नेशनल हेराल्ड भवन मामले में सुनवाई पूरी, फैसला बाद में सुनाया जाएगा

By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Nov 22, 2018

नयी दिल्ली। दिल्ली उच्च न्यायालय ने गुरुवार को केंद्र से पूछा कि जब नेशनल हेराल्ड का प्रकाशन शुरू हो गया है तो परिसर में अब फिर से घुसने का क्या औचित्य है? न्यायमूर्ति सुनील गौड़ की पीठ ने शहरी विकास मंत्रालय से पूछा, ‘‘वे अब अखबार चला रहे हैं। इसलिये परिसर में दोबारा घुसने का क्या औचित्य है? परिसर में फिर से प्रवेश करने का अब अवसर कहां है।’’ उन्होंने मामले में फैसला सुरक्षित रख लिया।

 

मंत्रालय और भूमि एवं विकास कार्यालय (एलएंडडीओ) की ओर से उपस्थित सॉलीसीटर जनरल तुषार मेहता ने अदालत से कहा कि फिर से प्रवेश का नोटिस इसलिये जारी किया गया क्योंकि उसने वर्ष 2016 में कार्यवाही शुरू की थी। उस वक्त प्रकाशन या मुद्रण गतिविधि नहीं चल रही थी। मेहता ने कहा कि एजेएल को फिर से प्रवेश का नोटिस जारी करने से पहले सारी प्रक्रियाओं का पूरी तरह पालन किया गया।

 

अदालत ने कहा, ‘‘प्रक्रिया का पालन किया गया होगा, लेकिन जब फिर से प्रवेश का नोटिस जारी किया तो वे समाचार पत्र चला रहे थे।’’ एजेएल की तरफ से वरिष्ठ अधिवक्ता अभिषेक मनु सिंघवी ने सॉलीसीटर जनरल की दलीलों का यह कहते हुए विरोध किया कि प्रकाशन के वेब संस्करण की शुरूआत 2016 में ही शुरू हो गई थी और परिसर में प्रिंटिंग प्रेस नहीं होने के मुद्दे को तब नहीं उठाया गया।

 

उन्होंने कहा कि सरकार ने अप्रैल 2018 तक चुप्पी साधे रखी जब उसने निरीक्षण के लिये एक बार फिर से नोटिस जारी किया। उसमें उसने कहा था कि वह 10 अक्टूबर 2016 के नोटिस में उल्लिखित उल्लंघन की जांच करने आ रही है। सिंघवी ने यह भी दलील दी कि कई बड़े समाचार पत्र कहीं और मुद्रण करते हैं। इसपर सॉलीसीटर जनरल ने कहा कि वेब संस्करण के लिये ‘सिर्फ एक लैपटॉप की जरूरत है और शहर के केंद्र में पांच मंजिला इमारत की जरूरत नहीं है।’’।

 

दोनों पक्षों की दलीलों को सुनने के बाद अदालत ने एजेएल की याचिका पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया। एजेएल ने अपनी याचिका में मंत्रालय के 30 अक्टूबर के फैसले को चुनौती दी थी, जिसमें उसके 56 साल पुरानी लीज को समाप्त कर दिया गया था और उससे यहां आईटीओ पर प्रेस एनक्लेव में स्थित परिसर को खाली करने को कहा गया था।

 

प्रमुख खबरें

Loksabha Election 2024| तीसरे चरण के लिए मतदान जारी, 12 राज्यों की इन सीटों पर उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला करेगी जनता

MI vs SRH IPL 2024: सूर्या की आक्रामक शतकीय पारी से मुंबई ने सनराइजर्स को सात विकेट से हराया

Maharashtra : Thane में रिश्ते की बहन और उसके पति की हत्या के दोषी को आजीवन कारावास

Vadattiwar की शहीद हेमंत करकरे पर टिप्पणी से बिल्कुल सहमत नहीं हूं : Raut