ने 562 रियासतों का एकीकरण किया था, जबकि तत्कालीन प्रधानमंत्री नेहरू ने कहा था कि वह जम्मू-कश्मीर पर फैसला लेंगे। नड्डा ने कहा, ‘‘और उन्होंने (नेहरू) क्या फैसला किया? अनुच्छेद 370 देश की एकता और अखंडता के लिए एक बड़ा संकट बन गया। सरदार पटेल ने 562 रियासतों को देश में एकीकृत किया और महाराजा हरि सिंह से विलय पत्र पर हस्ताक्षर भी करवाए। इसके बावजूद, जवाहरलाल नेहरू ने अनुच्छेद 370 (जिससे जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा मिला) लागू कर दिया। यह अत्याचार नेहरू ने किया था।