By प्रभासाक्षी न्यूज नेटवर्क | Aug 21, 2021
नयी दिल्ली। पूर्व राजनयिक गौतम मुखोपाध्याय ने शुक्रवार को कहा कि भारत को तालिबान के साथ बातचीत के लिए राजनयिक रास्ते खुले रखने चाहिए, लेकिन उसे मान्यता देने की दिशा में बहुत सावधानी से आगे बढ़ना चाहिए। प्रेस क्लब ऑफ इंडिया द्वारा आयोजित एक परिचर्चा में उन्होंने कहा कि तालिबान को दो दशक पहले अफगानिस्तान में दुनिया ने जो देखा, उससे अलग दिखाने के लिए एक गलत विमर्श बनाया जारहा है।
उन्होंने कहा, हमें उनसे बात करनी चाहिए। यह कूटनीति है... हमें तालिबान को मान्यता देने में बहुत सावधानी बरतनी चाहिए। मुखोपाध्याय ने कहा कि अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे का पूरी दुनिया पर प्रभाव पड़ेगा। इस कार्यक्रम में एक अन्य पूर्व राजनयिक विवेक काटजू ने भी कहा कि भारत को तालिबान के साथ बातचीत के लिए अपने राजनयिक चैनल खुले रखने चाहिए।