By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Aug 02, 2023
नयी दिल्ली। केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने बुधवार को कहा कि सरकार उम्मीद करती है कि विपक्ष संसद में सभी विधेयकों पर चर्चा में भाग लेगा। उन्होंने कहा कि सरकार मणिपुर सहित सभी मुद्दों पर चर्चा के लिए तैयार है। सरकार बृहस्पतिवार को संसद में डिजिटल व्यक्तिगत डेटा संरक्षण (डीपीडीपी) विधेयक पेश कर सकती है।
उन्होंने कहा, ‘‘विधेयक काफी विचार-विमर्श के बाद तैयार हुआ है। मुझे उम्मीद है कि विपक्ष विधेयक को पारित करने वाली प्रक्रिया का हिस्सा बनेगा। हमें इस पर बहस करनी चाहिए और फिर विधेयक को पारित किया जाना चाहिए। सिर्फ इसी विधेयक की बात नहीं है, किसी भी विधेयक के दौरान संसद में व्यवधान नहीं किया जाना चाहिए। हर मुद्दे पर सरकार चर्चा को तैयार है। चाहे वह मणिपुर हो, डीपीडीपी हो या सहकारिता विधेयक हो।’’ उन्होंने राज्यसभा सदस्य जॉन ब्रिटास के उन आरोपों का खंडन किया कि डीपीडीपी विधेयक को संसद में पेश करने से पहले संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी संबंधी स्थायी समिति के साथ साझा किया गया है। चंद्रशेखर ने कहा, ‘‘वह गलत थे। मैंने बहुत ही विनम्रता से उन्हें बताया है कि वह गलत सूचना देने और एक फर्जी धारणा बनाने की कोशिश कर रहे थे।
विधेयक को कभी भी स्थायी समिति के पास नहीं भेजा गया।’’ मंत्री ने कहा कि स्थायी समिति ने नागरिकों की गोपनीयता और डेटा संरक्षण के मुद्दे का स्वयं मूल्यांकन किया है, पहले के मसौदे को देखा है और टिप्पणी की है। उन्होंने कहा, ‘‘उन्हें ऐसा करने का अधिकार है। मुझे लगता है कि ब्रिटास ने इसे पिछले दरवाजे के रूप में चित्रित करने की कोशिश की है जिसके द्वारा समिति को पहले से विधेयक की एक प्रति मिल गई है और सदस्यों को नहीं मिली। मुझे लगता है कि यह एक गलत चित्रण है।’’
ब्रिटास भी स्थायी समिति के सदस्य हैं। ब्रिटास ने समिति को भेजे अपने असहमति नोट में कहा कि मसौदा रिपोर्ट में डीपीडीपी विधेयक पर समिति की सिफारिशें शुरू से ही अमान्य हैं और नियमों के तहत प्रदत्त समिति की शक्तियों के दायरे से बाहर हैं। उन्होंने कहा, ‘‘नियम स्थायी समिति को ऐसे किसी भी विधेयक का अध्ययन करने से रोकते हैं जिसे संसद में अभी पेश नहीं किया गया है।